Natural Farming: नेचुरल फार्मिंग में हिमाचल प्रदेश सबसे आगे, गेहूं-मक्के की रिकॉर्ड MSP से हुआ कमाल!

Natural Farming: नेचुरल फार्मिंग के मामले में हिमाचल प्रदेश सबसे आगे हो गया है। प्रदेश के कृषि मंत्री चंद्र कुमार ने कहा कि गेहूं और मक्का के लिए सबसे ज्यादा न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) देने में नेचुरल फार्मिंग बढ़ी है।

नेचुरल फार्मिंग को बढ़ावा दे रही है हिमाचल सरकार (तस्वीर-Canva)

Natural Farming: हिमाचल प्रदेश के कृषि मंत्री चंद्र कुमार ने रविवार को कहा कि नेचुरल फार्मिंग के जरिये उत्पादित गेहूं और मक्का के लिए सबसे ज्यादा न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) देने में प्रदेश अग्रणी बन गया है। यहां पत्रकारों को संबोधित करते हुए कुमार ने कहा कि सरकार की गारंटी के तहत नेचुरल फार्मिंग से प्राप्त गेहूं 40 रुपये प्रति किलोग्राम तथा मक्का 30 रुपये प्रति किलोग्राम की दर से खरीदा जा रहा है, जिससे 1,506 किसान परिवारों को लाभ मिल रहा है तथा 4,000 क्विंटल से अधिक मक्का की खरीद हो चुकी है। कुमार ने कहा कि 35,000 हेक्टेयर में प्राकृतिक खेती की जा रही है, जिसमें 1.98 लाख किसान शामिल हैं।

नेचुरल फार्मिंग से जुड़ेंगे 36000 से अधिक किसान

मंत्री ने कहा कि उनकी सहायता के लिए, 1.5 लाख से अधिक किसानों को फ्री प्रमाणीकरण प्राप्त हुआ है, और इस वर्ष 36,000 से अधिक किसानों को नेचुरल फॉर्मिंग की पहल से जोड़ा जा रहा है। प्राकृतिक खेती के उत्पादों की बिक्री को सुव्यवस्थित करने के लिए 10 कृषि मंडियों में बुनियादी ढांचे को उन्नत करने का काम चल रहा है।

कृषि को रोजगार के अवसरों से जोड़ना टारगेट

कृषि मंत्री चंद्र कुमार ने कहा कि राजीव गांधी स्टार्टअप योजना के तीसरे चरण के तहत 680 करोड़ रुपये की लागत से सरकार का लक्ष्य कृषि को रोजगार के अवसरों से जोड़ना है। राज्य जल्द ही प्राकृतिक खेती से मक्का के आटे का ब्रांड हिमभोग भी लॉन्च करने की योजना बना रहा है।

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