- पूर्व पाकिस्तानी कप्तान शाहिद अफरीदी ने बेटी को आरती करते देख फोड़ दी थी टीवी
- अफरीदी ने इस घटना का खुलासा एक टीवी चैनल पर किया
- अब ये देखना होगा कि अफरीदी के इस बयान पर किस तरह लोगों की प्रतिक्रिया सामने आती हैं
कराची: पाकिस्तान के पूर्व कप्तान शाहिद अफरीदी का विवादों से गहरा नाता है। संन्यास लेने के बाद भी पूर्व ऑलराउंडर किसी न किसी वजह से सुर्खियों में बने रहते हैं। वह अपनी ऑटोबायोग्राफी (द गेम चेंजर) की वजह से काफी सुर्खियों में रहे तो पाकिस्तान टीम के मौजूदा प्रदर्शन पर बयान देकर आकर्षण का केंद्र बने रहे। हालांकि, अफरीदी का एक वीडियो सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो रहा है।
इस वीडियो में अफरीदी ने एक ऐसा बयान दिया है, जिसे सुनकर शायद कोई भारतीय फैन खुश नहीं हो। पाकिस्तानी टीवी चैनल पर निदा यासिर ने अफरीदी से बातचीत की। इस वीडियो में अफरीदी हिंदू रिती-रिवाजों यानी आरती का बेझिझक मजाक बनाते हुए दिख रहे हैं। उन्होंने इस दौरान एक घटना का जिक्र किया, जिसमें बताया कि उनकी बेटी एक बार आरती करने की एक्टिंग कर रही थी तो गुस्से में उन्होंने अपनी टीवी फोड़ दी थी।
एक ट्विटर यूजर ने इस वीडियो को शेयर किया है। पूर्व क्रिकेटर की जुबानी आप खुद सुनिए यह पूरा वाकया।
अफरीदी इस वीडियो क्लिप में कहते हुए दिख रहे हैं कि उन्होंने अपनी पत्नी को डेली सोप निजी स्तर पर देखने की सलाह दी थी और इसमें बच्चों को शामिल नहीं करने को कहा था। बाद में उन्होंने हिंदू रिवाजों का मजाक बनाते हुए उस घटना का जिक्र किया, जिसमें टीवी फोड़ने की बात कही गई। अफरीदी ने साथ ही कहा, 'पता नहीं क्या करते हैं थाली ले के यूं यूं।' उन्होंने अपने दोनों हाथों से एक्टिंग करते हुए यह बात बताई। उन्होंने आगे बताया कि बेटी को आरती करते देख वह आगबबूला हुए और टीवी फोड़ दी।
पाकिस्तान में हिंदू क्रिकेटर के साथ नाइंसाफी का मामला हाल ही में सुर्खियों में आया है। पूर्व पाकिस्तानी लेग स्पिनर दानिश कनेरिया ने खुलासा किया था कि टीम के साथी उनके साथ अच्छा बर्ताव नहीं करते थे। ऐसे में अफरीदी का यह वीडियो भारतीय फैंस को खुश नहीं करेगा। पाकिस्तान के पूर्व तेज गेंदबाज शोएब अख्तर ने रविवार को कहा कि कनेरिया पर उनके बयान को बिलकुल गलत समझ लिया गया। अख्तर इस बात पर अड़े रहे कि उन्होंने जो कहा वो सच था। मगर उन्होंने साथ ही कहा कि कुछ ऐसे क्रिकेटर्स थे, जो पूर्व लेग स्पिनर के साथ अच्छा बर्ताव नहीं करते थे।