Most Dangerous fort in India: महाराष्ट्र के इस शहर में है भारत का सबसे खतरनाक किला, हिम्मत वाले ही जा सकते हैं यहां
Most Dangerous Fort in Maharashtra: देश में कई बड़े और खतरनाक किले हैं। इनमें सबसे खतरनाक या यूं कहें कि मौत का किला महाराष्ट्र में है। इसे कलावंती दुर्ग कहा जाता है। यह प्रभलादगढ़ किले के पास है। यह किला गौतम बुद्ध के समय का बताया जाता है। किले की ऊंचाई 2300 फीट है, जहां पानी और बिजली तक नहीं है।
महाराष्ट्र में बनाने वाला भारत का सबसे खतरनाक किला, जुड़ी हैं कई कहानियां
- महाराष्ट्र में मुंबई-पुणे रूट पर है कलावंती दुर्ग किला।
- पहले किले का नाम मुरंजन था, जिसे छत्रपति शिवाजी महाराज के शासन में रानी कलावंती के नाम पर रखा गया।
- मुंबई से पनवेल स्टेशन और फिर बस-ऑटो से ठाकुरवाड़ी गांव पहुंचना होता है।
Maharashtra Kalavanti Durg Fort: एडवेंचर को इंजॉय करने वाले लोग कलावंती दुर्ग जरूर जाएं। यहां जाए बिना उनका एडवेंचर इंजॉय करने का सफर अधूरा रह जाएगा। यह देश का सबसे खतरनाक किला है। महाराष्ट्र में मुंबई-पुणे रूट पर अवस्थित इस किले की ऊंचाई 2300 फीट है। यहां तेज हवा एवं पानी का अभाव लोगों की मौत का कारण बन जाता है। किले पर बिजली भी नहीं है।
शाम ढलने से पहले पर्यटकों को यह किला छोड़ना पड़ता है। बड़े-बड़े हिम्मत वालों का भी यहां हौसला टूटने लगता है। किले पर चढ़ना मौत के मुंह में जाने के समान होता है। दरअसल, चट्टानों को काटकर किला बनाया गया है। ऐसे में सीढ़ियां टेढ़ी-मेढ़ी और ऊबड़-खाबड़ चट्टानों की शक्ल में हैं। इन पर ही पैर रखकर या सहारा बनाकर लोग ऊपर चढ़ते हैं।
किले पर न रेलिंग, न ही रस्सी
यह किला कितना खतरनाक है, उसका अंदाजा इससे लगा सकते हैं कि इस पर न रेलिंग है, न ही सहारे के लिए कोई रस्सी। लोग किसी तरह ऊंचाई पर पहुंच जाते हैं, लेकिन नीचे उतरने में हिम्मत जवाब दे जाती है। छोटी सी गलती से जान जोखिम पर पड़ जाती है। शाम होते ही लोगों को किले पर हल्की ठंड महसूस होने लगती है। दरअसल, पूरा किला चारों ओर से हरियाली और चट्टानों से घिरा हुआ है।
बारिश के दौरान चढ़ना-उतरना सबसे कठिन
बरसात के मौसम में पर्यटकों को किले पर चढ़ने और उतरने में सबसे अधिक परेशानी होती है। बारिश में किले पर चढ़ने-उतरने के दौरान हर समय फिसलने का डर बना रहता है। मजबूत दिल के इंसान ही इस किले पर चढ़ने में सफल हो पाते हैं।
कलावंती दुर्ग तक पहुंचने का रास्ता
कलावंती दुर्ग पहुंचने के लिए मुंबई से पनवेल स्टेशन जाना होगा। यहां से फिर बस या ऑटो लेकर आप ठाकुरवाड़ी गांव पहुंचेंगे। इस गांव से कलावंती दुर्ग के लिए वाहन मिल जाएंगे। बता दें कि यह किला गौतम बुद्ध के समय का है। इसका नाम पहले मुरंजन था। फिर छत्रपति शिवाजी महाराज के शासन में किले का नाम रानी कलावंती के नाम पर रख दिया गया।
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