- ग्रामीण महंगाई दर 6.80 फीसदी से बढ़कर 7.15 फीसदी (MoM) पर पहुंच गई।
- शहरी महंगाई दर कम होकर 6.49 फीसदी हो गई है।
- वहीं फ्यूल, बिजली महंगाई दर उछलकर 10.78 फीसदी (YoY) हो गई है।
नई दिल्ली। सोमवार को जारी सरकारी आंकड़ों से पता चला कि पिछले महीने यानी अगस्त 2022 में देश में खुदरा महंगाई (Retail inflation) बढ़ी है। खाने का सामान की कीमत बढ़ने की वजह से देश में खुदरा महंगाई दर बढ़कर सात फीसदी पर पहुंच गई, जबकि उससे पिछले महीने यानी जुलाई 2022 में भारत में रिटेल इन्फ्लेशन 6.71 फीसदी थी। उपभोक्ता मूल्य सूचकांक (CPI) पर आधारित महंगाई लगातार आठवें महीने रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया (RBI) के संतोषजनक स्तर की ऊपरी सीमा से भी ज्यादा बनी हुई है। मालूम हो कि सरकार ने केंद्रीय बैंक को रिटेल इन्फ्लेशन दो फीसदी से छह फीसदी के बीच रखने की जिम्मेदारी दी हुई है।
क्यों बढ़ी महंगाई?
आंकड़ों से पता चला कि पिछले महीने खाने के सामान की महंगाई दर 7.62 फीसदी रही। जबकि जुलाई 2022 में यह आंकड़ा 6.69 फीसदी था। वहीं पिछले साल यानी अगस्त 2021 में खाने के सामान की महंगाई दर 3.11 फीसदी थी।
औद्योगिक उत्पादन में वृद्धि
औद्योगिक उत्पादन की बात करें, तो जुलाई 2022 के दौरान भारत के औद्योगिक उत्पादन (IIP) में 2.4 फीसदी की तेजी दर्ज की गई है। एक साल पहले के समान महीने यानी जुलाई 2021 में देश के औद्योगिक उत्पादन में 11.5 फीसदी की वृद्धि दर्ज की गई थी।
राष्ट्रीय सांख्यिकी कार्यालय (NSO) की ओर से जारी औद्योगिक उत्पादन सूचकांक के आंकड़ों से पता चला कि जुलाई, 2022 में मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर का आउटपुट 3.2 फीसदी बढ़ा। इसके साथ ही जुलाई में माइनिंग के आउटपुट में 3.3 फीसदी की गिरावट आई, वहीं पावर जनरेशन में 2.3 फीसदी की तेजी हासिल की गई।
उल्लेखनीय है कि अप्रैल 2020 में कोरोना वायरस महामारी (Coronavirus) को फैलने के रोकने के लिए लगाए गए लॉकडाउन की वजह से औद्योगिक उत्पादन पर नकारात्मक असर पड़ा था। तब यह 57.3 फीसदी गिरा था।