- बिहार सरकार की सिफारिश पर सुशांत सिंह राजपूत केस की जांच सीबीआई के हवाले
- महाराष्ट्र सरकार ने सीबीआई जांच की मांग पर सुप्रीम कोर्ट में लगाई है अर्जी, सीबीआई जांच का विरोध
- सीबीआई ने रिया चक्रवर्ती और उनके परिवार के साथ सुशांत के दो करीबियों पर दर्ज की है एफआईआर
मुंबई। सुशांत सिंह राजपूत केस में अब जांच सीबीआई के हवाले है। बिहार सरकार की सीबीआई जांच की सिफारिश पर केंद्र सरकार ने मंजूरी दे दी थी। लेकिन महाराष्ट्र सरकार की दलील तब भी यानि की 14 जून से लेकर आज तक यही है कि महाराष्ट्र पुलिस जांच करने में सक्षम है और नाहक इस विषय पर राजनीति की जा रही है। यह बात अलग है कि सुशांत सिंह राजपूत के परिवार को शक था कि जांच को सिर्फ भटकाया जा रहा है, लिहाज किसी भी सूरत में जांच मुंबई पुलिस से ले लेनी चाहिए। महाराष्ट्र सरकार की तरफ से सीबीआई जांच के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट में अपील की गई और फैसला फिलहाल सुरक्षित है।
सीबीआई जांच से आपत्ति नहीं
सुशांत सिंह मामले में एनसीपी के अध्यक्ष शरद पवार ने बड़ी बात कही है। वो कहते हैं कि महाराष्ट्र और मुंबई पुलिस को पचास साल से देखा है, मुझे उनके ऊपर भरोसा है। मैं उन लोगों के बयानों पर किसी तरह की टिप्पणी नहीं करना चाहता जो मुंबई पुलिस पर सवाल कर रहे हैं। यदि किसी को लगता है कि सीबीआई या कोई दूसरी जांच एजेंसी को इस मामले की जांच करनी चाहिए तो वो विरोध नहीं करेंगे।
मुंबई पुलिस पर इसलिए उठे सवाल
अगर सुशांत सिंह केस में जांच को देखें तो कई तरह के सवाल उठे हैं। मसलन मुंबई पुलिस से घटना वाले दिन ही बिना किसी तफ्तीश के इस अंजाम पर पहुंची की सुशांत सिंह ने आत्महत्या की थी। इसके साथ पचास दिन से ज्यादा का समय बीत चुका है और किसी के खिलाफ एफआईआर तक दर्ज नहीं हुई। इस देरी की वजह से सुशांत के पिता के के सिंह ने जब कहा कि रिया चक्रवर्ती ने 50 करोड़ का गबन किया है तो केस की तस्वीर बदल गई।
यहां पर बता दें कि बिहार के कई राजनीतिक दल यहां तक की सत्ताधारी दल भी सीबीआई जांच की मांग कर रहे थे। लेकिन जब के के सिंह ने सीधे सीधे रिया चक्रवर्ती का नाम लिया तो सीएम नीतीश कुमार ने कहा कि अगर वो सीबीआई जांच की मांग करते हैं तो उन्हें किसी तरह की आपत्ति नहीं होगी और अब बिहार पुलिस ने सीबीआई को केस सुपुर्द कर दिया है।