- बॉलीवुड एक्टर शफी इनामदार का आज जन्मदिन है।
- 23 अक्टूबर साल 1945 को बॉम्बे में पैदा हुए थे शफी।
- साल 1982 में उन्होंने 'विजेता' फिल्म से किया था डेब्यू।
Shafi Inamdar Birthday: बॉलीवुड में कई ऐसे कलाकार हुए हैं जो कम समय के लिए पर्दे पर और लोगों के दिलों में बस गए। ऐसे ही एक एक्टर शफी इनामदार का आज जन्मदिन है। 23 अक्टूबर साल 1945 को बॉम्बे में पैदा हुए शफी इनामदार ने टीवी और फिल्म जगत में अपनी प्रतिभ का प्रदर्शन किया। पुलिस इंस्पेक्टर, नेता, क्रिमिनल से लेकर हर तरह के रोल में शफी फिट बैठे।
शफी इनामदार बॉलीवुड के उन चुनिंदा कलाकारों में से एक रहे हैं जिन्होंने कभी लीड किरदार नहीं निभाया लेकिन साइड रोल कर उन्होंने खूब सोहरत हासिल की। साल 1982 में उन्होंने 'विजेता' फिल्म से अपने फिल्मी करियर की शुरुआत की। 1983 में आई ब्लॉकबस्टर फिल्म 'अर्ध सत्या' में इंस्पेक्टर हैदर अली का किरदार निभाकर सुर्खियों में आए थे। इसके बाद वह ‘नजराना’, ‘अनोखा-रिश्ता’ और ‘अमृत’ जैसी फिल्मों में नजर आए और हीरो से ज्यादा छाए।
शफी की एक्टिंग और डायलॉग डिलिवरी इतनी खूबसूरत हुआ करती थी कि वह जैसे ही पर्दे पर आते थे तो दर्शक नजर नहीं हटा पाते थे। राजेश खन्ना, विनोद खन्ना, नाना पाटेकर, रेखा, हेमा मालिनी जैसे हर दिग्गज सितारे के साथ शफी ने पर्दे पर काम किया। करीब दो दशकों तक फिल्मी दुनिया में सक्रिय रहने वाली शफी छोटे पर्दे पर भी खूब जमे। 'ये जो है जिंदगी' सीरियल में उन्होंने मुख्य किरदार निभाया था। गुलजार के सीरियल गालिब में भी वह अहम रोल में थे।
59 की उम्र में हो गए विदा
शफी इनामदार को उनके फैंस कुछ और अहम रोल में देख पाते उससे पहले ही वह इस दुनिया को अलविदा कह गए। महज 50 साल की उम्र में 13 मार्च 1996 को शफी का निधन हो गया। भारत और श्रीलंका के बीच क्रिकेट वर्ल्डकप का सेमीफाइनल्स खेला जा रहा था और इस मैच को देखते समय शफी को हार्ट अटैक आ गया। अपने पूरे करियर में शफी इनामदार 50 के करीब फिल्मों में नजर आए। आज भले ही वह हमारे बीच ना हों, लेकिन उनकी यादें और कलाकारी हमारे बीच हमेशा रहेगी।
अदाकारा भक्ति भारवे से की थी शादी
जाने भी दो यारो फिल्म में नजर आने वाली अदाकारा भक्ति भारवे से शफी इनामदार ने शादी की थी। वह शफी से तीन साल छोटी थीं। भक्ति भारवे मराठी, गुजराती थिएटर का बड़ा नाम थीं। पहले वह दूरदर्शन और ऑल इंडिया रेडियो में न्यूज रीडर हुआ करती थीं। शफी इनामदार के निधन के पांच साल बाद भक्ति भारवे का भी निधन हो गया था।