Success Story: ठेले पर सब्जी बेचने वाले की बेटी बनी सिविल जज, कभी फीस भरने के नहीं थे पैसे

Ankita Nagar Success Story Who Become Civil Judge: आर्थिक तंगी के बीच कड़ी मेहनत कर सफलता हासिल कैसे की जाती है, संघर्ष कर रहे छात्रों को इंदौर की अंकिता नागर से सीखनी चाहिए। उनके पिता सब्जी बेचते हैं और घर में उनकी फीस भरने तक के पैसे नहीं। पिता का हाथ बंटाने के लिए अंकिता ने भी सब्जी बेची!

Ankita Nagar Success Story

Ankita Nagar Success Story

Ankita Nagar Success Story Who Become Civil Judge: गरीबी हौसले का गला नहीं घोट पाती है। अगर मेहनत और लगन सच्ची हो तो संसाधनों का अभाव भी सफलता के कदम नहीं रोक पाता है। इस बात को साबित कर दिखाया इंदौर की रहने वाली अंकिता नागर ने। इंदौर के मूसाखेड़ी रोड पर लक्ष्मी और अशोक नागर सब्जी का ठेला लगाते हैं। दोनों पति-पत्नी लंबे अर्से से इंदौर (Indore) की गलियों में सब्जी बेचते हैं। इन्हीं की बेटी हैं अंकिता नागर जिन्होंने जज बनकर मां बाप का नाम रोशन कर दिया। आर्थिक तंगी के बीच कड़ी मेहनत कर सफलता हासिल कैसे की जाती है, संघर्ष कर रहे छात्रों को इंदौर की अंकिता नागर से सीखनी चाहिए। उनके पिता सब्जी बेचते हैं और घर में उनकी फीस भरने तक के पैसे नहीं। पिता का हाथ बंटाने के लिए अंकिता ने भी सब्जी बेची!

Ankita Nagar Story: कभी फीस भरने के नहीं थे पैसे

अंकिता के माता पिता इंदौर के मूसाखेड़ी रोड पर लक्ष्मी और अशोक नागर सब्जी का ठेला लगाते हैं। जिस वक्त सिविल जज का परिणाम आया, अंकिता यहां सब्जी बेच रही थीं। सिविल जज बनी अंकिता ने बताया कि एक समय में हमारे पास फॉर्म भरने के लिए 800 रुपये नहीं थे। अंकिता शुरू से ही जज बनना चाहती थी। कॉलेज में एलएलबी की पढ़ाई के दौरान से ही वह तैयारी शुरू कर दी थी। मां-पिता के हाथ में काम बंटाने के लिए अंकिता भी सब्जी के ठेले पर पहुंच जाती थी। वह खुद सब्जी तौलकर ग्राहकों को देती थी, इससे मां-पिता को मदद मिल जाती थी। रिजल्ट आने के बाद उसने मां को ठेले पर ही जाकर बताई थी कि मैं जज बन गई हूं।

सपने पूरे करने को नहीं की शादी

अंकिता के बड़े भाई और छोटी बहन की शादी हो गई है लेकिन उन्होंने अपने सपने पूरे करने के लिए शादी नहीं की। अंकिता घर की आर्थिक स्थिति से वाकिफ थीं, इसलिए जब भी समय मिलता, वह माता पिता के साथ सब्जी बेचने का काम करतीं। 29 वर्षीय अंकिता नागर ने बताया कि सिविल जज भर्ती परीक्षा में तीन बार असफल होने के बाद भी मैंने हिम्मत नहीं हारी। संघर्ष कर रहे छात्रों के लिए अंकिता नागर मिसाल बनी है।

देश और दुनिया की ताजा ख़बरें (Hindi News) अब हिंदी में पढ़ें | एजुकेशन (education News) की खबरों के लिए जुड़े रहे Timesnowhindi.com से | आज की ताजा खबरों (Latest Hindi News) के लिए Subscribe करें टाइम्स नाउ नवभारत YouTube चैनल

लेटेस्ट न्यूज

कुलदीप राघव author

कुलदीप सिंह राघव 2017 से Timesnowhindi.com ऑनलाइन से जुड़े हैं।पॉटरी नगरी के नाम से मशहूर यूपी के बुलंदशहर जिले के छोटे से कस्बे खुर्जा का रहने वाला ह...और देखें

End of Article

© 2024 Bennett, Coleman & Company Limited