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Punjab : पंजाब में 15 अक्टूबर से खुलेंगे स्कूल/कोचिंग संस्थान, गाइडलाइन जारी

Updated Oct 13, 2020 | 08:17 IST

Schools to re-open in Punjab: प्रवक्ता के मुताबिक राज्य सरकार ने कक्षा नौ से 12 के छात्रों को स्कूल और कोचिंग संस्थानों में आने की इजाजत दी है। हालांकि इसके लिए उन्हें अभिभावकों की इजाजत लेनी होगी।

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तस्वीर साभार:&nbspPTI
पंजाब में 15 अक्टूबर से खुलेंगे स्कूल/कोचिंग संस्थान, गाइडलाइन जारी।

चंडीगढ़ : पंजाब सरकार ने 15 अक्टूबर के बाद कंटेनमेंट जोन के बाहर स्कूलों एवं कोचिंग संस्थानों को चरणबद्ध तरीके से खोलने का फैसला किया है। पंजाब सरकार के एक प्रवक्ता ने कहा कि राज्य सरकार ने 15 अक्टूबर से कुछ शर्तों के साथ स्कूलों एवं कोचिंग संस्थानों को दोबारा खोलने का फैसला किया है। उन्होंने कहा कि ऑनलाइन/डिस्टैंस लर्निंग शिक्षण का पसंदीदा तरीका बना रहेगा और इसे आगे प्रोत्साहित किया जाएगा।

कक्षा 9 से 12 तक स्कूल खोलने की इजाजत मिली
प्रवक्ता के मुताबिक राज्य सरकार ने कक्षा नौ से 12 के छात्रों को स्कूल और कोचिंग संस्थानों में आने की इजाजत दी है। हालांकि इसके लिए उन्हें अभिभावकों की इजाजत लेनी होगी। स्कूल छात्रों के लिए उपस्थिति भी अनिवार्य नहीं करेंगे। प्रवक्ता ने बताया कि 15 अक्टूबर से स्कूलों को दोबारा खोलने की इजाजत दी जा रही है। इसे ध्यान में रखते हुए स्कूलों को एसओपी का पालन करना होगा। पंजाब स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय के परामर्श के बाद स्कूल शिक्षा विभाग एसओपी जारी करेगा। 

उच्च शिक्षण संस्थाओं को खोलने की भी अनुमति
स्कूलों के अलावा 15 अक्टूबर से राज्य के उच्च शिक्षण संस्थाएं भी खुलेंगी। ऐसे छात्र जो रिसर्च स्कॉलर हैं और सूचना एवं प्रोद्यौगिकी में पोस्ट ग्रेजुएट की पढ़ाई कर रहे हैं वे 15 अक्टूबर से अपने संस्थान आ सकते हैं। राज्य सरकार और निजी विश्वविद्यालय भी रिसर्च स्कॉलर छात्रों के लिए खुलेंगे। उन्होंने बताया कि कंटेनमेंट जोन के बाहर 100 लोगों की संख्या की सीलिंग के साथ खेल, मनोरंजन, सांस्कृतिक, सामाजिक, राजनीतिक कार्यक्रम शुरू करने की छूट पहले ही दे दी गई है। 

कोविड-19 के प्रोटोकॉल का पालन करना जरूरी
शिक्षा विभाग ने अभी स्कूलों को तीन घंटे खोलने की इजाजत दी है। स्कूल छात्रों को मास्क पहनना, सैनिटाइजर का इस्तेमाल करना और सोशल डिस्टैंसिंग का पालन कराना सुनिश्चित करेंगे। साथ ही यह भी ख्याल रखा जाएगा दो छात्रों के बीच पर्याप्त दूरी बनी रहे। जिन स्कूलों में छात्रों की संख्या ज्यादा होगी, वहीं अध्यापकों को दो शिफ्ट में बुलाया जा सकता है।