नई दिल्ली : रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन अगले महीने भारत की यात्रा पर आने वाले हैं, जब प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के साथ उनकी शिखर वार्ता होगी। इस दौरान भारत और रूस के बीच बीते काफी समय से लंबित 'AK-203' कलाशनिकोव राइफल खरीद समझौते पर हस्ताक्षर की भी संभावना है, जिसका निर्माण 'मेक इन इंडिया' पहल के तहत होगा। भारत की रक्षा ताकत के लिहाज से इसे बेहद महत्वपूर्ण समझा जा रहा है।
इस दिशा में एक बड़ा अपडेट तब सामने आया, जब पुतिन के दौरे से महज दो सप्ताह पहले रक्षा मंत्रालय ने एक अहम कदम उठाते हुए रूस के साथ लगभग 5000 करोड़ रुपये के AK-203 राइफल की डील को मंगलवार को मंजूरी दे दी। इसके तहत 7.5 लाख AK-203 राइफल का निर्माण रूसी रक्षा कंपनियों द्वारा भारत के 'मेक इन इंडिया' पहल के तहत उत्तर प्रदेश के अमेठी में किया जाना है।
अड़चनें दूर!
सूत्रों के अनुसार, रूस के साथ इस डील के इस संबंध में मंगलवार को रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह की अध्यक्षता में 'रक्षा खरीद परिषद' (DAC) की बैठक हुई, जिसमें इससे संबंधित प्रमुख बिंदुओं पर चर्चा हुई। इसमें डील की कीमत में कमी के साथ-साथ टेक्नोलॉजी ट्रांसफर का अहम मसला भी था। बताया जा रहा है संभावित डील को लेकर जो भी अड़चनें आने की आशंका थी, उन्हें दूर कर लिया गया है।
भारत और रूस के बीच इस AK-203 राइफल के लिए डील पर सहमति कुछ साल पहले बनी थी। इस डील के तहत भारतीय सेना को 7.5 लाख AK-203 कलाशनिकोव राइफल मिलने की संभावना है, जिनमें से 70,000 ऐसे होंगे, जिनमें रूसी उपकरण लगे होंगे, क्योंकि टेक्नोलॉजी ट्रांसफर चरणबद्ध तरीके से होगा। सेना को ये राइफल निर्माण की प्रक्रिया शुरू होने के 32 महीने बाद मिलने की संभावना है। पुतिन का भारत दौरा 6 दिसंबर को होने की संभावना जताई जा रही है।