- क्रिप्टोकरेंसी एक 'जोखिम भरा' क्षेत्र- वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण।
- क्रिप्टोकरेंसी के विज्ञापन पर रोक लगाने पर कोई फैसला नहीं लिया गया।
- बिटकॉइन को भारत की मुद्रा के रूप में मान्यता देने का कोई प्रस्ताव नहीं।
Cryptocurrency News: आज राज्यसभा में क्रिप्टोकरेंसी (Cryptocurrency) पर वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण (FM Nirmala Sitharaman) ने बड़ा बयान दिया। उन्होंने कहा कि, 'यह एक 'जोखिम भरा' क्षेत्र है और पूर्ण नियामक ढांचे में नहीं है। क्रिप्टोकरेंसी के विज्ञापन पर रोक लगाने पर कोई फैसला नहीं लिया गया। भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) और बाजार नियामक (SEBI) के माध्यम से जागरूकता पैदा करने के लिए कदम उठाए गए हैं। सरकार जल्द ही एक विधेयक पेश करेगी।'
सांसद सुशील कुमार द्वारा विज्ञापनों पर अंकुश लगाने के लिए उठाए गए कदमों के बारे में पूछे जाने पर, सीतारमण ने कहा कि 'क्रिप्टोकरेंसी के विज्ञापनों पर अंकुश लगाने के लिए अभी तक कोई कदम नहीं उठाया गया है, लेकिन निवेशकों को सावधान किया गया है।'
टैक्स पर कही ये बात
क्रिप्टो ट्रेड पर एकत्र किए गए करों पर, सीतारमण ने कहा कि, 'क्रिप्टोकरेंसी पर एकत्र किए गए कर की राशि के बारे में तैयार जानकारी नहीं है।' इससे पहले भारतीय रिजर्व बैंक के गवर्नर शक्तिकांत दास (Shaktikanta Das) ने डिजिटल करेंसी में ट्रेडिंग को लेकर चेतावनी जारी की थी। दास ने कहा कि भारत में क्रिप्टोकरेंसी की औपचारिक शुरुआत से पहले चर्चा की जरूरत थी। उन्होंने यह भी कहा कि वर्चुअल करेंसी में लेनदेन का मूल्य बढ़ा है। करीब 80 फीसदी खातों में 2,000 रुपये से कम का बैलेंस है।
बिटकॉइन को मुद्रा के रूप में मान्यता देने का कोई प्रस्ताव नहीं
सोमवार को वित्त मंत्री ने संसद के शीतकालीन सत्र (Parliament Winter Session) के दौरान लोकसभा में एक सवाल का जवाब देते हुए कहा था कि बिटकॉइन (Bitcoin) को भारत की मुद्रा के रूप में मान्यता देने का कोई प्रस्ताव नहीं है। वित्त मंत्री ने कहा था कि सरकार बिटकॉइन लेनदेन पर डेटा एकत्र नहीं करती है। सरकार क्रिप्टोकरेंसी और रेगुलेशन ऑफ आधिकारिक डिजिटल मुद्रा विधेयक, 2021 को पेश करने वाली है।