लाइव टीवी

कोरोना महामारी के लिए दान करते हुए रहें सावधान, असली जैसी दिखने वाली फर्जी UPI ID वायरल

Updated Mar 30, 2020 | 17:45 IST

कोरोना वायरस महामारी के लिए दान करते हुए बेहद सावधान रहने की जरूरत है। डोनेशन को लेकर असली जैसी दिखने वाली फर्जी यूपीआई आईडी इंटरनेट पर सर्कुलेट हो रही हैं।

Loading ...
फेक यूपीआई आईडी से सावधान
मुख्य बातें
  • डोनेशन को लेकर इंटरनेट पर वायरल हो रही नकली यूपीआई आईडी
  • सावधान- जरूरतमंदों की जगह धोखेबाजों के पास पहुंच सकता है आपका पैसा
  • असली और नकली UPI आईडी में बेहद मामूली अंतर, जरूर दें ध्यान

नई दिल्ली: पूरे देश में COVID-19 वायरस के प्रकोप के बीच प्रधानमंत्री कार्यालय ने एक विशेष यूपीआई आईडी जारी की है, जिस पर नागरिक देश में फैले कोरोना वायरस के खिलाफ चल रही लड़ाई के लिए दान कर सकते हैं। फंड को PM CARES फंड कहा जा रहा है जो प्रधानमंत्री नागरिक सहायता और आपातकालीन स्थिति निधि का ही एक एक छोटा नाम है।

हालांकि, कोरोना से लड़ाई से डोनेट करते हुए एक फर्जी यूपीआई आईडी से सावधान रहें वरना दान करते हुए आपका पैसा गलत हाथों में जा सकता है। एक फर्जी आईडी है जिसे पीएम केयर फंड के नाम से शेयर किया जा रहा है। प्रेस इंफॉर्मेशन ब्यूरो ने एक ट्वीट पोस्ट कर इस बारे में जानकारी दी है। ट्वीट में यूजर्स को नकली UPI ID के बारे में सचेत किया गया है और बताया गया है कि सरकार की ओर से डोनेशन के लिए जारी यूपीआई आईडी और दूसरी आईडी में थोड़ा सा ही अंतर है। 

जिस नकली UPI ID को सर्कुलेट किया जा रहा है वह pmcare @ sbi है। अगर आप बारीकी से नजर डालें तो पाएंगे कि सही आईडी नकली UPI ID में एक अतिरिक्त 'S' का अंतर है। सरकारी की ओर से डोनेशन के लिए जारी आईडी pmcare है जबकि फर्जी यूपीआई आईडी pmcares है।

प्रधानमंत्री कार्यालय की ओर से कोरोना महामारी को लेकर आपातकालीन निधि बनाई गई है और यह निधि एक सार्वजनिक धर्मार्थ ट्रस्ट है, जिसका नाम 'प्रधानमंत्री नागरिक सहायता और आपातकालीन स्थिति में राहत (पीएम केयर) फंड' है।

दान करने के इच्छुक लोग जो भी राशि देने का इरादा रखते हैं, वह एसबीआई खाते में अमांउट को ट्रांसफर कर सकते हैं। यह एसबीआई खाता फंड से जुड़ा हुआ है। साथ ही यूपीआई की मदद से डिजिटल भुगतान भी किया जा सकता है।

एक बार फिर हम आपको दान करने से पहले आईडी की दोहरी जांच करने की सलाह देते हैं। यह सुनिश्चित करना जरूरी है कि आपका पैसा जरूरतमंदों के लिए सरकार तक पहुंच रहा है, किसी धोखेबाज़ को नहीं।