छत्तीसगढ़ में अवैध शराब बेचने वालों की खैर नहीं, इस सिंबल से होगी शुद्धता की पहचान; सरकार ने बनाया बड़ा प्लान

छत्तीसगढ़ सरकार ने देशी और विदेशी शराब की बोतलों पर नए होलोग्राम लगाने का निर्णय लिया। इस कदम का उद्देश्य शराब की अवैध बिक्री पर रोक लगाना है, जिससे राज्य में सुरक्षा और शांति बनी रहे।

छत्तीसगढ़ में अवैध शराब बेचने वालों की खैर नहीं, इस सिंबल से होगी शुद्धता की पहचान; सरकार ने बनाया बड़ा प्लान

रायपुर: छत्तीसगढ़ सरकार ने एक और बड़ा फैसला लेते हुए अवैध शराब की समस्या पर कड़ी निगरानी रखने के लिए ठोस कदम उठाया है। आज की कैबिनेट बैठक में, जो मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय की अध्यक्षता में मंत्रालय के महानदी भवन में आयोजित हुई, सरकार ने देशी और विदेशी शराब की बोतलों पर नए होलोग्राम लगाने का निर्णय लिया। इस कदम का उद्देश्य शराब की अवैध बिक्री पर रोक लगाना है, जिससे राज्य में सुरक्षा और शांति बनी रहे।

अवैध शराब पर सख्ती: क्या है नया होलोग्राम?

बैठक में सरकार ने घोषणा की कि सभी देशी और विदेशी शराब की बोतलों पर सुरक्षा बढ़ाने के लिए नए सुरक्षात्मक फीचर्स के साथ होलोग्राम लगाए जाएंगे। यह होलोग्राम भारत प्रतिभूति मुद्रणालय, नासिक रोड से क्रय किए जाएंगे। इस तकनीक का उपयोग करके, शराब की बोतलों पर एक विशिष्ट पहचान स्थापित की जाएगी, जिससे अवैध शराब की पहचान करना आसान हो जाएगा और अवैध व्यापार पर रोक लगाई जा सकेगी। सरकार का मानना है कि यह कदम न केवल राजस्व को बढ़ावा देगा, बल्कि उपभोक्ताओं की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए भी महत्वपूर्ण है।

धान खरीदी नीति में सुधार

अवैध शराब पर सख्ती के अलावा, कैबिनेट बैठक में कई और महत्वपूर्ण निर्णय लिए गए जो राज्य की प्रगति को एक नई दिशा देंगे। किसानों के हित में धान खरीदी नीति में भी बड़े सुधार किए गए हैं। राज्य में किसानों से 14 नवंबर 2024 से 31 जनवरी 2025 तक नगद और लिंकिंग में धान की खरीदी की जाएगी। इस साल 160 लाख टन धान के उपार्जन का अनुमान है। यह कदम सुनिश्चित करेगा कि किसानों को उनकी मेहनत का सही मूल्य मिले और वे आसानी से अपना धान बेच सकें।

धान खरीदी को पारदर्शी बनाने के लिए बायोमेट्रिक प्रणाली लागू की गई है, जो धोखाधड़ी पर रोक लगाने में मदद करेगी। इसके अलावा, सभी खरीद केंद्रों पर इलेक्ट्रॉनिक तौल यंत्र भी लगाए गए हैं, जिससे धान की खरीदी प्रक्रिया सुचारू रूप से संचालित की जा सके। किसानों की सुविधा के लिए पंजीयन की प्रक्रिया 31 अक्टूबर 2024 तक चलेगी, जिससे राज्य भर के किसान आसानी से इस योजना का लाभ उठा सकेंगे।

रोजगार सृजन में नया कदम

राज्य सरकार ने सहकारी समितियों में कार्यरत डेटा एंट्री ऑपरेटरों के लिए भी एक राहत भरी घोषणा की है। इन्हें प्रति माह 18,420 रुपये का मानदेय दिया जाएगा, जो पिछली खरीफ विपणन वर्ष की अवधि के लिए होगा। इस योजना के तहत 60 करोड़ 54 लाख रुपये का प्रावधान किया गया है। यह कदम न केवल रोजगार सृजन को बढ़ावा देगा, बल्कि सहकारी समितियों में काम कर रहे कर्मियों की आर्थिक स्थिति भी बेहतर करेगा।

ग्रामीण क्षेत्रों में जल संकट का समाधान

कैबिनेट ने राज्य की ग्राम पंचायतों में स्वच्छ पेयजल की आपूर्ति सुनिश्चित करने के लिए ‘छत्तीसगढ़ ग्रामीण पेयजल संचालन एवं संधारण नियम, 2024’ को मंजूरी दी। इसके अंतर्गत पंचायतें जल आपूर्ति का संचालन, संधारण और शिकायत निवारण करेंगी। इससे न केवल ग्रामीण क्षेत्रों में पानी की समस्या का समाधान होगा, बल्कि स्थानीय स्वशासन को भी सशक्त बनाया जाएगा।

राजनीतिक स्थिरता के लिए महत्वपूर्ण निर्णय

राज्य में राजनीतिक स्थिरता बनाए रखने के लिए कैबिनेट ने 49 राजनीतिक मामलों को न्यायालय से वापस लेने का निर्णय लिया। यह कदम राज्य में शांति और सौहार्द को बढ़ावा देने के उद्देश्य से उठाया गया है। साथ ही, सरकार ने घोषणा की कि भविष्य में भी राजनीतिक मामलों को जनहित के अनुसार सुलझाने का प्रयास जारी रहेगा।

औद्योगिक विकास को बढ़ावा

औद्योगिक क्षेत्र को गति देने के लिए राज्य सरकार ने औद्योगिक नीति 2019-24 के तहत स्टील, एथेनॉल इकाइयों और सीमेंट उद्योगों के लिए विशेष निवेश प्रोत्साहन पैकेज की मंजूरी दी है। इस नीति से राज्य में नई परियोजनाओं की स्थापना को प्रोत्साहन मिलेगा और निवेशकों के लिए अनुकूल वातावरण तैयार होगा। सरकार का मानना है कि इस फैसले से राज्य की आर्थिक स्थिति मजबूत होगी और उद्योग क्षेत्र को एक नई दिशा मिलेगी।

शिक्षकों के परिवारों के लिए राहत

कैबिनेट ने दिवंगत पंचायत शिक्षकों के परिवारों के लिए भी एक महत्वपूर्ण निर्णय लिया है। उन परिवारों को अनुकंपा नियुक्ति दी जाएगी, जिनके सदस्य सेवा के दौरान दिवंगत हो गए थे। यह निर्णय छत्तीसगढ़ शिक्षक (पंचायत) संवर्ग नियम 2018 के तहत लिया गया है, जिससे दिवंगत शिक्षकों के परिवारों को आर्थिक और सामाजिक सुरक्षा प्राप्त होगी।

लोकतंत्र सेनानियों को मिलेगा सम्मान

कैबिनेट ने लोकनायक जयप्रकाश नारायण सम्मान निधि नियम 2008 में संशोधन किया है, जिसके तहत लोकतंत्र सेनानियों की मृत्यु पर राजकीय सम्मान के साथ अंत्येष्ठि की जाएगी और उनके परिवार को 25,000 रुपये की सहायता राशि दी जाएगी।

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Pushpendra kumar author

पुष्पेंद्र यादव यूपी के फतेहुपुर जिले से ताल्लुक रखते हैं। बचपन एक छोटे से गांव में बीता और शिक्षा-दीक्षा भी उसी परिवेश के साथ आगे बढ़ी। साल 2016 स...और देखें

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