- राज्य सरकार केंद्र के सामने उठा चुकी है लोकल ट्रेन सेवाएं शुरू करने की मांग
- प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के सामने एक बार फिर मांग रख सकते हैं मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे
- 17 जून को वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए होगी पीएम मोदी से सीएम ठाकरे की बैठक
नई दिल्ली: मुंबई में जल्द ही एक बार फिर से लोकल ट्रेनें चलना शुरू हो सकता है। माना जा रहा है कि 17 जून को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के साथ होने वाली बैठक में मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे इस बात को उठाएं कि मुंबई में उपनगरीय रेल सेवाओं को फिर से शुरू किया जाए। 'हिंदुस्तान टाइम्स' की खबर के मुताबिक, अधिकारियों के अनुसार, रेलवे अधिकारियों, राज्य के अधिकारियों और गृह मंत्रालय के बीच चर्चा चल रही है, और आवश्यक सेवाओं से जुड़े लोगों के लिए स्थानीय ट्रेन सेवाएं सोमवार से शुरू हो सकती हैं।
बुधवार को मुख्यमंत्री ठाकरे ने मुंबई महानगर क्षेत्र में उपनगरीय ट्रेन सेवाओं को फिर से शुरू करने की आवश्यकता दोहराई थी। उन्होंने कहा कि फ्रंटलाइन वर्कर्स को आवागमन करना मुश्किल हो रहा है और कई लोग सार्वजनिक परिवहन की अनुपस्थिति के कारण ड्यूटी में शामिल नहीं हो पाए हैं।
स्वास्थ्य मंत्री के भी सामने रखी मांग
राज्य के स्वास्थ्य मंत्री राजेश टोपे ने गुरुवार को केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री हर्षवर्धन के साथ वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के दौरान आवश्यक सेवाओं में शामिल लोगों के लिए रेलवे सेवाओं कों शुरू करने का अनुरोध किया था। बैठक के बाद टोपे ने कहा, 'मैंने आवश्यक और आपातकालीन सेवाओं के लिए उपनगरीय रेलवे सेवाओं की अपनी मांग को दोहराया है। मुझे विश्वास है कि केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री प्रधानमंत्री के साथ इस पर चर्चा करेंगे।'
शनिवार को मुंबई में रेलवे अधिकारियों ने कहा कि रेल मंत्रालय से कोई निर्देश नहीं आया है। सेंट्रल रेलवे के मुख्य पीआरओ, शिवाजी सुतार ने ट्वीट किया, 'उपनगरीय ट्रेनों के शुरू होने को लेकर संदेश फैल रहा है...यह सूचित किया जाता है कि अब तक हमें ऐसे निर्देश नहीं मिले हैं...सक्षम प्राधिकार से निर्देश प्राप्त होते ही हम आपको अपडेट करेंगे।'
बसों में बढ़ रही भीड़
राज्य सरकार के अधिकारियों ने कहा कि 11 मई को वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के दौरान सीएम द्वारा मांग उठाए जाने के बाद केंद्र को कई पत्र भेजे गए हैं। ट्रेन सेवाओं की मांग केवल फ्रंटलाइन वर्कर्स और आवश्यक सेवाओं में शामिल सहायक कर्मचारियों के लिए की गई थी। एक अधिकारी ने कहा, 'निजी कर्मचारियों को कार्यस्थल पर काम करने की अनुमति देने के बाद बसों में भीड़ बढ़ रही है। इससे लोगों को आवश्यक और आपातकालीन सेवाओं में असुविधा हो रही है। उनमें से कई दूर-दराज के उपनगरों से यात्रा करते हैं। वे पहले से ही काफी तनाव में हैं, रेल सेवाओं को फिर से शुरू करने से कुछ राहत मिलेगी।'