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Gurugram News: विदेश के लोगों से टेक्निकल हेल्प के नाम पर ठगी करने वाले गैंग का भंडाफोड़, 6 गिरफ्तार

Updated Sep 01, 2022 | 21:35 IST

Gurugram Crime News: गुरुग्राम में पुलिस ने एक अवैध कॉल सेंटर का पर्दाफाश किया है। पुलिस ने विदेशों में रह रहे लोगों से तकनीकी सहायता देने के नाम पर ठगी करने वाले 6 आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया है। आरोपी सैकड़ों लोगों से ठगी कर चुके हैं।

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तस्वीर साभार:&nbspRepresentative Image
गुरुग्राम में विदेश के लोगों से ठगी करने वाली गैंग पकड़ी गई
मुख्य बातें
  • कॉल सेंटर के मैनेजर समेत पकड़े सभी आरोपी
  • अमेरिका और कनाडा के लोगों से मदद देने के नाम ठगी
  • पकड़े गए आरोपी कर चुके हैं सैकड़ों लोगों से ठगी

Gurugram Police Success: गुरुग्राम में बैठकर अमेरिका व कनाडा के नागरिकों से तकनीकी सहायता देने के नाम पर ठगी करने वाले एक फर्जी कॉल सेंटर का पुलिस ने खुलासा किया है। बता दें कि कॉल सेंटर सेक्टर-42 इलाके में संचालित हो रहा था। गुरुग्राम पुलिस ने कॉल सेंटर के मैनेजर समेत कुल 6 लोगों को गिरफ्तार कर लिया है। पकड़े गए आरोपी तचंग तुंगसानो, विकास भड़ाना, पारस सूद, अविनाश, राम बिशुआ और अभिलाष सिंह हैं। इसमें से अभिलाष सिंह इस फर्जी कॉल सेंटर का मैनेजर है।

मिली जानकारी के अनुसार एसीपी क्राइम प्रीतपाल सांगवान ने बताया है कि साइबर क्राइम थाना प्रबंधक विजेंद्र को सेक्टर-42 के मकान संख्या 120 पी में फर्जी कॉल सेंटर चलाए जाने की सूचना प्राप्त हुई थी। सूचना के बाद तत्परता से कार्रवाई करते हुए एसीपी साइबर क्राइम प्रियांशु दीवान ने एक टीम बनाई। बता दें कि टीम ने मौके पर जाकर छापेमारी की। उस मकान के बेसमेंट में एक फर्जी कॉल सेंटर चलाया जा रहा था। पुलिस की टीम ने जब मौके पर मौजूद मैनेजर से कॉल सेंटर के संबंध में वैध दस्तावेजों की मांग की तो वह कोई भी दस्तावेज नहीं दे सका।

ऐसे देती थे ठगी की वारदात को अंजाम

बता दें कि आरोपी ने पुलिस की पूछताछ में बताया कि कॉल सेंटर का मालिक सचिन तनेजा विभिन्न माध्यमों से अमेरिका व कनाडा के लोगों को टेक्निकल हेल्प देने के लिए संपर्क करता था। जिसमें कई तरह के एंटी वायरस को इंस्टॉल करने व अन्य मदद करने के लिए पॉपअप भेजा जाता था। इसी के जरिए कंप्यूटर में टेक्निकल प्राब्लम पैदा किया जाता था। उसके बाद सहायता के नाम पर 200-500 डॉलर ठग लिए जाते थे। ठगी किए गए डॉलर के ये गिफ्टकार्ड खरीदने के बाद रुपये प्राप्त कर लिए जाते थे।

एक साल से कर रहे थे ठगी का काम

जानकारी के लिए बता दें कि जिस मकान के बेसमेंट में यह फर्जी कॉल सेंटर चलाया जा रहा था, वह सचिन तनेजा नाम के शख्स का है। पुलिस की पकड़ में आए सभी कर्मचारी पहले एक अन्य कॉल सेंटर में काम किया करते थे। अब पिछले एक साल से इस फर्जी कॉल सेंटर में नौकरी कर रहे थे। सचिन तनेजा इन सभी को 40-45 हजार रुपये प्रतिमाह की सैलरी दिया करता था। वेतन के अलावा इन्हें अतिरिक्त इंसेंटिव भी सचिन देता था। अब तक ये आरोपी सैकड़ों लोगों से ठगी कर चुके हैं। पुलिस ने आरोपियों के पास से 7 कंप्यूटर सिस्टम व एक मॉडम बरामद कर लिया है।