Tata Group: टाटा के चेयरमैन का बड़ा प्लान, सेमीकंडक्टर प्लांट में देंगे 27000 लोगों को नौकरी, अगले साल होगा शुरू
Semiconductor Plant Assam: भारत के पहले सेमीकंडक्टर प्लांट का भूमि पूजन हो चुका है। जिसका निर्माण मोरीगांव जिले के जागीरोड में 27,000 करोड़ रुपये की लागत से कराया जाएगा। ऐसे में लोगों के मन में सवाल उठ रहे हैं कि इस प्लांट में किस-किस डिवाइस के लिए चिप बनेंगी? कितने लोगों को रोजगार मिलेगा और यह कब तक शुरू होगा...? ऐसे इन सभी सवालों पर टाटा संस के चेयरमैन एन चंद्रशेखरन क्या बोल रहे हैं चलिए जानते हैं।
टाटा संस के चेयरमैन एन चंद्रशेखरन।
Semiconductor Plant Cost: भारत अपनी दूसरे देशों पर सेमीकंडक्टर की निर्भरता खत्म करने के लिए बड़ी तेजी से पहल कर रहा है। इसी को देखते हुए कल शनिवार को मोरीगांव जिले के जागीरोड में 27,000 करोड़ रुपये के सेमीकंडक्टर मैन्यूफैक्चरिंग और टेस्टिंग प्लांट का भूमि पूजन किया गया। जागीरोड में टाटा सेमीकंडक्टर प्लांट, भारत का पहला स्वदेशी सेमीकंडक्टर मैन्यूफैक्चरिंग और टेस्टिंग प्लांट है।
When will the semiconductor plant start in india: कब शुरू होगा सेमीकंडक्टर प्लांट
टाटा सेमीकंडक्टर प्लांट के भूमि पूजन के अवसर पर बोलते हुए टाटा संस के चेयरमैन एन चंद्रशेखरन ने कहा कि टाटा समूह का आगामी सेमीकंडक्टर प्लांट 27,000 नौकरियां पैदा करेगा। टाटा सेमीकंडक्टर प्लांट के भूमि पूजन के अवसर पर बोलते हुए चंद्रशेखरन ने कहा कि यह सुविधा 2025 में चालू हो जाएगी। उन्होंने आगे कहा कि कंपनी स्थानीय असमिया लोगों को काम पर रख रही है और पहले ही 1000 लोगों को रोजगार दे चुकी है, जिन्हें कंपनी की बेंगलुरु सुविधा में प्रशिक्षित किया जा रहा है।
How many people will get employment from semiconductor plant: सेमीकंडक्टर प्लांट से कितने लोगों को रोजगार मिलेगा
चंद्रशेखरन ने कहा, "जब यह सुविधा अपनी क्षमता तक विस्तारित हो जाएगी, तो इसमें 27000 लोगों को रोजगार मिलेगा - 15,000 प्रत्यक्ष नौकरियां और 12,000 अप्रत्यक्ष नौकरियां। इसके अतिरिक्त, यह सेमीकंडक्टर कंपनियों के पूरे पारिस्थितिकी तंत्र को भी साथ लाएगा। हमें कई लोगों की जरूरत होगी जो कई एलीमेंट का उत्पादन करेंगे। हालांकि ये लोग शुरुआत में आपूर्ति करेंगे, लेकिन आने वाले सालों में वे अपनी यूनिट्स स्थापित करेंगे... यह एक संपन्न इलेक्ट्रॉनिक्स केंद्र बन जाएगा।"
ऑटोमोटिव, मोबाइल डिवाइस, आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस के बनेंगी चिप्स
इस साल की शुरुआत में, टाटा समूह ने ऑटोमोटिव, मोबाइल डिवाइस, आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (एआई) और अन्य प्रमुख क्षेत्रों में अनुप्रयोगों के लिए सेमीकंडक्टर चिप्स की असेंबली और टेस्टिंग के लिए असम में 27,000 करोड़ रुपये की ग्रीनफील्ड सुविधा स्थापित करने की अपनी योजना की घोषणा की। एक बार चालू होने के बाद यह केंद्र वैश्विक ग्राहकों को सेवा प्रदान करेगा।
तीन प्रमुख प्लेटफॉर्म टेक्नोलॉजी पर होगा काम
टाटा इलेक्ट्रॉनिक्स प्राइवेट लिमिटेड (टाटा संस प्राइवेट लिमिटेड की पूर्ण स्वामित्व वाली सहायक कंपनी) तीन प्रमुख प्लेटफॉर्म टेक्नोलॉजी जैसे- वायर बॉन्ड, फ्लिप चिप और इंटीग्रेटेड सिस्टम पैकेजिंग (आईएसपी) नामक एक अलग पेशकश पर ध्यान केंद्रित करते हुए इस सुविधा का मैन्यूफैक्चरिंग करेगी, जिसमें भविष्य में मॉर्डन पैकेजिंग टेक्नोलॉजी के लिए रोडमैप का विस्तार करने की योजना है। ये टेक्नोलॉजी भारत में प्रमुख अनुप्रयोगों जैसे ऑटोमोटिव (विशेष रूप से इलेक्ट्रिक वाहन), संचार, नेटवर्क इंफ्रास्ट्रक्चर और अन्य के लिए बेहद महत्वपूर्ण हैं।
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