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आज का इतिहास, 28 जुलाई: फिंगर प्रिंट को पहचान का जरिया बताने वाले जेम्स हर्शेल का जन्मदिन

Updated Jul 28, 2022 | 05:30 IST

Today History (aaj ka itihas) 28 July in Hindi: सर विलियम जेम्स हर्शेल ने सबसे पहले इस बात का पता लगाया और हस्ताक्षर की बजाय उंगलियों की छाप को पहचान का बेहतर माध्यम करार दिया। हर्शेल का जन्म 28 जुलाई को ही हुआ था।

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आज का इतिहास

नई दिल्ली: हर इनसानी चेहरा दूसरे से अलहदा होता है, यह तो हम सभी जानते हैं, लेकिन एक समय यह बात किसी को नहीं पता थी कि हर इनसान के एक जैसे दिखने वाले हाथों की उंगलियों की लकीरें भी अलग-अलग होती हैं। सर विलियम जेम्स हर्शेल ने सबसे पहले इस बात का पता लगाया और हस्ताक्षर की बजाय उंगलियों की छाप को पहचान का बेहतर माध्यम करार दिया। हर्शेल का जन्म 28 जुलाई को ही हुआ था। हाथ से लिखे शब्दों की नकल तो कोई भी कर सकता है, लेकिन हर इनसान की उंगलियों की छाप एक दूसरे से अलग होती है और उसकी नकल कोई नहीं कर सकता। यही वजह है कि आज इसे पहचान के सबसे सशक्त माध्यम के तौर पर इस्तेमाल किया जाता है।

देश दुनिया के इतिहास में 28 जुलाई की तारीख पर दर्ज अन्य महत्वपूर्ण घटनाओं का सिलसिलेवार ब्यौरा इस प्रकार है:-

1586 : इंगलैंड से वापस लौटने पर सर थामस हेरिओट ने यूरोप को आलू के बारे में बताया।
1741 : कैप्टन बेरिंग ने माउंट सैंट एलियास, अलास्का की खोज की।
1742 : प्रशिया और आस्ट्रिया ने शांति समझौते पर हस्ताक्षर किये।
1821 : पेरू ने स्पेन से स्वतंत्रता की घोषणा की।
1858 : सर विलियम जेम्स हर्शेल का जन्म, जिन्होंने फिंगर प्रिंट को पहचान का बेहतर जरिया बताया।
1866 : अमेरिका में मापने की मीट्रिक प्रणाली को वैधानिक मान्यता मिली।
1914 : प्रथम विश्‍व युद्ध की शुरुआत।
1914 : एस.एस. कामागाता मारू को वेंकुवर से निकाला गया और भारत रवाना कर दिया गया।
1925 : हेपेटाइटिस का टीका खोजने वाले बारुक ब्‍लमर्ग का जन्‍म। 28 जुलाई को ही विश्‍व हेपेटाइटिस डे मनाया जाता है।
1976 : चीन में रिक्टर पैमाने पर 8.3 की तीव्रता का भूकंप आने से लाखों लोगों की मौत।
1979 : चरण सिंह देश के पांचवे प्रधानमंत्री बने।
1995 - वियतनाम आसियान का सदस्य बना।
2001 : पाकिस्तान के पूर्व विदेश मंत्री मोहम्मद सिद्दिकी ख़ान कंजू की हत्या।
2005 : सौरमंडल के दसवें ग्रह की खोज का दावा।
2005: आयरिश रिपब्लिकन आर्मी (आईआरए) ने अपने सशस्त्र संघर्ष को रोकने का ऐलान किया और लोकतांत्रिक तरीके से अपना अभियान चलाने की बात कही।
 

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