- मुंबई मंडल के रेलवे स्टेशनों पर लगी डबल्यूवीएम फिर होंगी शुरू
- 34 स्टेशनों की 35 मशीनों को शरू करने के लिए टेंडर जारी
- डबल्यूवीएम मशीनों से यात्रियों को मिल सकेगा कम कीमत में पानी
Mumbai Railway Station News: मुंबई के रेलवे स्टेशनों पर यात्रियों को अपनी प्यास बुझाने के लिए अब महंगे दामों में पानी की बोतल नहीं खरीदनी पड़ेगी। यात्री अब सस्ते दामों में रेलवे स्टेशनों पर लगी वॉटर वेंडिंग मशीनों (डबल्यूवीएम) से पानी ले सकेंगे। पिछले करीब दो साल से बंद पड़ी इन मशीनों को मध्य रेलवे एक बार फिर से शुरू करने जा रहा है। रेलवे ने मुंबई डिविजन के 34 स्टेशनों पर लगी 35 डबल्यूवीएम मशीनों को शुरू करने के लिए टेंडर जारी कर दिया है। कोई भी कंपनी 24 जून तक टेंडर भर इन मशीनों को चलाने के लिए रेलवे के साथ एग्रीमेंट कर सकती है। बता दें कि, इससे पहले इन मशीनों को आईआरसीटीसी ऑपरेट करती थी, लेकिन अब रेलवे इन्हें ऑपरेट करेगी।
गर्मी का सीजन शुरू होते ही पानी की डिमांड बढ़ जाती है। हालही में ट्रेन के अंदर बेची जा रही लोकल ब्रांड पानी की शिकायत पर सफाई देते हुए आईआरसीटीसी ने बताया था कि, इस समय मुंबई के स्टेशनों पर पानी की डिमांड इतनी बढ़ गई है, कि मजबूरन हमें लंबी दूरी की ट्रेनों में दूसरे ब्रांड का पानी सप्लाई करना पड़ रहा है। इन वॉटर वेंडिंग मशीनों के शुरू होने से जहां रेलवे को डिमांड के अनुसार पानी सप्लाई करने में राहत मिलेगी, वहीं यात्रियों को भी सस्ते दाम में स्वच्छ व ठंडा पानी मिल सकेगा।
इसलिए बंद हुई थी मशीनें
मध्य रेलवे के अुनसार इस समय 55 स्टेशनों पर 82 वॉटर वेंडिंग मशीनें लगी हैं, लेकिन ये सभी बंद पड़ी हैं। इस योजना को करीब दो साल पहले शुरू किया गया था। उस समय इन वॉटर वेंडिंग मशीनों का जमकर प्रचार भी किया गया था। इन मशीनों से 2 रुपये में 300 एमएल शुद्ध और ठंडा पानी दिया जाता था। स्टेशनों पर लगीं ये वॉटर वेंडिंग मशीनें लंबी दूरी के स्टेशनों पर खूब चलती थीं। यहां पर हर समय यात्रियों की भीड़ लगी रहती थी। इन मशीनों से यात्रियों को 8 रुपये में कंटेनर के साथ एक लीटर पानी भी मिल जाता था। वहीं गर्मी के मौसम में लोकल ट्रेनों के स्टेशनों पर 500 एमएल पानी की बड़ी डिमांड रहती थी। लेकिन वक्त गुजरने के साथ ये मशीनें धीरे-धीरे ठंडी पड़ती गईं। यहां काम करने वाले लोगों को महीनों तक वेतन नहीं दिया गया। साथ ही कॉन्ट्रैक्टर अपनी लाइसेंस फीस भरने में भी नाकाम रहे। जिस वजह से आईआरसीटीसी ने इस सुविधाजनक और सफल योजना को बंद कर दिया। हालांकि अब एक बार फिर से इनके शुरू होने की उम्मीद जगी है।