Ambedkar Jayanti 2024 Speech: अंबेडकर जयंती का दमदार भाषण ऐसे करें शुरू, तालियों की गड़गड़ाहट से गूंज उठेगा स्कूल
Ambedkar Jayanti 2024 Speech, Essay in Hindi: संविधान निर्माता बाबा साहेब भीमराव अंबेडकर की जयंती 14 अप्रैल को मनाई जाती है। इस अवसर पर स्कूलों में कार्यक्रम होते हैं। कार्यक्रम में आप इस तरह से दमदार भाषण देकर अपना प्रभाव जमा सकते हैं। यहां पढ़ें अंबेडकर जयंती का भाषण हिंदी में।
Ambedkar Jayanti 2024 Speech in Hindi
Ambedkar Jayanti Speech in Hindi: हिंदी में अंबेडकर जयंती का भाषण
- डॉ भीमराव अंबेडकर के जन्मदिन को मनाने के लिए हर साल 14 अप्रैल को अंबेडकर जयंती मनाई जाती है। उनका जन्म साल 1891 में हुआ था।
- डॉ भीमराव अंबेडकर को लोकप्रिय रूप से बाबासाहेब अंबेडकर के नाम से जाना जाता था।
- बीआर अंबेडकर भारत के संविधान के निर्माता थे। उन्हें भारतीय संविधान के पिता के रूप में भी जाना जाता है, क्योंकि वे भारतीय संविधान के लिए मसौदा समिति के अध्यक्ष थे।
- वह दलितों या भारत के पिछड़े वर्ग के लोगों के नेता थे।
- वे स्वतंत्र भारत के पहले कानून मंत्री थे।
- वे एक समाज सुधारक थे। उन्होंने सभी भारतीयों के लिए समानता के लिए काम किया।
- 1936 में उन्होंने इंडिपेंडेंट लेबर पार्टी नाम से एक राजनीतिक दल का गठन किया था।
- बीआर अंबेडकर ने 15 मई 1936 को अपनी पुस्तक एनीहिलेशन ऑफ कास्ट प्रकाशित की।
- उन्होंने भारतीय कानून और शिक्षा में बहुत योगदान दिया।
- अंबेडकर पूरे भारत में समानता और न्याय के प्रतीक हैं।
- उन्हें अप्रैल 1990 में मरणोपरांत भारत रत्न पुरस्कार से सम्मानित किया गया था।
Ambedkar Jayanti Essay in Hindi- अंबेडकर जयंती भाषण को छोटा रखें क्योंकि छात्र अधिक लंबा भाषण नहीं सीख पाएंगे।
- अंबेडकर जयंती के भाषण को ऐसे शब्दों से न भरें, जो छात्रों को याद न हों।
- भाषण को सरल रखें ताकि छात्र इसे सीख सकें।
Dr BR Ambedkar Education Qualification
हमें पूरी उम्मीद है कि आप इन टिप्स का पालन करके अपने स्कूल में बीआर अंबेडकर पर बेहतरीन भाषण दे सकेंगे। देश के संविधान का मसौदा तैयार करने के अलावा डॉ बीआर अंबेडकर ने भारत के भारतीय रिजर्व बैंक की स्थापना में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। डॉ. बीआर अंबेडकर प्रतिभावान छात्र थे। उन्होंने कोलंबिया विश्वविद्यालय और लंदन स्कूल ऑफ़ इकोनॉमिक्स दोनों ही विश्वविद्यालयों से अर्थशास्त्र में डॉक्टरेट की उपाधियाँ प्राप्त कीं तथा विधि, अर्थशास्त्र और राजनीति विज्ञान में शोध कार्य भी किये थे। उन्होंने सातारा नगर में राजवाड़ा चौक पर स्थित शासकीय हाईस्कूल (अब प्रतापसिंह हाईस्कूल) में 7 नवंबर 1900 को अंग्रेजी की पहली कक्षा में प्रवेश लिया।
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कुलदीप सिंह राघव 2017 से Timesnowhindi.com ऑनलाइन से जुड़े हैं।पॉटरी नगरी के नाम से मशहूर यूपी के बु...और देखें
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