क्रिकेट को अनिश्चितताओं का खेल कहा जाता है। किस पल क्या होगा? अंदाज लगाना मुश्किल है। बस एक गलती, चाहे वो नो बॉल की हो या फिर वाइड की, किसी भी टीम को मैच में महंगी पड़ सकती है। नो बॉल फेंकना क्रिकेट में क्राइम माना जाता है, क्योंकि इससे न केवल बल्लेबाजी करने वाली टीम को अतिरिक्त रन मिलते हैं बल्कि बल्लेबाज को भी बॉल पर आउट नहीं होता। गेंदबाज नो बॉल फेंकने से काफी बचने की कोशिश करते हैं, लेकिन कभी-कभार गलती हो ही जाती है। हालांकि, आपको यह जानकार हैरानी होगी कि क्रिकेट इतिहास में कई गेंदबाज रहे हैं, जिन्होंने कभी करियर में नो बॉल नहीं डाली। आइए आपको ऐसे ही 5 गेंदबाजों के बारे में बताते हैं।
इयान बॉथम
इयान बॉथम महानतम ऑलराउंडर्स में से एक हैं। उन्होंने अपने करियर में कभी भी नो बॉल नहीं फेंकी। बॉथम ने इंग्लैंड के लिए 102 टेस्ट और 116 वनडे खेले, जिसमें उन्होंने क्रुमश: 383 और 145 विकेट चटकाए। बॉथम ने कई मौकों पर इंग्लैंड को अपने दम पर मैच जिताए। उन्होंने 27 बार एक पारी में पांच विकेट और चार मर्तबा एक मैच में 10 विकेट झटके।
लांस गिब्स
वेस्टइंडीज के गेंदबाज लांस गिब्स का शुमार टेस्ट क्रिकेट के सबसे सफल स्पिनर्स में होता है। उन्होंने अपने करियर में 79 टेस्ट और 3 वनडे मैच खेले, लेकिन कभी नो बॉल नहीं फेंकी। 80 के दशक की शुरुआत से लेकर 90 के दशक की शुरुआत तक वेस्टइंडीज क्रिकेट टीम अपने चरम पर थी और लांस गिब्स ने एक स्पिनर के रूप में जबरदस्त छाप छोड़ी।
डेनिस लिली
डेनिस लिली ऑस्ट्रेलिया के बेहतरीन गेंदबाजों में से हैं। उनका अपने दौर में दबदबा था। वह बेहद उग्र स्वभाव के गेंदबाज थे और उनकी गेंदें जमकर कहर ढाती थीं। उन्होंने अपने करियर में 70 टेस्ट मैच और कोई नो बॉल नहीं फेंकी। उन्होंने टेस्ट में 23.92 के औसत से 355 विकेट चटकाए। लिली ने पहला टेस्ट 1971 में और आखिरी टेस्ट 1984 में खेला।
कपिल देव
1983 विश्व कप विजेता टीम के कप्तान कपिल देव शानदार ऑलराउंडर थे। वह 1978 से लेकर 1994 तक भारतीय टीम की ओर से खेले। उन्होंने 131 टेस्ट में 434 और 225 वनडे में 253 विकेट अपने नाम किए। कपिल ने करियर में कभी भी नो बॉल नहीं फेंकी। उन्होंने गेंदबाजी के अलावा बल्लेबाजी में खूब कमाल दिखाए। उन्होंने भारत की सफलता की कहानियों के पीछे एक बड़ी भूमिका निभाई थी।
इमरान खान
पाकिस्तानी के मौजूदा प्रधानमंत्री इमरान खान ने अपने जमाने के धाकड़ ऑलराउंडर रहे हैं। पाकिस्तान टीम के पूर्व कप्तान ने कभी नो बॉल नहीं डाली। इमरान का पाकिस्तानी टीम को 1992 विश्व कप जिताने में अहम रोल रहा था। उन्होंने अपने करियर में 88 टेस्ट और 175 वनडे खेले। उन्होंने टेस्ट में जहां 22.81 के औसत से 362 विकेट हासिल किए वहीं वनडे में 26.62 के औसत से 182 शिकार किए।