नई दिल्ली: दिल्ली चुनाव प्रचार के दौरान बीजेपी के कई नेताओं ने ऐसे बयान दिए, जो काफी भड़काऊ थे। इन बयानों को लेकर चुनाव आयोग ने भी कार्रवाई की। केंद्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर और बीजेपी सांसद परवेश वर्मा के बयानों को लेकर चुनाव आयोग ने उनके प्रचार पर रोक लगाई। दिल्ली की जिन दो विधानसभा क्षेत्रों में अनुराग ठाकुर और परवेश वर्मा ने रैलियों में भड़काऊ बयान दिए, उन दोनों सीटों पर आम आदमी पार्टी (AAP) आगे चल रही है।
रिठाला निर्वाचन क्षेत्र में अनुराग ठाकुर ने रैली में नारे लगवाए, 'देश के गद्दारों को गोली मारो...को'। इस सीट से भाजपा उम्मीदवार मनीष चौधरी AAP के महिंदर गोयल से हार गए।
वहीं विकासपुरी में परवेश वर्मा ने कहा था कि शाहीन बाग के प्रदर्शनकारी आपके घरों में घुसकर मां-बहनों को उठाएंगे और बलात्कार करेंगे। रैली में उन्होंने कहा था, 'यदि भाजपा 11 फरवरी को सरकार बनाती है, तो शाहीन बाग में एक भी व्यक्ति (विरोध स्थल) पर नहीं मिलेगा।' यहां भी भाजपा उम्मीदवार संजय सिंह आप के महिंदर यादव से हार गए हैं।
इन दोनों नेताओं को पहले चुनाव आयोग द्वारा बीजेपी की स्टार प्रचारक सूची से हटाया गया। बाद में अनुराग ठाकुर पर 72 घंटे और परवेश वर्मा पर 96 घंटे के लिए प्रचार नहीं करने का प्रतिबंध लगाया।
इस बीच मंगलवार को दिल्ली की एक विशेष अदालत ने पुलिस को निर्देश दिया कि वह द्वेषपूर्ण भाषणों के लिए अनुराग ठाकुर और परवेश वर्मा के खिलाफ सीपीएम नेता वृंदा करात द्वारा दायर शिकायत पर कार्रवाई करे। दिल्ली पुलिस ने अपनी स्टेटस रिपोर्ट में उल्लेख किया कि अपराध शाखा उस शिकायत को देख रही है जिसकी निगरानी विशेष पुलिस आयुक्त द्वारा की जा रही है। बुधवार को अदालत ने पुलिस को दोनों भाजपा नेताओं के खिलाफ उनके घृणास्पद भाषणों के लिए दायर एक शिकायत पर स्टेटस रिपोर्ट दर्ज करने के लिए कहा था।