नई दिल्ली: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने एक वीडियो शेयर कर वीर सावरकर की जयंती पर उन्हें श्रद्धांजलि अर्पित की है। केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने भी स्वतंत्रता आंदोलन में उनके अद्वितीय योगदान और समाज से अस्पृश्यता को दूर करने के उनके प्रयासों को याद करते हुए उन्हें नमन किया। सावरकर का जन्म वर्ष 1883 में आज ही के दिन महाराष्ट्र में हुआ था। प्रधानमंत्री ने ट्वीट किया, 'मां भारती के कर्मठ सपूत वीर सावरकर को उनकी जयंती पर आदरपूर्ण श्रद्धांजलि।'
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने वीर सावरकर के बारे में पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी द्वारा दिए गए एक वक्तव्य को उन्ही की आवाज में शेयर करते हुए ट्वीट कर लिखा, 'मां भारती के कर्मठ सपूत वीर सावरकर को उनकी जयंती पर आदरपूर्ण श्रद्धांजलि।'
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प्रधानमंत्री ने सावरकर से जुड़े चित्रों को मिलाकर तैयार की गई एक तस्वीर (फोटो मोंटाज) भी साझा की। इस तस्वीर में एक 'वॉइसओवर' भी शामिल किया गया है, जिसमें मोदी और पूर्व प्रधानमंत्री दिवंगत अटल बिहारी वाजपेयी सावरकर की खूबियों और योगदान के बारे में बता रहे हैं।
पीएम मोदी ने उन्हें शस्त्र और शास्त्र दोनों का उपासक बताया
वीडियो में सावरकर को लेकर अपनी भावना व्यक्त करते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने उन्हें शस्त्र और शास्त्र दोनों का उपासक बताते हुए कहा कि आमतौर पर लोग उन्हें उनकी बहादुरी और ब्रिटिश राज के खिलाफ उनके संघर्ष के लिए जानते हैं लेकिन इन सबके अलावा वो एक ओजस्वी कवि और समाज सुधारक भी थे जिन्होंने हमेशा सद्भावना और एकता पर बल दिया।
केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने किया नमन
केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने सावरकर के जीवन को उत्कृष्ट उदाहरण बताते हुए ट्वीट कर कहा, 'राष्ट्रीयता के प्रतीक वीर सावरकर की जयंती पर उन्हें कोटि-कोटि नमन। शरीर के कण-कण में देशभक्ति का ज्वार संजो खुद को तिल-तिल जलाकर देश के लिए कैसे जिया जा सकता है सावरकर जी का जीवन उसका उत्कृष्ट उदाहरण है। उनका त्यागपूर्ण जीवन हमें निरंतर प्रेरणा और शक्ति देता रहेगा।'
शाह ने अपने अगले ट्वीट में वीर सावरकर को श्रद्धांजलि देते हुए कहा, 'वीर सावरकर जी को एक ही जीवन में मिली दो उम्रकैद व काल कोठरी की अमानवीय यातनाएं भी मां भारती को परम वैभव पर ले जाने के उनके संकल्प को डिगा नहीं पाई। स्वतंत्रता आंदोलन में उनके अद्वितीय योगदान और समाज से अस्पृश्यता को दूर करने के उनके प्रयासों को कभी भुलाया नहीं जा सकता।'