- 1 जून से शुरु होने वाला है 200 ट्रेनों के नए सेट का संचालन
- इससे पहले रेलवे ने मजदूरों और छात्रों के लिए चलाई थीं स्पेशल ट्रेनें
- महामारी के चलते लंबे समय तक बंद रहा परिचालन, अब फिर शुरु करने को लेकर कई घोषणाएं
नई दिल्ली: रेल मंत्रालय शनिवार शाम 4 बजे प्रेस कॉन्फ्रेंस करते हुए कुछ अहम जानकारियां दीं। भारतीय रेलवे पहले से ही प्रवासी मजदूरों और दिल्ली से 15 जगहों के लिए 15 विशेष यात्री श्रमिक एक्सप्रेस ट्रेनें चला रहा है और 1 जून से लगभग 200 ट्रेनें चलना शुरू हो जाएंगीं। इस सब के बीच, भारतीय रेल की ओर से रेल परिचालन को वापस सामान्य स्थिति में लाने व महामारी से निपटने के लिए रेलवे की पहलों को लेकर कुछ और घोषणाएं की हैं। यहां जानिए रेल मंत्रालय की प्रेस कॉन्फ्रेंस की अहम बातें।
रेलवे प्रेस कॉन्फ्रेंस
भारतीय रेलवे के चेयरमैन विनोद कुमार यादव ने इस प्रेस कॉन्फ्रेंस में महामारी के बीच रेलवे की पहलों और आने वाले समय के प्रयासों के बारे में जानकारी और कहा,
- आपदा थमने पर बंगाल में चलेगी रेल: चक्रवात एक प्राकृतिक आपदा थी। पश्चिम बंगाल के मुख्य सचिव ने रेलवे को बताया है कि बहाली का काम चल रहा है और वे जल्द ही बताएंगे कि कब ट्रेनें वहां पहुंच सकेगीं। जैसे ही वे हमें मंजूरी देंगे, हम पश्चिम बंगाल के लिए ट्रेनें चलाएंगे।
- 2600 से ज्यादा ट्रेनें: रेलवे की ओर से जानकारी देते हुए कहा गया है कि अगले 10 दिनों में 2600 से ज्यादा ट्रेनें चलने के लिए तैयार हैं। अगर हमें किसी भी राज्य सरकार की ओर से आवश्यकता के बारे में पता चलता है तो हम राज्य के भीतर भी ट्रेनों के संचालन के लिए तैयार हैं।
- 1 जून से 200 मेल एक्सप्रेस: सामान्य स्थिति में लौटने की दिशा में, 1 जून से रेल मंत्रालय 200 मेल एक्सप्रेस ट्रेनें चलाएगा।
- 80,000 बिस्तरों के साथ 5,000 कोचों को COVID देखभाल केंद्रों में बदल दिया गया था। चूंकि इनमें से कुछ का अभी उपयोग नहीं किया जा रहा था, इसलिए हमने इनमें से 50% कोचों को श्रमिक विशेष ट्रेनों के लिए इस्तेमाल किया। जरूरत पड़ने पर उन्हें फिर से COVID देखभाल के लिए इस्तेमाल किया जाएगा।
- 1 मई को श्रमिक स्पेशल ट्रेनें शुरू की गईं थीं। सभी यात्रियों को मुफ्त भोजन और पीने का पानी उपलब्ध कराया जा रहा है। रेलगाड़ियों और स्टेशनों में सामाजिक दूरी और स्वच्छता प्रोटोकॉल का पालन किया जा रहा है।
- महामारी के समय रेलवे ने दिया अहम योगदान: रेल मंत्रालय द्वारा निर्बाध माल ढुलाई संचालनों ने 1 अप्रैल से 22 मई के बीच 9.7 मिलियन टन खाद्यान्न का वितरण सुनिश्चित किया है। 22 मार्च से 3255 नई पार्सल स्पेशल ट्रेनें चलाई गई हैं।
- 1 मई को श्रमिक स्पेशल ट्रेनें शुरू की गईं थीं। सभी यात्रियों को मुफ्त भोजन और पीने का पानी उपलब्ध कराया जा रहा है। रेलगाड़ियों और स्टेशनों में सामाजिक सुरक्षा और स्वच्छता प्रोटोकॉल का पालन किया जा रहा है।
- रेल मंत्रालय ने व्यक्तिगत सुरक्षा उपकरण (PPE) और सैनिटाइजर का उत्पादन करने में बड़ा योगदान दिया है और 1.2 लाख कवर ऑल्स के साथ 1.4 लाख लीटर सैनिटाइजर का उत्पादन करने के प्रयास में योगदान दिया है।
कोरोना वायरस के चलते लॉकडाउन की वजह से इतिहास में पहली बार लंबे समय के लिए सभी ट्रेनों के संचालन पर रोक लगाई गई थी। अब धीरे धीरे फिर से रेल सेवा को बहाल करने के लिए कदम उठाए जा रहे हैं और इस बारे में शनिवार को होने जा रही प्रेस कॉन्फ्रेंस में कुछ अहम घोषणाएं हो सकती हैं।
गौरतलब है कि रेलवे ने हाल ही में 200 ट्रेनों के दूसरे सेट की घोषणा की थी जो 1 जून से संचालित होने वाली हैं। रेल मंत्रालय ने फैसला किया है कि स्पेशल ट्रेन के अलावा 1 जून, 2020 से ट्रेन सेवाओं को आंशिक रूप से बहाल किया जाएगा। ये ट्रेनें 1 जून से चलेंगी और सभी की बुकिंग ये ट्रेनें 21 मई को सुबह 10 बजे से शुरू होंगी।