कोलकाता: टीम इंडिया के लिए कोलकाता टेस्ट में खेल रहे दिल्ली के दो धुरंधर खिलाड़ियों विराट कोहली और इशांत शर्मा ने बांग्लादेश के खिलाफ भारत के पहले डे-नाइट टेस्ट में इतिहास रच दिया। इन दोनों खिलाड़ियों ने 23 नवंबर 2006 को रणजी ट्रॉफी में दिल्ली के लिए तमिलनाडू के खिलाफ प्रथम श्रेणी डेब्यू किया था। इस घटना के ठीक 13 साल बाद पहला डे-नाइट टेस्ट मैच एक साथ खेलते हुए इतिहास के पन्नों में अपना नाम हमेशा के लिए दर्ज करा लिया।
13 साल बाद टीम की कमान जहां विराट कोहली के हाथों में हैं वहीं इशांत शर्मा टीम के सबसे अनुभवी तेज गेंदबाज हैं। दोनों ही खिलाड़ियों ने भारत के पहले डे नाइट टेस्ट मैच में शानदार प्रदर्शन किया है। इशांत शर्मा ने जहां भारत के लिए पिंक बॉल टेस्ट में पहली गेंद फेंकी और इमरूल कायेस के रूप में पहला विकेट हासिल किया। इसके बाद अपनी तेज गेंदबाजी से कहर बरपाते हुए 22 रन देकर 5 विकेट भी झटक लिए। इसी के साथ इशांत पिंक बॉल टेस्ट में भारत के लिए पारी में पांच विकेट लेने वाले पहले गेंदबाज भी बन गए। इशांत की शानदार गेंदबाजी की बदौलत टॉस जीतकर पहले बल्लेबाजी करने उतरी मेहमान टीम 106 रन पर ढेर हो गई।
इसके बाद जब बल्लेबाजी की बारी आई तो कप्तान विराट कोहली ने भी अपना नाम रिकॉर्ड बुक में पिंक बॉल टेस्ट में भारत के पहले शतकवीर के रूप में दर्ज करा लिया। विराट ने कोलकाता टेस्ट के दूसरे दिन 159 गेंद पर अपना शतक पूरा किया। ये उनके टेस्ट करियर का 27वां और डे नाइट टेस्ट में पहला शतक है।
शतकीय पारी के साथ विराट ने कई और टेस्ट रिकॉर्ड भी अपने नाम कर लिए। वो भारत के लिए बतौर कप्तान 5 हजार टेस्ट रन बनाने वाले पहले खिलाड़ी बन गए। वहीं उन्होंने टेस्ट क्रिकेट में सबसे तेजी से 27 शतक जड़ने के सचिन तेंदुलकर के रिकॉर्ड की भी बराबरी कर ली। दोनों खिलाड़ियों ने ये उपलब्धि 141वीं टेस्ट पारी में हासिल की। इसके अलावा विराट ने बतौर कप्तान सबसे ज्यादा टेस्ट शतक जड़ने के मामले में रिकी पॉन्टिंग(19) को पछाड़कर दूसरे पायदान पर पहुंच गए हैं। विराट 20 कप्तानी शतकों के साथ ग्रीह्म स्मिथ के बाद(25) दूसरे पायदान पर काबिज हो गए।