Varanasi Ropeway: नया साल नई सौगात: वाराणसी रोप-वे का रूट तय
varanasi Ropeway Construction: नए साल के पास आते ही वाराणसी में रोप-वे निर्माण को लेकर कवायद भी तेज हो गई है। धरातल पर रोप-वे को उतारने के लिए सर्वे का काम शुरू होना वाला है। काम शुरू कराए जाने को लेकर विभिन्न विभागों के अधिकारियों ने विचार-विमर्श शुरू कर दिया है। कार्यकारी एजेंसी का चयन कर लिया गया है। एजेंसी ने अपने स्तर के प्रारंभिक काम की शुरुआत भी कर दी है।
रोप-वे, जिसका निर्माण वाराणसी मुख्य शहर में कराया जाना है। (प्रतीकात्मक तस्वीर)
मुख्य बातें
- देश का पहला शहर वाराणसी होगा, जहां रोप-वे ट्रांसपोर्ट की सुविधा होगी
- लहरतारा-चौका घाट का जल्द शुरू होगा सर्वे
- नया टूरिस्ट हब बनने जा रहा है वाराणसी
Varanasi Ropeway Route: देश का पहला शहर वाराणसी बनने वाला है, जहां रोप-वे ट्रांसपोर्ट होगा। शहर में रोप-वे सेवा शुरू करने को लेकर विभागों ने अपने-अपने स्तर की तैयारियां तेज कर दी हैं। रोप-वे परियोजना को धरातल पर लाने के लिए सर्वे का काम शुरू होने वाला है। कैंट रेलवे स्टेशन से रोप-वे की शुरुआत होगी। यह लहरतारा-चौका घाट फ्लाईओवर को 80 फीट की ऊंचाई से पार करेगा। कार्यकारी एजेंसी ने इस पर काम करने के लिए रेलवे और वाराणसी विकास प्राधिकरण के अधिकारियों के साथ बातचीत की है।
एक दिन पहले ही कंपनी ने नेशनल हाईवे लॉजिस्टिक मैनेजमेंट लिमिटेड के साथ रोप-वे रूट के लिए कुछ इलाकों का सर्वे किया है। वाराणसी विकास प्राधिकरण ने कार्यकारी एजेंसी का चयन करने के बाद अधिग्रहण के लिए मांगे गए 177 करोड़ रुपए और रूट पर जनसुविधाओं को शिफ्ट करने के लिए 28 करोड़ रुपए जारी करने की दिशा में कोशिश बढ़ा दी है।
प्रोजेक्ट पर स्विट्जरलैंड की कंपनी भी करेगी कामरोप-वे निर्माण के लिए वाराणसी विकास प्राधिकरण (वीडीए) ने चेन्नई की कंपनी को अधिकृत किया है। यह कंपनी 22 से अधिक देशों में रोप-वे का काम कर चुकी स्विट्जरलैंड की कंपनी बर्थोलेट के साथ मिलकर काम करने जा रही है। रोप-वे निर्माण के लिए पहला टेंडर पिछले साल दिसंबर में निकाला गया था। कई बार टेंडर रद्द होने के बाद नए सिरे से इस कंपनी का चयन किया गया है। अब कार्यकारी एजेंसी रोप-वे परियोजना के लिए डिटेल प्रोजेक्ट रिपोर्ट (डीपीआर) तैयार करेगी।
कैंट स्टेशन परिसर में सबसे पहले काम शुरू होगावीडीए के उपाध्यक्ष अभिषेक गोयल का कहना है कि रोप-वे निर्माण कार्य कराने के लिए कैबिनेट की मंजूरी मिलने का इंतजार है। सर्वे का काम जनवरी में शुरू कराया जाएगा। सबसे पहले कैंट रेलवे स्टेशन से रोप-वे का निर्माण कार्य शुरू होगा। पहले स्टेशन निर्माण और निर्धारित रूट पर अगले टावर के लिए काम शुरू कराया जाएगा। कैंटी से गोदौलिया के बीच पांच और 30 टावर लगाने के लिए सरकारी एवं निजी जमीन चिन्हित की गई है। इसमें 10 टावर निजी जमीन पर बनाए जाएंगे, जबकि 20 टावर सरकारी जमीन पर बनेंगे।
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