GST On Insurance:हेल्थ इंश्योरेंस प्रीमियम पर वित्त मंत्री ने समझाया कमाई का गणित, बोली- राज्यों में सांसद दर्ज कराएं विरोध

GST On Insurance: संसद में कई विपक्षी सदस्यों ने बुधवार को वित्त विधेयक पर चर्चा में भाग लेते हुए स्वास्थ्य बीमा और जीवन बीमा के प्रीमियम पर लगने वाली 18 प्रतिशत की जीएसटी खत्म करने की मांग की थी। वित्त मंत्री ने बताया कि कहा कि स्वास्थ्य बीमा पर 18 प्रतिशत जीएसटी है। इसमें नौ प्रतिशत राज्यों के पास जाता है। बाद में जो केंद्र के पास आता है उसमें से भी एक हिस्सा राज्यों को जाता है।

हेल्थ इंश्योरेंस पर वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण का पलटवार

GST On Insurance:स्वास्थ्य बीमा पर जीएसटी हटाने की मांग अब राजनीतिक ज्यादा हो गई है। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने विपक्ष पर पलटवार करते हुए कहा कि स्वास्थ्य बीमा पर माल एवं सेवा कर (जीएसटी) की व्यवस्था लागू होने से पहले से कर लगता था और उन्हें इस बारे में अपनी पार्टी के शासन वाले राज्यों के वित्त मंत्रियों के समक्ष विरोध दर्ज कराना चाहिए। उन्होंने कहा कि स्वास्थ्य बीमा पर 18 प्रतिशत जीएसटी है। इसमें नौ प्रतिशत राज्यों के पास जाता है। बाद में जो केंद्र के पास आता है उसमें से भी एक हिस्सा राज्यों को जाता है।

राज्यों के पास जाता है 74 फीसदी पैसा

वित्त मंत्री ने इंश्योरेंस के प्रीमियम पर केंद्र और राज्यों का गणित समझाते हुए कहा कि स्वास्थ्य बीमा पर 18 प्रतिशत जीएसटी है। इसमें नौ प्रतिशत राज्यों के पास जाता है। बाद में जो केंद्र के पास आता है उसमें से भी एक हिस्सा राज्यों को जाता है। मतलब यह कि 100 रुपये में 74 रुपये राज्यों को चला जाता है। ऐसे में राज्यों को दोहरा मापदंड नहीं अपनाना चाहिए

पहले से लगता है टैक्स

असल में संसद में कई विपक्षी सदस्यों ने बुधवार को वित्त विधेयक पर चर्चा में भाग लेते हुए स्वास्थ्य बीमा और जीवन बीमा के प्रीमियम पर लगने वाली 18 प्रतिशत की जीएसटी खत्म करने की मांग की थी। इस पर जवाब देते हुए सीतारमण ने कहा कि मेडिकल बीमा के प्रीमियम पर जीएसटी आने से पहले कर है। यह नया विषय नहीं है। पहले भी हर राज्य में मेडिकल बीमा पर कर लगता था।

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