चुनाव से पहले अपनी ही सरकार पर पायलट का प्रहार! तीन मसलों पर अड़े, बोले- न सुनी गई तो समूचे राजस्थान में भरेंगे हुंकार

Rajasthan Political Crisis: दरअसल, पायलट ने पांच द‍िन की अपनी पदयात्रा की शुरुआत अजमेर से की थी। इसे राजस्‍थान में इस चुनावी साल में, मुख्‍यमंत्री अशोक गहलोत और कांग्रेस आलाकमान पर दबाव बनाने की रणनीति के रूप में देखा जा रहा है। राज्‍य में इस साल के आखिर में विधानसभा चुनाव होने हैं और कांग्रेस यहां अपनी सरकार दोबारा बनने की उम्‍मीद कर रही है।

Rajasthan Political Crisis: राजस्थान के पूर्व उप-मुख्यमंत्री और कांग्रेस के विधायक सचिन पायलट ने सूबे में अपनी ही सरकार पर सियासी प्रहार किया है। साल के अंत में होने वाले विधानसभा चुनाव से पहले उन्होंने अपनी तीन मांगों के लेकर खुला ऐलान कर दिया है कि अगर उनकी मांगों पर सुनवाई न हुई और उन्हें न माना गया तब वह पूरे समूचे सूबे में हुंकार भरते हुए आंदोलन करेंगे।

सोमवार (15 मई, 2023) को राजधानी जयपुर में अपनी पांच दिन की जन-संघर्ष पद यात्रा के समापन अवसर पर हुई सभा में वह बोले कि अगर राज्‍य सरकार ने पूर्ववर्ती वसुंधरा राजे सरकार के कार्यकाल में हुए भ्रष्टाचार के मामलों की जांच सहित उनकी तीन मांगें नहीं मानीं तो वे पूरे राज्‍य में आंदोलन करेंगे। वैसे, उन्होंने इसके लिए सीएम अशोक गहलोत के नेतृत्व वाली कांग्रेस सरकार को इस महीने के आखिर तक यानी 15 दिन की मोहलत दी है।

प्वॉइंटर्स में समझें कि क्या हैं पायलट की तीन मांगें?
  1. राज्‍य सरकार राजस्‍थान लोकसेवा आयोग (आरपीएससी) को बंद कर पूरे तंत्र का पुनर्गठन करें। साथ ही नए कानून मापदंड बनें और पारदर्शिता से लोगों का चयन हो।
  2. पेपर लीक से प्रभावित प्रत्‍येक नौजवान को उच‍ित आर्थिक मुआवजा दिया जाना चाहिए।
  3. पूर्व सीएम वसुंधरा राजे के खिलाफ लगे आरोपों की उच्‍च स्‍तरीय जांच कराई जाए।
बकौल पायलट, ‘‘इस महीने के आखिर तक, नौजवानों के हित में और भ्रष्टाचार के खिलाफ, ये तीनों मांगें अगर नहीं मानी गईं तो...मैं आप लोगों को बताना चाहता हूं क‍ि अभी मैंने गांधीवादी तरीके से (एक दिवसीय) अनशन किया, जनसंघर्ष यात्रा निकाली है। महीने के आखिर तक अगर कार्रवाई नहीं होती है तो मैं पूरे प्रदेश में आंदोलन करूंगा आप लोगों के साथ। जनता के साथ रहेंगे...गांव, ढाणी, शहरों में हम पैदल चलेंगे। जनता को साथ लेकर चलेंगे, न्‍याय करवाएंगे। आपकी (लोगों की) बात को रखते रहेंगे।’’

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