Varanasi News: देवउठनी एकादशी पर श्रद्धालुओं ने गंगा में लगाई आस्था की डुबकी, आज होगा तुलसी विवाह संपन्न

देवउठनी एकादशी के मौके पर आज वाराणसी में श्रद्धालु गंगा घाट पर स्नान के लिए पहुंचे। हिंदू धर्म में आज का दिन विशेष महत्व रखता है। आज के दिन ही तुलसी विवाह कराया जाता है।

गंगा स्नान के लिए दशाश्वमेध घाट पहुंचे श्रद्धालु

Varanasi News: आज देवउठनी एकादशी और तुलसी विवाह का पावन अवसर है इस मौके पर बड़ी संख्या में श्रद्धालु वाराणसी के दशाश्वमेध घाट पर पहुंचे। श्रद्धालुओं ने यहां गंगा नदी में स्नान करने करके पूजा-अर्चना की। आज धूमधाम से तुलसी विवाह संपन्न कराया जाएगा। आज के दिन महिलाएं उपवास रखती है, गंगा स्नान के लिए घाटों पर जाती है और प्रार्थना करती हैं।

देवउठनी एकादशी का महत्व

हिंदू कैलेंडर के अनुसार एक साल में 24 एकादशी होती है। जिसमें से देवउठनी एकादशी का हिंदू धर्म में बहुत महत्व होता है। इसे देव प्रबोदिनी एकादशी के नाम से भी जाना जाता है। जो कार्तिक महीने के शुक्ल पक्ष में पड़ता है। इसी दिन से मांगलिक कार्यों की शुरुआत होती है। माना जाता है कि इसी दिन भगवान विष्णु चार महीने का शयन काल पूरा करने के बाद नींद से जागते हैं। इस दिन लोग भगवान विष्णु की अराधना करते हैं, उन्हें फल-फूल अर्पित करते हैं। माना जाता है कि इस दिन व्रत रखने से भगवान विष्णु की विशेष कृपा मिलती है और मोक्ष प्राप्त होता है।

आज होता है तुलसी विवाह

देवउठनी एकादशी के दिन ही तुलसी विवाह का आयोजन भी होता है। आज के दिन भगवान विष्णु के शालिग्राम रूप का विवाह वृंदा यानी तुलसी से कराया जाता है। ऐसी मान्यता है कि तुलसी विवाह कराने से मिलने वाला पुण्य कन्या दान पर मिलने वाले पुण्य के समान होता है। इससे वैवाहिक जीवन में भी मजबूती आती है और सुख सौभाग्य की प्राप्ति होती है।

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