खूबसूरत वादियों में है ये lake, नाम है प्रेम झील; एक बार अपने प्रेमी संग जरूर घूम आएं

नक्की झील यहां के माउंट आबू में स्थित है। आपको बता दें कि 17,22 मीटर की ऊंचाई पर स्थित यह भारत की सबसे बड़ी मानव निर्मित झील है। राजस्थान एक गर्म राज्य है, लेकिन यहां स्थित यह झील लोगों को ठंडक देती है।

Nakki Lake

नक्की झील

राजस्थान बहुत खूबसूरत है। पहले इसे राजाओं की भूमि के नाम से जाना जाता था। यह भारत का एक ऐसा राज्य है, जहां घूमने के लिए कई जगहें हैं। यहां आपने अबतक आमेर का किला, बिरला मंदिर, हवा महल, जयगढ़ का किला, जंतर-मंतर जैसी कई ऐतिहासिक जगहों की सैर की होगी। लेकिन क्या आपको पता है कि राजस्थान में एक खूबसूरत झील भी है। राजस्थान एक गर्म राज्य है, लेकिन यहां स्थित यह झील लोगों को ठंडक देती है। हम बात कर रहे हैं राजस्थान के नक्की झील की। इस झील को प्रेम झील के नाम से भी जाना जाता है। अब आप सोच रहे होंगे कि रास्थान में यह झील कहां है, इसकी खासियत क्या है और यहां कैसे पहुंचा जाएं। आइए हम आपको इससे जुड़ी सभी जानकारी देते हैं।

नक्की झील, माउंट आबू

राजस्थान का यह नक्की झील यहां के माउंट आबू में स्थित है। आपको बता दें कि 17,22 मीटर की ऊंचाई पर स्थित यह भारत की सबसे बड़ी मानव निर्मित झील है। यहां के ग्रेसिया जनजातियों के लिए यह काफी पवित्र स्थल है। इस जगह पर ये लोग शुक्ल पक्ष के त्योहारों के समय यहां अपने पूर्वजों की पूजा करने आते हैं। वहीं इस त्योहार पर ये लोग इस झील में अपने नाखून भी समर्पित करते हैं। यह भी एक वजह है कि इसे नक्की झील के नाम से जाना जाता है।

इसका इतिहास

इस झील का इतिहास काफी रोचक है। कहा जाता है कि एक दैत्य, जिसका नाम बाश्काली था, उससे बचने के लिए देवताओं ने इसे अपने नाखूनों से खोदा था। इस झील से एक और इतिहास जुड़ा है, कहा जाता है कि यहां के एक राजा ने यह शर्त रखी कि, जो एक रात में यहां झील की खुदाई कर देगा, राजा उससे अपनी बेटी की शादी कर देगा। उसकी बेटी का नाम कुंवरी कन्या था। जिसके बाद यहां के एक ऋषि जिनका नाम रसिया बालम था, उसने अपने नाखूनों से इस झील को एक रात खोद डाला था। लेकिन बाद में राजा अपने शर्त से मुकड़ गया था। लोगों का ऐसा भी मानना है कि रसिया बालक कोई और नहीं, बल्कि एक वृद्ध ऋषि के रूप में शिव का अवतार थे और कुंवरी मां पार्वती थी और वह अपना प्यार को पाने के लिए फिर से आएंगे।

झील की पास की जगहें

नक्की झील माउंट आबू के फेमस बाजार गणेश रोड पर स्थित है। नक्की झील के पास रसिया बालम और कुंवरी कन्या का एक मंदिर भी है, जो दिलवाड़ा जैन मंदिर के पीछे स्थित है। यहां के आस-पास का माहौल काफी शांत और रोमांटिक है। इसके साथ ही यहां रघुनाथ मंदिर, टॉड रॉक और माउंट आबू में महाराजा जयपुर का पैलेस इसके बहुत करीब स्थित है। यहां गांधी घाट भी है, जहां 12 फरवरी 1948 को महात्मा गांधी की अस्थियों को नक्की झील में विस्त्रजित किया गया था।

दिल्ली से नक्की लेक की दूरी

दिल्ली से नक्की झील करीब 818 km दूर है। राजस्थान का माउंट आबू एकमात्र ऐसी जगह है, जहां आपको गर्मियों में भी ठंडक का एहसास होगा। माउंट आबू में घूमने के लिए दूर-दूर से लोग आते हैं। यह चारों तरफ से अरावली की पहाड़ियों घिरा हुआ है।

नक्की झील में बोटिंग

नक्की झील में आप बोटिंग का भी मजा ले सकते हैं। यह परिवार और दोस्तों के साथ घूमने के लिए एक बहुत ही सुंदर जगह है। यहां का शांत महौल आपके ट्रिप को यादगार बना देगा।

बोटिंग का किराया

नक्की झील में बोटिंग का आनंद लेने के लिए आपको प्रति व्यक्ति 50 से 100 रुपये का चार्ज देना होगा। जो 30 मिटन के लिए वैलिड होगा।

नक्की झील का समय

नक्की झील पर्यटकों के लिए सुबह 9 बजे से लेकर शाम को 6 बजे तक खुला रहता है। वैसे तो नक्की झील आप किसी भी महिने में जा सकते हैं, लेकिन मॉनसून यहां जाने का सबसे अच्छा समय होता है। मॉनसून में हरियाली से भरी इस झील की खूबसूरती देखने लायक होती है। यहां आपको कई तरह के वन्य जीव भी देखने को मिलेंगे।

कैसे पहुंचे नक्की झील ?

फ्लाइट्स

यहां आने के लिए अभी फ्लाइट की कोई सीधी कनेक्टिविटी नहीं है। यहां के पास का एयरपोर्ट उदयपुर राजस्थान है। उदयपुर एयरपोर्ट से यह 117 km की दूरी पर है। अगर आप दूसरे देश से यहां रहे हैं तो आपको अहमदाबाद एयरपोर्ट पर उतरना होगा। इसके अलावा अगर आप दिल्ली, मुंबई और जयपुर से आर रहे हैं तो आपको उदयपुर के लिए फ्लाइट लेना होगा। जिसके बाद आप माउंट आबू के लिए कैब या टैक्सी ले सकते हैं।

ट्रेन

जयपुर और अहमदाबाद से आपको माउंट आबू के लिए कई ट्रेनें मिल जाएंगी। लेकिन अगर आप किसी और शहर से आ रहे हैं तो यहां आने के लिए टैक्सी को प्राथमिकता दें, क्योंकि यहां ट्रेन से आने में आपको काफी दिक्कते होंगी। ट्रेन से यहां आने के लिए आपको लंबा सफर तय करना होगा।

बस

अगर आप बस से यहां आना चाहते हैं तो आपको राज्य परिवहन की बसें मिल जाएंगी।

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Maahi Yashodhar author

माही यशोधर Timesnowhindi.com में न्यूज डेस्क पर काम करती हैं। यहां वह फीचर, इंफ्रा, डेवलपमेंट, पॉलिटिक्स न्यूज कवर करती हैं। इसके अलावा वह डेवलपमेंट क...और देखें

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