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अचिंत शिउली ने भाई और कोच को समर्पित किया पदक, बताया-क्या है उनका अगला लक्ष्य 

Updated Aug 01, 2022 | 08:00 IST

भारत को 22वें राष्ट्रमंडल खेलों में तीसरा स्वर्ण पदक दिलाने वाले 20 वर्षीय वेटलिफ्टर ने अपना पदक भाई और कोच को समर्पित किया है। 

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तस्वीर साभार:&nbspTwitter
अचिंत शिउली
मुख्य बातें
  • अचिंत शिउली ने वेटलिफ्टिंग में पुरुषों के 73 किग्रा वर्ग का स्वर्ण पदक जीता
  • अपने भाई और कोच को समर्पित किया पदक
  • स्पर्धा में दो रिकॉर्ड तोड़कर जीता भारत के लिए बर्मिंघम में तीसरा गोल्ड मेडल

बर्मिंघम: भारत के 20 वर्षीय युवा वेटलिफ्टर अचिंत शिउली ने रविवार को 22वें राष्ट्रमंडल खेलों के तीसरे दिन पुरुषों के 73 किग्रा वर्ग का स्वर्ण पदक जीता। उन्हें गोल्ड मेडल दो नए गेम्स रिकॉर्ड के साथ अपने नाम किया। पहली बार राष्ट्रमंडल खेलों में शिरकत कर रहे शिउली ने कुल 313 किलो वजन उठाकर गोल्ड पर कब्जा किया।

स्नेच राउंड में उन्होंने सबसे ज्यादा 143 किग्रा भार उठाकर नया गेम्स रिकॉर्ड बनाया। इसके बाद क्लीन एंड जर्क में 170 किग्रा वजन उठाकर कुल 313 किलो वजन के साथ वो पहले पायदान पर रहे। 

अब करूंगा ओलंपिक खेलों की तैयारी 
जीत के बाद अचिंत शिउली ने पदक अपने भाई और कोच को समर्पित किया है। जीत के बाद शिउली ने कहा, मैं बहुत खुश हूं। बहुत सारे संघर्ष के बाद मैंने यह पदक जीता है। मैं अपने इस पदक को अपने भाई और कोच को समर्पित करता हूं। अब मैं ओलंपिक खेलों के लिए तैयारी करूंगा। 

भाई को देखकर ही शुरू की थी वेटलिफ्टिंग 
पश्चिम बंगाल के हावड़ा जिले के रहने वाले अचिंत शिउली के भाई भी वेटलिफ्टिर थे। पिता की मौत के बाद घर की जिम्मेदारी उनके कंधों पर आ गई। उनको देखकर ही अचिंत ने वेटलिफ्टिंग करनी शुरू की थी। भाई ने हमेशा उनका साथ दिया। ऐसे में भाई को पदक समर्पित करने पर किसी को अचरज नहीं हुआ।