Who is Papalpreet Singh: कौन है पपलप्रीत सिंह, पुलिस की रडार पर पहले भी रह चुका है अमतृपाल का हमसाया
Who is Papalpreet Singh : पपलप्रीत भी गत 18 मार्च को अमृतपाल के साथ फरार हुआ था। वह लगातार पुलिस को चकमा दे रहा था। पपलप्रीत को खालिस्तान समर्थक माना जाता है। वह अमृतपाल का मीडिया सलाहकार बनने से पहले खुद को पत्रकार, लेखक और फोटोग्राफर बताता था।
पुलिस के हत्थे चढ़ गया है अमृतपाल का करीबी पपलप्रीत सिंह।
Who is Papalpreet Singh : 'वारिस दे पंजाब' का सरगना अमृतपाल अभी पुलिस के हत्थे नहीं चढ़ पाया है लेकिन उसका बेहद करीबी पपलप्रीत सिंह अब पंजाब पुलिस की गिरफ्त में है। पंजाब पुलिस ने सोमवार को उसे पाकिस्तान बार्डर के पास काठू नांगल इलाके से गिरफ्तार किया। मंगलवार तड़के उसे अमृतसर एयरपोर्ट लाया गया। पपलप्रीत सिंह की गिरफ्तारी पंजाब पुलिस के लिए एक बड़ी सफलता मानी जा रही है। अमतृपाल के फरार होने के बाद कई मौकों पर पपलप्रीत को उसके साथ देखा गया। समझा जाता है कि पपलप्रीत पूछताछ में अमृतपाल के बारे में अहम सुराग दे सकता है। संबंधित खबरें
खुद को पत्रकार, लेखक और फोटोग्राफर बताता थापपलप्रीत भी गत 18 मार्च को अमृतपाल के साथ फरार हुआ था। वह लगातार पुलिस को चकमा दे रहा था। पपलप्रीत को खालिस्तान समर्थक माना जाता है। वह अमृतपाल का मीडिया सलाहकार बनने से पहले खुद को पत्रकार, लेखक और फोटोग्राफर बताता था।
तनौली में एक सीसीटीवी फुटेज में नजर आयापुलिस सूत्रों का कहना है कि गत 28 मार्च को पुलिस ने होशियापुर के पास पपलप्रीत और अमृतपाल की लोकेशन ट्रेस की, इसके बाद दोनों ने अपने रास्ते बदल लिए। इसके कुछ दिनों बाद वह तनौली में एक सीसीटीवी फुटेज में नजर आया। 'वारिस दे पंजाब' के अस्तित्व में आने से पहले पपलप्रीत (38) पंजाब में सक्रिय रहा है। वह सोशल मीडिया में अपने वीडियो एवं संदेश पोस्ट करता था। अमृतसर के मरारी गांव का रहने वाला पपलप्रीत पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी इंटर सर्विसेज इंटेलिजेंस (ISI) के साथ कथित संबंधों को लेकर साल 2015 में गिरफ्तार हो चुका है।
इंस्टाग्राम-फेसबुक पर पपलप्रीत के प्रशंसकों की संख्या ज्यादापिछले साल अमृतपाल के पंजाब आने पर वह उसके साथ हो गया। उसने अमृतपाल की कई तस्वीरें खींची और मीडिया के साथ उसके इंटरव्यू के वीडियो बनाए। सोशल मीडिया खासकर इंस्टाग्राम एवं फेसबुक पर पपलप्रीत के प्रशंसकों की संख्या अच्छी-खासी है। इससे अमृतपाल को अपना कुनबा बढ़ाने में काफी मदद मिली। आईएसआई के साथ उसके कथित संबंधों को लेकर शिरोमणि अकाली दल की सरकार ने उसके खिलाफ 2015 में देशद्रोह का केस दर्ज किया। भटिंडा में एक कार्यक्रम के आयोजन को लेकर पपलप्रीत के खिलाफ 2016 में भी केस दर्ज हुआ।
पपलप्रीत के पास पॉलिटेक्निक डिप्लोमा की डिग्रीपपलप्रीत पढ़ा-लिखा भी है। उसके पास तीन वर्षीय पॉलिटेक्निक डिप्लोमा की डिग्री है। आरोप है कि वह नशे के कारोबार में भी संलिप्त है। उसने 2015 में 'सिख यूथ फ्रंट' नाम से एक संगठन बनाया। इसके बाद वह थोड़े समय के लिए शिअद में शामिल हो गया। इस दौरान वह वेब चैनलों के लिए इंटरव्यू लेने लगा। उसने सिख आतंकवादियों एवं उनके परिवार के सदस्यों के इंटरव्यू लिए।
पपलप्रीत के खिलाफ कई मामले दर्ज
बता दें कि 18 मार्च को पपलप्रीत जालंधर में वाहन और हुलिया बदलकर पुलिस के शिकंजे से बचकर फरार होने में सफल हो गया था। अमृतपाल और उसके सहयोगियों के खिलाफ समुदायों में द्वेष पैदा करने, हत्या की कोशिश, पुलिस कर्मियों पर हमला और सरकारी अधिकारियों को कर्तव्य निर्वहन करने से रोकने सहित विभिन्न धाराओं में प्राथमिकी दर्ज की गई है।संबंधित खबरें
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आलोक कुमार राव author
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