S&P On Indian Economy: भारत तीसरी सबसे इकोनॉमी बनने की राह पर, 2030-31 तक हो सकता है ऐसा-एस एंड पी

S&P On Indian Economy: एसएंडपी ग्लोबल ने कहा है कि वित्त वर्ष 2023-24 में 8.2 प्रतिशत की वृद्धि दर के साथ कारोबारी लेनदेन तथा लॉजिस्टिक्स में सुधार, निजी क्षेत्र के निवेश को बढ़ावा देने और सार्वजनिक पूंजी पर निर्भरता कम करने के लिए निरंतर सुधारों की जरूरत है।

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भारतीय इकोनॉमी में तेजी

S&P On Indian Economy:भारत 2030-31 तक दुनिया की तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बनने की राह पर है। रेटिंग एजेंसी एसएंडपी ग्लोबल की एक रिपोर्ट में यह अनुमान लगाया गया है।रेटिंग एजेंसी ने कहा है कि चालू वित्त वर्ष में भारतीय अर्थव्यवस्था के 6.7 प्रतिशत की दर से बढ़ने का अनुमान है।एसएंडपी ग्लोबल ने बृहस्पतिवार को एक रिपोर्ट में कहा, वित्त वर्ष 2023-24 में 8.2 प्रतिशत की वृद्धि दर के साथ कारोबारी लेनदेन तथा लॉजिस्टिक्स में सुधार, निजी क्षेत्र के निवेश को बढ़ावा देने और सार्वजनिक पूंजी पर निर्भरता कम करने के लिए निरंतर सुधारों की जरूरत है।

क्यों है भरोसा
रिपोर्ट में कहा गया है कि मजबूत वृद्धि संभावनाओं तथा बेहतर विनियमन के कारण शेयर बाजारों के गतिशील तथा प्रतिस्पर्धी बने रहने का अनुमान है। भारत के प्रमुख उभरते बाजार सूचकांकों में शामिल होने के बाद से भारत सरकार के बॉन्ड में विदेशी निवेश में वृद्धि हुई है। आगे भी इसमें बढ़ोतरी की उम्मीद है।‘इंडिया फॉरवर्ड: इमर्जिंग पर्सपेक्टिव्स’ शीर्षक वाली रिपोर्ट के प्रथम संस्करण में कहा गया, व्यापार लाभ को अधिकतम करने के लिए भारत को बुनियादी ढांचे और भू-राजनीतिक रणनीतियों को विकसित करना होगा, खासकर अपने व्यापक समुद्र तट के संबंध में।

बंदरगाह का इंफ्रास्ट्रक्चर बढ़ाने की जरूरत

भारत का करीब 90 प्रतिशत व्यापार समुद्री मार्ग से होता है, जिससे बढ़ते निर्यात तथा थोक वस्तुओं के आयात को प्रबंधित करने के लिए मजबूत बंदरगाह बुनियादी ढांचे की आवश्यकता है।रिपोर्ट में कहा गया है कि भारत घरेलू ऊर्जा की बढ़ती मांग का सामना कर रहा है। वह नवीकरणीय तथा कम उत्सर्जन वाले ईंधन सहित सतत प्रौद्योगिकियों पर विचार कर सकता है। साथ ही अपनी ऊर्जा बदलाव योजनाओं के साथ ऊर्जा सुरक्षा को संतुलित कर सकता है।
इसमें कहा गया, बुनियादी ढांचे और उत्पादकता में सुधार के लिए कृषि उन्नत प्रौद्योगिकियों तथा नई नीतियों पर निर्भर रहेगी। खाद्य सुरक्षा और आर्थिक स्थिरता सुनिश्चित करने के लिए सिंचाई, भंडारण और आपूर्ति वितरण जैसे महत्वपूर्ण बुनियादी ढांचे के मुद्दों से निपटने की जरूरत है।
एसएंडपी ग्लोबल इंडिया रिसर्च चैप्टर का पहला संस्करण बृहस्पतिवार को यहां जारी किया गया।
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प्रशांत श्रीवास्तव author

करीब 17 साल से पत्रकारिता जगत से जुड़ा हुआ हूं। और इस दौरान मीडिया की सभी विधाओं यानी टेलीविजन, प्रिंट, मैगजीन, डिजिटल और बिजनेस पत्रकारिता में काम कर...और देखें

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