Pune Porsche Case: पुणे में पोर्शे कार केस के आरोपी किशोर की मां भी गिरफ्तार, बेटे के सैंपल के बदले दिए अपने ब्लड सैंपल
पुणे पोर्शे कार हादसा मामले में पुलिस ने बड़ा एक्शन लिया है, बताया जा रहा है कि पुलिस ने नाबालिग आरोपी की मां और बिल्डर की पत्नी को गिरफ्तार कर लिया है, इस बात की पुष्टि हो गयी है कि किशोर के ब्लड सैंपल उसकी मां के ब्लड सैंपल से बदले गए थे।
पुलिस ने नाबालिग आरोपी की मां और बिल्डर की पत्नी को गिरफ्तार कर लिया है
- इस बात की पुष्टि हो गयी है कि किशोर के ब्लड सैंपल उसकी मां के ब्लड सैंपल से बदले गए थे
- जिसके बाद किशोर की मां शिवानी अग्रवाल को गिरफ्तार कर लिया गया है।
- उसकी मां शिवानी को शनिवार को एक अदालत में पेश किया जा सकता है
पुणे पोर्शे कार हादसा मामले में बड़ा अपडेट सामने आया है, ताजा जानकारी के मुताबिक इस मामले में पुलिस ने एक्शन लेते हुए नाबालिग आरोपी की मां और बिल्डर की पत्नी शिवानी अग्रवाल को गिरफ्तार कर लिया है मीडिया रिपोर्टों के मुताबिक बताते हैं कि पुष्टि हो गई है कि किशोर के ब्लड सैंपल उसकी मां के सैंपल से बदल दिए गए थे, पुलिस ने इस बात की जानकारी दी है।
इस बात की पुष्टि हो गयी है कि किशोर के ब्लड सैंपल उसकी मां के ब्लड सैंपल से बदले गए थे। उसकी मां को आज एक अदालत में पेश किया जा सकता है। शहर के पुलिस आयुक्त अमितेश कुमार ने शनिवार को बताया कि दुर्घटना की जांच में यह पता चला है कि किशोर के ब्लड सैंपल उसकी मां के ब्लड सैंपल से बदले गए थे जिसके बाद उसे गिरफ्तार कर लिया गया है।उसकी मां को आज एक अदालत में पेश किया जा सकता है।
ये भी पढ़ें-पुणे पोर्श कार एक्सीडेंट केस में पुलिस ने आरोपी किशोर की मां से पूछताछ की, फिर से क्रिएट होगा क्राइम सीन
' किशोर के ब्लड सैंपल एक महिला के ब्लड सैंपल से बदले गए थे'
पुलिस ने दो दिन पहले एक स्थानीय अदालत में कहा था कि किशोर के रक्त के नमूने एक महिला के ब्लड सैंपल से बदले गए थे। पुणे के कल्याणी नगर में 19 मई को 'पोर्श' कार के 17 वर्षीय चालक ने मोटरसाइकिल सवार दो सॉफ्टवेयर इंजीनियर को कथित रूप से टक्कर मार दी थी जिससे दोनों की मौत हो गयी थी। पुलिस ने दावा किया कि आरोपी नशे की हालत में कार चला रहा था।मामले के 17 वर्षीय आरोपी को एक सुधार गृह में भेज दिया गया जबकि उसके पिता एवं रियल एस्टेट कारोबारी विशाल अग्रवाल और दादा सुरेंद्र अग्रवाल को परिवार के वाहन चालक का कथित तौर पर अपहरण करने और उस पर हादसे की जिम्मेदारी लेने का दबाव बनाने के लिए गिरफ्तार किया गया है।
ये भी पढ़ें-पुणे पोर्श कांड में नप गए सैंपल बदलने वाले डॉक्टर साहब, हो गए सस्पेंड; छुट्टी पर भेजे गए डीन
नाबालिग के पिता और दादा को 14 दिन की न्यायिक हिरासत में भेज दिया
शुक्रवार को एक अदालत ने नाबालिग के पिता और दादा को 14 दिन की न्यायिक हिरासत में भेज दिया। उनकी पुलिस हिरासत की अवधि समाप्त हो गयी थी।पुलिस ने यह दिखाने के लिए नाबालिग के रक्त नमूने बदलने के आरोप में ससून जनरल हॉस्पिटल के फॉरेंसिक चिकित्सा विभाग के प्रमुख डॉ. अजय तावड़े, चिकित्सा अधिकारी डॉ. श्रीहरि हलनोर और कर्मचारी अतुल घाटकाम्बले को गिरफ्तार किया है कि आरोपी दुर्घटना के वक्त नशे की हालत में नहीं था।
