ET Now Global Business Summit 2024: GBS में बोले एक्सपर्ट्स, सिर्फ सर्टिफिकेट ना बांटें, बच्चों का स्किल डेवेलपमेंट करें
Times Group की ET Now Global Business Summit 2024 में फ्यूचर के लिए अपस्किलिंग, रीस्किलिंग और लर्निंग पर एक्सर्ट्स की राय ली गई। यहां इस इंडस्ट्री से जुड़े जानकारों ने शिक्षा की बेहतरी को लेकर अपनी बात रखी।
मुद्दा था - कंपनियों की क्या जरूरत है और बच्चों को उस हिसाब से क्या सिखाया जा रहा है।
मुख्य बातें
- ET Now Global Business Summit
- अपस्किलिंग, रीस्किलिंग और लर्निंग
- एक्सपर्ट्स ने बताई कई जरूरी बातें
ET Now Global Business Summit 2024: ET Now Global Business Summit 2024: ईटी नाउ की ग्लोबल बिजनेस समिट में भविष्य के लिए अपस्किलिंग, रीस्किलिंग और लर्निंग पर एक्सर्ट्स की राय ली गई। इस बातचीत को केदार कैपिटल के फाउंडर और मैनेजिंग पार्टनर सुनीश शर्मा ने दिलचस्प बनाया। इस पैनल में हिस्सा लेने वाले दिग्गजों में एनवायू स्टर्न स्कूल ऑफ बिजनेस के डीन रघु सुंदरम, कोर्सेरा के सीईओ जेफ मेगिओनकेल्डा और वर्ल्ड बैंक के साउथ एशिया वाइस प्रेसिडेंट मार्टिन रेजर शामिल थे। चर्चा में सबसे बड़ा मुद्दा था- कंपनियों की क्या जरूरत है और बच्चों को उस हिसाब से क्या सिखाया जा रहा है?संबंधित खबरें
भविष्य के लिए क्या जरूरी
सुनीश ने बताया कि करीब 50 फीसदी छात्रों को को शिक्षा नहीं दी जा रही जिसकी जरूरत कंपनियों में काम करते समय होगी। एक रिपोर्ट में कहा गया है कि ये आंकड़ा भारत में 65 प्रतिशत से भी ज्यादा है। कोर्सेरा के सीईओ जेफ मेगिओनकेल्डा ने इस मामले में कहा कि भारत बाकी देशों से बहुत आगे है और यहां की सरकार शिक्षा को लेकर बहुत काम कर रही है। यहां की परिस्थितियां बहुत तेजी से बदल रही हैं और बहुत सी विदेश यूनिवसिटी यहां आकर छात्रों का स्किल डेवेपलमेंट कर रही हैं।संबंधित खबरें
अपस्किलिंग, रीस्किलिंग और लर्निंग
एनवायू स्टर्न स्कूल ऑफ बिजनेस के डीन रघु सुंदरम ने अपस्किलिंग, रीस्किलिंग और लर्निंग को लेकर महत्वपूर्ण जानकारी दी। उन्होंने कहा कि संस्थानों को बच्चों को प्रतिभाशाली बनाने के लिए साथ मिलकर काम करना होगा। कोरोना महामारी से सारी पढ़ाई ऑनलाइन होने लगी जो काफी कारगर भी साबित हुआ। वर्ल्ड बैंक के साउथ एशिया वाइस प्रेसिडेंट मार्टिन रेजर ने कहा कि भारत में शिक्षा संस्थानों को सिर्फ सर्टिफिकेट बांटने पर ध्यान नहीं लगाना चाहिए, बल्कि बच्चों को स्किल डेवेलपमेंट करना चाहिए। उन्होंने कहा कि बच्चों का दिमाग पहले 1000 दिनों में ही बहुत ज्यादा डेवेलप हो जाता है, ऐसे में उस समय से ही हमें इस बारें में सोचना शुरू कर देना चाहिए।संबंधित खबरें
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अंशुमन साकल्ले author
अंशुमन साकल्ले जून 2022 से टाइम्स नाउ नवभारत (www.timesnowhindi.com/) में बतौर सीनियर स्पेशल करेस्पॉ...और देखें
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