Auto नहीं यमराज को दावत है; इनमें सफर करने पर मौत से हो सकता है सामना
अगर आप नोएडा में रहते हैं तो आपको ऑटो की अहमियत पता ही होगी। लेकिन जिस ऑटो में आप सफर करते हैं, क्या आपको पता है उनमें से बहुत से ऑटो नियम-कानून की धज्जियां उड़ाते हुए बिना फिटनेस सर्टिफिकेट के ही सड़कों पर दौड़ रहे हैं। ऐसे ऑटो में सफर आपका आखिरी सफर भी हो सकता है।
फिटनेस के बिना चल रहे ऑटो
दिल्ली से सटा नोएडा NCR का प्रमुख शहर है। लेकिन इस शहर की सबसे बड़ी परेशानी यह है कि यहां पब्लिक ट्रांसपोर्ट की अच्छी सुविधा नहीं है। सिटी बसों के अभाव में लोगों को ऑटो रिक्शा के भरोसे रहना पड़ता है। ऑटो रिक्शावाले भी जहां तीन सवारी के लिए जगह होती है, वहां 6-7 लोगों को बिठाए बिना उसे इंचभर आगे नहीं खिसकाते। यही नहीं इनमें से बहुत से ऑटो रिक्शा की तो फिटनेस खत्म हो चुकी है। यानी नियमों की धज्जियां उड़ाते हुए यह ऑटो रिक्शा सड़क पर यमराज को दावत देते हुए दौड़ते हैं और इस सफर में मौत का सामना कहीं भी हो सकता है।
बात करें गौतमबुद्ध नगर की तो जिले में 6 हजार से ज्यादा यात्री वाहनों असल में यात्रियों के सफर के लिए सुरक्षित नहीं हैं। ऐसा इसलिए क्योंकि इनकी फिटनेस बहुत पहले खत्म हो चुकी है। फिटनेस खत्म होने के बाद भी चल रहे इन 6 हजार से ज्यादा यात्री वाहनों में से 4100 से ज्यादा तो अकेले ऑटो रिक्शा ही हैं। परिवहन विभाग इन वाहनों के मालिकों को नोटिस भेजने के साथ ही वाहनों की जब्ती की कार्रवाई भी कर रहा है।
ये भी पढ़ें - नोएडा में गजब तैयारी, बदमाश का चेहरा कैद होते ही कैमरा खुद चिल्लायेंगे चोर चोर
परिवहन विभाग से मिली जानकारी के अनुसार साल 2020 से जून 2024 तक 6721 यात्री वाहनों का फिटनेस सर्टिफिकेट खत्म हो चुका है। जैसा कि हमने ऊपर बताया, इनमें सबसे बड़ी संख्या ऑटो रिक्शा की है। इस लिस्ट में टैक्सी, बस और हैरानी की बात यह है कि एंबुलेंस भी शामिल हैं। ऑटो के बाद सबसे ज्यादा संख्या टैक्सी, बस और सबसे कम एंबुलेंस हैं।
मौत की सौदागर बन सड़कों पर दौड़ रही एंबुलेंसविभाग ने जानकारी दी कि साल 2021 में 472 ऑटो रिक्शा की फिटनेस खत्म हो चुकी थी। साल 2022 में 1200 और 2023 में 1243 ऑटो रिक्शा का फिटनेस सर्टिफिकेट एक्सपायर हो गया। यही नहीं इस साल जून के अंतिम सप्ताह तक 1189 ऑटो रिक्शा की फिटनेस खत्म हो गई है। यही नहीं बिना फिटनेस जांच के 2257 टैक्सी सड़कों पर दौड़ रही हैं। सड़कों पर मौत की सौदागर बनकर 229 बसें और 131 एंबुलेंस भी बेधड़क दौड़ रही हैं।
जानकारों का कहना है कि जिन वाहनों की फिटनेस जांच नहीं हुई है, उनका सड़कों पर दौड़ना काफी खतरनाक हो सकता है। विशेषतौर पर यात्री वाहन तो काल बन सकते हैं। इस तरह की गाड़ियां कभी भी दुर्घटनाग्रस्त होकर यमराज को पास बुला सकती हैं। इनमें यात्रा करना जान जोखिम में डालने जैसा है। ऐसे में इन वाहनों के मालिकों से उम्मीद की जाती है कि वह अपने वाहनों को अच्छी कंडीशन में रखें और समय-समय पर फिटनेस जांच करवाते रहें।
ये भी पढ़ें - ग्रेटर नोएडा में 3 साल में तैयार हो जाएगी फिल्म सिटी, बोनी कपूर ने साइन की डील
टेबल के नीचे से पैसे की डिमांडउधर नोएडा ऑटो रिक्शा चालक एसोसिएशन के अध्यक्ष लाल बाबू का आरोप है कि परिवहन विभाग में फिटनेस जांच के लिए निर्धारित फीस से ज्यादा की मांग की जाती है। उन्होंने कहा कि ड्राइवरों की इतनी कमाई नहीं होती कि वे टेबल के नीचे से पैसे दे सकें। यही कारण है कि ऑटो रिक्शा की फिटनेस जांच और परमिट रिन्यू नहीं कराते हैं।
देश और दुनिया की ताजा ख़बरें (Hindi News) अब हिंदी में पढ़ें | नोएडा (cities News) और चुनाव के समाचार के लिए जुड़े रहे Times Now Navbharat से |
खबरों की दुनिया में लगभग 19 साल हो गए। साल 2005-2006 में माखनलाल चतुर्वेदी युनिवर्सिटी से PG डिप्लोमा करने के बाद मीडिया जगत में दस्तक दी। कई अखबार...और देखें
आज का मौसम, 31 January 2025 IMD Winter Weather Forecast LIVE: यूपी-बिहार में कोहरे का कहर, ठंड में एक बार फिर ठिठुरते नजर आए लोग, जानें मौसम का हाल
ग्रेटर नोएडा की नामी सोसायटी में घुसे दबंग, युवक के साथ की जमकर मारपीट, सामने आया वीडियो
UP Weather Today: यूपी में मौसम की फिर बदली चाल, कभी गर्मी तो कभी ठंड का अहसास, इन जिलों में कोहरे का अलर्ट
गणतंत्र दिवस परेड में गुजरात की झांकी ने पॉपुलर चॉइस कैटेगरी में लगाई हैट्रिक, फिर बना जनता की पहली पसंद
पुलिस मुठभेड़ में गिरफ्तार जीजा-साले की जोड़ी, छेड़छाड़ और मोबाइल स्नेचिंग की वारदात को दिया था अंजाम
© 2025 Bennett, Coleman & Company Limited