'उन्होंने तीन लाख रुपये लिए और डॉ. हलनोर को रक्त नमूने बदलने के लिए फोन किया'
पुलिस के अनुसार, शराब की जांच के लिए नमूने एकत्रित किए जाने के दौरान विशाल अग्रवाल और गिरफ्तार चिकित्सकों में से एक डॉ. अजय तावड़े के बीच फोन पर कई बार बातचीत हुई थी।महाराष्ट्र के मंत्री हसन मुशरिफ ने शुक्रवार को कहा था, 'पुलिस ने पाया कि पुणे में जिस रात दुर्घटना हुई थी, तब डॉ. तावड़े छुट्टी पर थे और उन्हें किसी का फोन आया था। उन्होंने तीन लाख रुपये लिए और डॉ. हलनोर को रक्त नमूने बदलने के लिए फोन किया।'पुलिस ने रक्त नमूनों की कथित तौर पर अदला-बदली के संबंध में विशाल अग्रवाल की हिरासत के लिए शुक्रवार को एक अर्जी दायर की। इस बीच, किशोर न्याय बोर्ड (जेजेबी) ने पुलिस को पोर्श दुर्घटना में कथित तौर पर शामिल नाबालिग से पूछताछ करने की अनुमति दे दी है। किशोर न्याय अधिनियम के तहत किसी नाबालिग से पूछताछ उसके माता-पिता की उपस्थिति में की जानी होती है।
नाबालिग से सड़क दुर्घटनाओं पर 300 शब्दों का एक निबंध लिखने को कहा था
जेजेबी ने 19 मई को दुर्घटना के कुछ घंटों बाद रियल एस्टेट कारोबारी विशाल अग्रवाल के नाबालिग बेटे को जमानत दे दी थी। उसने नाबालिग से सड़क दुर्घटनाओं पर 300 शब्दों का एक निबंध लिखने को कहा था जिसकी काफी आलोचना हुई थी।देशभर में आलोचना के बीच पुलिस ने फिर जेजेबी का रुख किया जिसने आदेश में बदलाव किया और नाबालिग को पांच जून तक सुधार गृह में भेज दिया।जेजेबी के एक सदस्य द्वारा नाबालिग को जमानत दिए जाने के बाद महाराष्ट्र सरकार ने जेजेबी के उन सदस्यों के आचरण की जांच के लिए एक समिति गठित की, जिनकी नियुक्ति राज्य सरकार द्वारा की गई थी। समिति यह भी देखेगी कि पुणे कार दुर्घटना मामले में आदेश देते वक्त क्या नियमों का पालन किया गया।महिला व बाल विभाग के आयुक्त प्रशांत नारनवरे ने पहले बताया था कि एक उपायुक्त की अध्यक्षता वाली यह समिति अगले सप्ताह तक अपनी रिपोर्ट सौंपेगी।
दो सॉफ्टवेयर इंजीनियर को कथित रूप से टक्कर मार दी थी जिससे दोनों की मौत हो गयी थी
पुलिस ने दो दिन पहले एक स्थानीय अदालत में कहा था कि किशोर के रक्त के नमूने एक महिला के रक्त के नमूने से बदले गए थे।पुणे के कल्याणी नगर में 19 मई को 'पोर्श' कार के 17 वर्षीय चालक ने मोटरसाइकिल सवार दो सॉफ्टवेयर इंजीनियर को कथित रूप से टक्कर मार दी थी जिससे दोनों की मौत हो गयी थी। पुलिस ने दावा किया कि आरोपी नशे की हालत में कार चला रहा था।मामले के 17 वर्षीय आरोपी को एक सुधार गृह में भेज दिया गया जबकि उसके पिता एवं रियल एस्टेट कारोबारी विशाल अग्रवाल और दादा सुरेंद्र अग्रवाल को परिवार के वाहन चालक का कथित तौर पर अपहरण करने और उस पर हादसे की जिम्मेदारी लेने का दबाव बनाने के लिए गिरफ्तार किया गया है।
देश और दुनिया की ताजा ख़बरें (Hindi News) अब हिंदी में पढ़ें | क्राइम (crime News) और चुनाव के समाचार के लिए जुड़े रहे Times Now Navbharat से |
मैं 'Times Now नवभारत' Digital में Assistant Editor के रूप में सेवाएं दे रहा हूं, 'न्यूज़ की दुनि...और देखें
© 2024 Bennett, Coleman & Company Limited