Best Places to Visit in Jaipur: जयपुर के ये मंदिर हैं खास, अपनी फैमिली संग करें विजिट, जानें इनका इतिहास
Best Places to Visit in Jaipur: गुलाबी शहर की बसावट व यहां मौजूद ऐतिहासिक किले, महल, हवेलियां व मंदिर सैलानियों को यहां आने पर मजबूर करते हैं। यहां मौजूद पौराणिक व ऐतिहासिक मंदिरों को देखने के लिए साल भर सैलानियों का आवागमन रहता है। आमेर में शिला माता की प्रतिमा को जयपुर के पहले शासक राजा मान सिंह ने स्थापित करवाया था।
जयपुर के गलता जी तीर्थ में बिखरा है प्रकृति का अनमोल खजाना (फाइल फोटो)
- अरावली की पहाड़ियों के बीच मौजूद गलता जी की प्राकृतिक छटा निराली है
- ब्रह्मपुरी में महाराजा सवाई जय सिंह ने करवाया था गणेश मंदिर का निर्माण
- काले पत्थर में माता रानी की छवि दिखी तो राजा मान सिंह ने बनवाया शिला मंदिर
Best Places to Visit in Jaipur: राजस्थान की राजधानी जयपुर अपने वैभवशाली अतीत के लिए हमेशा से ही लोगों के दिलों में बसी है। गुलाबी शहर की बसावट व यहां मौजूद ऐतिहासिक किले, महल, हवेलियां व मंदिर सैलानियों को यहां आने पर मजबूर करते हैं।
गौरतलब है कि, जयपुर रिच कल्चर, हैरिटेज, ऐतिहासिक स्मारकों, हैंडीक्राफ्टस, कलरफुल मार्केट व खूबसूरत गार्डनस के लिए जाना जाता है। यहां मौजूद पौराणिक व ऐतिहासिक मंदिरों को देखने के लिए साल भर सैलानियों का आवागमन रहता है। इसी कड़ी में आपको बताने जा रहे हैं, गुलाबी नगरी के कई खास मंदिरों के बारे में। अपने परिवार सहित यहां जरूर आएं।
महाराजा सवाई जय सिंह ने बनवाया था यह मंदिरनाहरगढ़ व जयगढ़ फोर्ट के बीच अरावली की पहाड़ियों में ब्रह्मपुरी में मौजूद इस जगह को नेहर के गणेश जी के नाम से जाना जाता है। यह भगवान गजानन का मंदिर महाराजा सवाई जय सिंह ने बनवाया था। बता दें कि, इस मंदिर की गिनती जयपुर के सबसे पुराने मंदिरों में होती है। गणेश चतुर्थी के मौके पर इस मंदिर में 5 दिनों के लिए मेला लगता है। मंदिर में स्थापित भगवान लंबोदर की प्रतिमा की खास बात ये है कि, यहां से दूरबीन से देखने पर हवा महल के पीछे स्थित सिटी पैलेस का चंद्र महल दिखाई पड़ता है।
काले पत्थर में दिखा मां भवानी का स्वरूपआमेर में स्थित है जयपुर राजवंश की कुलदेवी शिला माता का ऐतिहासिक मंदिर। इसका निर्माण आमेर के प्रथम महाराजा मान सिंह ने करवाया था। इसके पीछे की रोचक कहानी है कि, बंगाल युद्ध में मिली पराजय के बाद राजा मान सिंह को जेसोर के शासक ने काले पत्थर की पट्टी भेंट की थी। उस पत्थर में राजा मान सिंह को देवी मां दुर्गा की छवि दिखाई पड़ी। इसके बाद पत्थर को तराश कर मां शिल भवानी की प्रतिमा बनवाई गई और आमेर के किले में माता रानी की स्थापना करवाई गई। गौरतलब है कि, आमेर का शिला मां का मंदिर जयपुर के लोगों के लिए खास महत्व रखता है। नवरात्रि के मौके पर नौ दिनों तक जयपुर सहित आसपास के इलाकों के श्रद्धालुओं की भीड़ लगी रहती है।
प्रकृति का अनुपम उपहार है गलता तीर्थजयपुर के बाहरी इलाके में 10 किमी की दूरी पर स्थित है पौराणिक तीर्थ स्थल गलता जी। अरावली की पहाड़ियों की गोद में बसा ये तीर्थ प्रकृति का अनुपम उपहार है। तालाबों, कुदरती झरनों व जल कुंडों को अपने आंचल में समेटे यहां की प्राकृतिक छटा सभी को लुभाती है। यहां पर हनुमान जी का प्राचीन मंदिर है। बता दें कि, यहां पर छोटे - बड़े मिलाकर कुल 7 तालाब हैं। जिसमें गलता कुंड को सबसे पवित्र माना जाता है। यहां आने वाले श्रद्धालु गलता कुंड में स्नान कर खुद को धन्य महसूस करते हैं। यहां की सबसे बड़ी खास बात ये है कि, इन कुंडों का पानी कभी नहीं सूखता है।
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