- आदित्य ठाकरे और अनिल परब के करीबी सहयोगियों के खिलाफ आयकर विभाग की छापेमारी
- केंद्रीय जांच एजेसियां चुने हुए लोगों को ही टारगेट क्यों कर रही हैं?: राउत
- महाराष्ट्र में महाविकास अघाड़ी के 14 प्रमुख लोगों के खिलाफ ईडी की कार्रवाई हुई है: संजय राउत
आयकर विभाग शिवसेना नेताओं और महाराष्ट्र के मंत्रियों आदित्य ठाकरे और अनिल परब के करीबी सहयोगियों के कार्यालय और आवास पर छापेमारी कर रहा है। मुंबई और पुणे में छापेमारी की जा रही है। इससे पहले आईटी विभाग ने बीएमसी के विभिन्न संपर्ककर्ताओं और शिवसेना नेताओं के कार्यालयों और परिसरों में छापेमारी की थी।
इस पर शिवसेना नेता संजय राउत ने कहा कि केंद्रीय एजेंसियां पश्चिम बंगाल और महाराष्ट्र जैसे राज्यों के कुछ चुनिंदा लोगों को क्यों निशाना बना रही हैं? क्या उन्हें दूसरे राज्यों से कोई और नहीं मिलता है, यह महाविकास अघाड़ी सरकार पर दबाव बनाने और अस्थिर करने की एक रणनीति है। अब तक महाराष्ट्र में सबसे ज्यादा ED के छापे हुए हैं। अब तक महाराष्ट्र में महाविकास अघाड़ी के 14 प्रमुख लोगों के खिलाफ ED की कार्रवाई हुई है। पश्चिम बंगाल में 60 लोगों के खिलाफ कार्रवाई हो रही हैं, लेकिन भाजपा के लोगों के खिलाफ ED और IT की कोई कार्रवाई नहीं हो रही है। मुंबई पुलिस ईडी अधिकारियों की सांठगांठ से आपराधिक सिंडिकेट और रंगदारी रैकेट की जांच शुरू करेगी। मेरी बात मानिए, इनमें से कुछ ईडी अधिकारी जेल भी जाएंगे।
उन्होंने कहा कि ईडी के कुछ अधिकारी बीजेपी के टिकट पर चुनाव लड़ रहे हैं, ईडी बीजेपी का एटीएम बन गया है और मैंने पीएम को इन अधिकारियों द्वारा जबरन वसूली का रिकॉर्ड दिया है। ईडी अधिकारियों का गठजोड़ ठेकेदारों, डेवलपर्स और बिल्डरों से उगाही कर रहा है। ईडी और अन्य केंद्रीय जांच एजेंसियों को यही काम रह गया है कि जहां-जहां शिवसेना का कार्यकर्ता हैं, जहां-जहां शिवसेना की शाखा है, जहां-जहां शिवसेना के लोग चुनाव लड़ने जा रहे हैं। वहां छापा मारेंगे।