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Covid Vaccine: भारतीय उद्योग जगत को मिल सकती है अपने कर्मचारियों के लिए कोविड वैक्सीन खरीदने की अनुमति

Updated Oct 04, 2020 | 08:15 IST

कोविड वैक्सीन को लेकर केंद्र सरकार एक बड़ी योजना पर काम कर रही है। इसके तहत महत्वपूर्ण कंपनियों को कोविड 19 वैक्सीन खरीदने की सीधी अनुमति दी जा सकती है।

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भारतीय उद्योग जगत को मिल सकती है वैक्सीन खरीदने की अनुमति
मुख्य बातें
  • कोविड वैक्सीन की खरीद की लेकर केंद्र सरकार ले सकती है बड़ा फैसला
  • उद्योग जगत को अपने कर्मचारियों के लिए वैक्सीन खरीदने की मिल सकती है अनुमति
  • सरकार की प्राथमिकता अर्थव्यवस्था को पटरी पर लाना

नई दिल्ली: केंद्र सरकार रणनीतिक रूप से महत्वपूर्ण व्यवसायिक कंपनियों को  कोविड 19 वैक्सीन डेवलपर्स के सीधे सौदा करने की अनुमति देने पर विचार कर सकती है तांकि कंपनियां अपने कर्मचारियों को कोविड 19 से बचा सके। हिंदुस्तान टाइम्स की खबर के अनुसार, नाम नहीं बताने की शर्त पर अधिकारियों ने बताया कि भारत की अधिकांश वैक्सीन योजना केंद्र सरकार द्वारा वित्त पोषित की जाएगी और इस पर लगभग 50,000 करोड़ रुपये की लागत आएगी। उन्होंने इस बात की भी पुष्टि की जिसमें अधिकांश विशेषज्ञ और विश्लेषक कह रहे हैं कि भारत में हर कोई 2021 में इस वैक्सीन को नहीं ले पाएगा।

अधिकारियों ने बताया कि कंपनियों को वैक्सीन की खुराक को लेने की अनुमति देने की योजना पर विचार किया जा रहा है क्योंकि सरकार यह सुनिश्चित करना चाहती है कि प्रमुख आर्थिक गतिविधियों में कोई व्यवधान उत्पन्न ना हो। प्रस्ताव को प्रधानमंत्री कार्यालय द्वारा मंजूरी दे दी गई है। 

सरकार का ध्यान अर्थव्यवस्था पर

भारत में उद्योग जगत की बड़ी कंपनियों के लिए एक अलग चैनल को महत्वपूर्ण माना जा रहा है क्योंकि पहली तिमाही के सकल घरेलू उत्पादन (जीडीपी) में 23.9% की गिरावट के बाद सरकार अपनी अर्थव्यवस्था को आगे बढ़ाने के लिए जोर दे रहा है। मोदी सरकार के कोविड के प्रबंधन और अर्थव्यवस्था के बारे में लगातार सवाल उठ रहे हैं। केंद्र सरकार अभी तक अनलॉक के विभिन्न चरणों की घोषणा कर चुकी है। सभी उद्योग धंधे फिर से शुरू हो गए हैं जिससे अर्थव्यवस्था के फिर से पटरी पर आने के आसार हैं।

कौन सी कंपनियां होंगी पात्र
अभी इस पर कोई निर्णय नहीं लिया गया है कि कौन सी कंपनियां सीधे वैक्सीन निर्माताओं से वैक्सीन खरीदने की पात्र होंगी, लेकिन अधिकारियों ने संकेत दिया कि पेट्रोलियम, स्टील, फार्मा, सीमेंट और कोयला जैसे प्रमुख क्षेत्रों के उद्योगों को अनुमति दी जा सकती है। । इससे केंद्र पर वित्तीय दबाव भी कम होगा। एक अधिकारी ने बताया 'टीके का उपयोग केंद्र सरकार की समग्र निगरानी के तहत किया जाएगा और टीकाकरण के आंकड़ों को केंद्र द्वारा भी संग्रहित किया जाएगा।'

वैक्सीन बना रही हैं ये कंपनियां
ब्रिटिश-स्वीडिश कंपनी एस्ट्राजेनेका और ऑक्सफोर्ड विश्वविद्यालय के के लिए वैक्सीन बना रही भारत की सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया वैक्सीन निर्माण के तीसरे चरण में हैं। भारतीय दवा निर्माता कंपनी Zydus Cadila ने 6 अगस्त को कोविड टीकों के लिए दूसरे चरण का परीक्षण शुरू किया है। एक अन्य घरेलू फार्मा कंपनी भारत बॉयोटैक ने सितंबर से अपने दूसरे चरण के परीक्षणों की शुरुआत की थी।

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