महात्मा गांधी का जीवन परिचय
Gandhi Jayanti 2023 Birth Death Biography: महात्मा गांधी देश के पहले राष्ट्रपिता थे, इन्हें प्यार से लोग बापू कहते थे। गांधी जी को बीसवीं सदी के महानतम राजनीतिक और आध्यात्मिक नेताओं में से एक के रूप में पहचाना जाता है। भारत में राष्ट्रपिता के रूप में सम्मानित, गांधी जी ने बड़े पैमाने पर अहिंसक सविनय अवज्ञा के माध्यम से अत्याचार के प्रतिरोध-सत्याग्रह के सिद्धांत का नेतृत्व किया और उसका पालन किया। आइये जानें महात्मा गांधी के जन्म से मृत्यु तक सभी जरूरी बातें
महात्मा गांधी का जीवन परिचय: माता पिता जन्म व मृत्यु
Gandhi Jayanti 2023 Mahatama Gandhi ka Jeevan Parichay : महात्मा गांधी जी का पूरा नाम मोहनदास करमचंद गांधी था। महात्मा गांधी के पिता का नाम करमचंद गांधी जबकि महात्मा गांधी की माता का नाम पुतलीबाई था। महात्मा गांधी का जन्म 2 अक्टूबर 1869 को (Mahatama Gandh Birth) गुजरात के पोरबंदर नामक जगह पर हुआ था। महात्मा गांधी की मृत्यु एक हत्या थी, जिसे नाथु राम गोडसे ने 30 जनवरी 1948 को अंजाम दिया था, (Mahatama Gandh Death) देश की आजादी के कुछ माह बाद महात्मा गांधी की हत्या कर दी गई थी।
महात्मा गांधी की पत्नी और बच्चों का क्या नाम था?
महात्मा गांधी के पिता ब्रिटिश राज के समय काठियावाड़ की एक छोटी सी रियासत के दीवान थे। उन्होंने मोहनदास करमचंद गांधी का विवाह महज 13 साल की उम्र में कर दिया था, महात्मा गांधी की पत्नी (Mahatama Gandhi Spouse Name) का नाम कस्तूरबा गांधी था। विवाह के दो साल बाद महात्मा गांधी जी के पिता का निधन हो गया। महात्मा गांधी के चार बच्चे थे (Mahatama Gandhi Children Name in Hindi) हरिलाल गांधी, रामदास गांधी, देवदास गांधी और मणिलाल गांधी।
महात्मा गांधी एक महान नेता
ये उन महानतम नेताओं में से एक थे, जिन्होंने अपना पूरा जीवन देशहित के नाम किया, उन्होंने अंतिम सांस तक देश के लिए लड़ाई लड़ी। ब्रिटिश शासन से आजादी के आंदोलन में महात्मा गांधी एक ऐसे नेता थे जिन्होंने अहिंसा का मार्ग कभी नहीं छोड़ा, और वे हमेशा लोगों को भी हिंसा न अपनाने की सलाह देते थे। इन्होंन अपने अहिंसावादी तरीको से अंग्रेजी शासकों के नाक में दम कर दिया था।
महात्मा गांधी को राष्ट्रपिता के नाम से भी संबोधित किया जाता है। इनकी विचारधारा इतनी प्रभावशाली थी कि मार्टिन लूथर किंग और नेलसन मंडेला भी इनसे प्रभावित थे। महात्मा गांधी ने अफ्रीका में भी 21 सालों तक अन्याय और नस्लीभेद के खिलाफ संघर्ष किया, जो अंग्रेजों को अफ्रीका में ही नहीं, बल्कि भारत में भी महंगा पड़ा।
महात्मा गांधी की पढ़ाई लिखाई
Mahatama Gandhi Education: महात्मा गांधी ने 1887 में अहमदाबाद से हाई स्कूल किया। कॉलेज की पढ़ाई पूरी करने के बाद साल 1888 में उन्होंने लंदन जाकर वकालत की पढ़ाई करने का निश्चय किया।
स्वतंत्रता संग्राम में गांधी जी का योगदान
वर्ष 1915 में गांधी जी दक्षिण अफ्रीका से भारत लौटे थे, हालांकि वे पढ़ाई के बाद भी भारत आए थे, लेकिन नौकरी के लिए वे दोबारा दक्षिण अफ्रीका चले गए थे। इसके बाद वे 1915 में भारत आए, और अपने गुरु गोपालकृष्ण गोखले के साथ इंडियन नेशनल कांग्रेस में शामिल हुए। गोपालकृष्ण गोखले के साथ गांधी जी ने देश के हालात को समझने के लिए भारत भ्रमण की योजना बनाई, उन्होंने असहयोग आंदोलन, सविनय अवज्ञा आंदोलन, भारत छोड़ो आंदोलन का भी नेतृत्व किया। उन्होंने कई स्वतंत्रता सेनानियों के साथ मिलकर अंग्रेजो को भारत छोड़ने के लिए मजबूर किया था।