लाइव टीवी

Sakat Chauth 2022 Date, Puja Muhurat: जानें कब है सकट चौथ और क्‍या है पूजा मुहूर्त, इस दिन चंद्रदेव की पूजा का है विधान

Updated Jan 21, 2022 | 08:57 IST

Sakat Chauth 2022 Date, Puja Muhurat (सकट चौथ 2022 में कब है): इस बार सकट चौथ का पावन पर्व 21 जनवरी 2022, शुक्रवार को है। धार्मिक मान्यताओं के अनुसार सकट चौथ के दिन विघ्नहर्ता भगवान गणेश की पूजा अर्चना करने से निसंतान को संतान की प्राप्ति होती है और संतान संबंधी सभी समस्याओं का निवारण होता है।

Loading ...
सकट चौथ 2022 (Pic: iStock)
मुख्य बातें
  • माघ मास के कृष्ण पक्ष की चतुर्थी तिथि को सकट चौथ कहते हैं।
  • इस दिन माताएं अपनी संतान की सुखी स्वस्थ जीवन के लिए निर्जला व्रत कर करती हैं भगवान गणेश की पूजा।
  • सकट चौथ के दिन चंद्रमा की पूजा का है विधान, इस दिन चंद्रदेव की पूजा अर्चना कर अर्घ्य देने से ग्रह नक्षत्र होते हैं मजबूत।

Sakat Chauth 2022 Date, Puja Muhurat: माघ मास के कृष्ण पक्ष की चतुर्थी तिथि को सकट चौथ कहते हैं, इसे संकष्टी चतुर्थी, वक्रतुण्डी चतुर्थी और तिलकुटा पर्व के नाम से भी जाना जाता है। इस दिन माताएं अपनी संतान की सुखी स्वस्थ जीवन और दीर्घायु के लिए निर्जला व्रत कर भगवान गणेश की पूजा अर्चना करती हैं। धार्मिक मान्यताओं के अनुसार सकट चौथ के दिन विघ्नहर्ता भगवान गणेश की पूजा अर्चना करने से निसंतान को संतान की प्राप्ति होती है और संतान संबंधी सभी समस्याओं का निवारण होता है। सकट चौथ के दिन भगवान गणेश को तिलकुट चढ़ाने का विशेष महत्व है।

इस बार सकट चौथ का पावन पर्व 21 जनवरी 2022, शुक्रवार को है। शास्त्रों के अनुसार इस दिन चंद्रदेव की पूजा अर्चना कर अर्घ्य देने से ग्रह नक्षत्र मजबूत होते हैं। तथा घर में सुख समृद्धि का वास होता है और दरिद्रता का नाश होता है। ऐसे में इस लेख के माध्यम से आइए जानते हैं साल 2022 में कब है सकट चौथ का व्रत और इसका महत्व।

Also Read: Sakat Chauth 2022 Date, Puja Vidhi, Muhurat: सकट चौथ पर करें यह चमत्कारी उपाय, दूर होगी आर्थिक परेशानी

कब है सकट चौथ 2022

हिंदू पंचांग के अनुसार माघ मास के कृष्ण पक्ष की चतुर्थी तिथि को सकट चौथ का व्रत रखा जाता है। चतुर्थी तिथि 21 जनवरी 2022, शुक्रवार को सुबह 08 बजकर 51 मिनट से प्रारंभ होकर 22 जनवरी 2022, शनिवार को 09:41 AM पर समाप्त होगी। इस दिन निर्जला व्रत कर विघ्नहर्ता भगवान गणेश की पूजा अर्चना के बाद रात को चंद्रदेव को अर्घ्य देकर पारण किया जाता है।

Also Read: magh maas ke upay : माघ माह में करें ये चमत्कारिक उपाय, होंगे मालामाल और घर में होगा सुख समृद्धि का वास

सकट चौथ का महत्व

सकट चौथ का सनातन धर्म में विशेष महत्व है। इस दिन विघ्नहर्ता भगवान गणेश की पूजा अर्चना करने से सभी मनोकामनाएं पूर्ण होती हैं और विशेष फल की प्राप्ति होती है। मान्यता है कि निर्जला व्रत कर विधि विधान से गणेश जी की पूजा करने से गणपति की कृपा भक्तों पर सदैव बनी रहती है।

Also Read: Basant Panchami 2022 Date, Puja Muhurat : बसंत पंचमी 2022 में कब है, जानें इस पर्व की तिथि, पूजा मुहूर्त और महत्व

चंद्रमा को माना जाता है सौभाग्य का कारक

शास्त्रों के अनुसार सकट चौथ के दिन चंद्रमा की पूजा का विधान है। चंद्रमा को औषधियों का स्वामी और मन का कारक माना जाता है। इस दिन चंद्रदेव को अर्घ्य देने से सौभाग्य की प्राप्ति होती है। कहा जाता है कि चंद्रमा को अर्घ्य देने से मन में आ रहे समस्त नकारात्मक विचार खत्म होते हैं और स्वास्थ्य लाभ मिलता है।

देश और दुनिया की ताजा ख़बरें (Hindi News) अब हिंदी में पढ़ें | अध्यात्म (Spirituality News) की खबरों के लिए जुड़े रहे Timesnowhindi.com से | आज की ताजा खबरों (Latest Hindi News) के लिए Subscribe करें टाइम्स नाउ नवभारत YouTube चैनल