Bihar News: जातिगत जनगणना पर बोले चिराग, कहा-राजनीतिक महत्वाकांक्षा के लिए बंद कमरे में तैयार की गई रिपोर्ट

Bihar Caste Census : चिराग पासवान ने कहा कि बिहार सरकार ने जातिगत जनगणना किस आधार पर कराई है ये किसी को नहीं पता। उन्होंने आरोप लगाया कि बिहार सरकार ने राजनीतिक महत्वाकांक्षाओं को साधने के लिए संभवतः बंद कमरे में आंकड़ों को तैयार करके सार्वजनिक किया है।

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चिराग पासवान ने बिहार सरकार के जातीय जनगणना का किया विरोध

पटना: बिहार में जातिगत जनगणना का आंकड़ा जारी होने के बाद राजनीतिक घमासान मचा हुआ है। जहां जदयू और रालोद इसके पक्ष में हैं तो वहीं, लोक जनशक्ति पार्टी(राम विलास) के अध्यक्ष चिराग पासवान बिफरे हुए हैं। शनिवार को चिराग ने कहा कि बिहार सरकार ने जाति जनगणना किस आधार पर कराई है। इसकी प्रक्रिया क्या थी, इसकी किसी को भी जानकारी नहीं है। उन्होंने आरोप लगाया कि कई ऐसी जातियां हैं, जिन्हें बढ़ा-चढ़ाकर राजनीतिक लाभ की दृष्टि से दिखाया गया है। बिहार सरकार ने राजनीतिक महत्वाकांक्षाओं को साधने के लिए संभवतः बंद कमरे में आंकड़ों को तैयार करके सार्वजनिक किया है।

दरअसल, गांधी जयंती के दिन बिहार सरकार ने जातिगत सर्वे के आंकड़े जारी कर दिए थे। सरकार के अपर मुख्य सचिव विवेक सिंह ने बताया था कि जातिगत सर्वे के मुताबिक बिहार की कुल आबादी 13 करोड़ के करीब पहुंच गई है। रिपोर्ट के मुताबिक, अति पिछड़ा वर्ग 27.12 फीसदी, अत्यन्त पिछड़ा वर्ग 36.01 फीसदी, अनुसूचित जाति 19.65 प्रतिशत, अनुसूचित जनजाति 1.68 प्रतिशत और अनारक्षित यानी सवर्ण 15.52 प्रतिशत हैं। वहीं, आंकड़े जारी होने के बाद बीजेपी ने जातिगत सर्वे के आंकड़ों को भ्रम फैलाने का प्रयास बताया है। वहीं,अब चिराग पासवान ने भी सरकार को कटघरे में खड़ा कर दिया है।

धार्मिक आधार की भी रिपोर्ट

इस जातिगत सर्वे के आधार से बिहार में आबादी का धार्मिक आधार भी पता चल गया है। रिपोर्ट के मुताबिक बिहार में सर्वाधिक संख्या हिंदुओं की हैं। यहां 10,71,92,958 लोगों ने खुद को हिंदू बताया है। यानी रिपोर्ट के आधार पर बिहार की कुल आबादी में 81.9 प्रतिशत आबादी हिंदुओं की है। हिंदू समुदाय के बाद सबसे बड़ा ग्राम मुसलमानों का है। राज्य में 2,31,49925 लोगों मुसलमान होने का दावा किया है। इस लिहाज से बिहार में मुसलमानों की आबादी 17.7 फीसदी के आसपास है। इसके बाद नंबर ईसाईयों का आता है। इनका 0.05 प्रतिशत है, बौद्ध 0.08 प्रतिशत तो जैन 0.009 प्रतिशत हैं। इसके अलावा 2146 लोगों ने कहना रहा कि वो किसी धर्म को नहीं मानते है।

बिहार सरकार के एडिशनल सेक्रेटरी विवेक कुमार सिंह ने के अनुसार 7 जनवरी 2023 से लेकर 31 जनवरी 2023 तक राज्य के सभी मकानों का नंबरीकरण कर लिस्ट तैयार की। सभी व्यक्तियों की जनगणना का काम 15 अप्रैल 2023 से शुरू कर दिया था।

इसमें ज़िला स्तर के पदाधिकारियों को ज़िम्मेदारियां दी गई और युद्ध स्तर पर कार्य संपन्न हुआ। 5 अगस्त 2023 को सभी आंकड़े बनाकर मोबाइल ऐप के जरिए उसे जमा करा दिए गए।

रिपोर्ट जारी होने के बाद बीजेपी ने मंथन कर बाद में प्रतिक्रिया देने की बात कही है। हालांकि, पूर्व में सीएम नीतीश कुमार ने कहा था कि विधानसभा में 9 पार्टियों के हामी भरने के बाद ही जातीय जनगणना कराई गई है। जिस तरीके से सर्वे कराया गया है वो सारी पार्टियों के सामने रख दिया जाएगा। लेकिन, चिराग पासवान ने सरकार पर राजनीतिक महत्वाकांक्षा और लाभ लेने का आरोप लगाया है।

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Pushpendra kumar author

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