IIT Campus in Tanzania: तंजानिया में IIT कैंपस, 4 साल का BS और 2 साल का AI प्रोग्राम

IIT Campus in Tanzania: तंजानिया स्थित आईआईटी मद्रास के विदेशी कैम्पस जांजीबार में पहला शैक्षणिक वर्ष 2023-24 से ही शुरू होने जा रहा है। पहले सत्र की कक्षाएं अक्टूबर 2023 से शुरू होने वाली हैं।

IIT in Tanzania

तंजानिया में IIT कैंपस (image - canva)

तस्वीर साभार : IANS

IIT Campus in Tanzania: पहले वर्ष आईआईटी मद्रास के इस विदेशी कैंपस में दो पूर्णकालिक प्रोग्राम होंगे। इनमें पहला डेटा साइंस और आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस में चार साल का बैचलर ऑफ साइंस हैं। दूसरा, डेटा साइंस और आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस में दो साल का मास्टर ऑफ टेक्नोलॉजी प्रोग्राम।

कुल मिलाकर पहले वर्ष आईआईटी मद्रास के जांजीबार कैम्पस में 70 छात्र-छात्राओं को दाखिले दिए जाएंगे। आईआईटी मद्रास के मुताबिक इन 70 सीटों में से 50 सीटें अंडरग्रेजुएट और 20 सीटें पोस्टग्रेजुएट कार्यक्रमों के लिए रखी गई हैं। वर्ष 2023 बैच के लिए यहां आवेदन प्रक्रिया शुरू हो गई है।

ईआईटी मद्रास के निदेशक प्रोफेसर वी. कामकोटि: मील का पत्थर है यह कदम

दिल्ली में आईआईटी मद्रास के निदेशक प्रोफेसर वी. कामकोटि ने कहा, “जांजीबार में आईआईटी मद्रास कैंपस खुलना संस्थान के इतिहास में एक बड़ा मील का पत्थर है। हमें विश्वास है कि इसके माध्यम से हम जांजीबार में उच्च शिक्षा के सुनहरे भविष्य में सक्रिय योगदान देंगे।’’

गौरतलब है कि आईआईटी मद्रास विदेश में कैम्पस खोलने वाला देश का पहला आईआईटी बन गया है। जांजीबार-तंजानिया में यह कैम्पस खुलने का मार्ग प्रशस्त करते हुए हाल ही में भारत और तंजानिया के बीच एक समझौता करार पर हस्ताक्षर किए गए। आईआईटी मद्रास का जांजीबार कैंपस पूर्वी अफ्रीकी मुख्य भूमि से हट कर जांजीबार द्वीप में होगा और यह भारत और जांजीबार-तंजानिया के बीच एक अभूतपूर्व शैक्षिक साझेदारी है, जिससे संस्थान के इतिहास में शिक्षा का नया दौर शुरू होने वाला है। शुरू में इस परिसर के लिए शिक्षक आईआईटी मद्रास से प्रतिनियुक्त किए जाएंगे या भारत में ही नियुक्ति की जाएगी।

आईआईटी मद्रास के डीन प्रो. रघुनाथन रंगास्वामी: सपना सच होने जैसा

स्थानीय प्रतिभाओं के विकास और उन्हें बतौर शिक्षक नियोजित करने की दिशा में कार्य शुरू कर दिए गए हैं। नए परिसर की विस्तृत जानकारी देते हुए आईआईटी मद्रास के डीन (ग्लोबल एंगेजमेंट) प्रो. रघुनाथन रंगास्वामी ने कहा, “आईआईटी मद्रास के विश्वव्यापी होने के विभिन्न प्रयासों में यह बहुत महत्वपूर्ण कदम है। हम एक विस्तृत रणनीतिक योजना के तहत यहां विदेशी छात्रों की संख्या बढ़ाने, अंतर्राष्ट्रीय शैक्षणिक संस्थानों से सफल संवाद और परस्पर सहयोग से संयुक्त डिग्री प्रोग्राम बढ़ाने और शिक्षक छात्र आदान-प्रदान बढ़ाने में लगे हैं। विदेश में सभी सुविधाओं के साथ एक वास्तविक परिसर बनाने के अवसर की हमें तलाश थी और यह सपना सच होते देखना हमारे लिए बहुत खुशी की बात है।’’

आईआईटी मद्रास के जांजीबार परिसर की निदेशक प्रीति अघलायम ने कहा, ‘‘आईआईटी मद्रास में शिक्षा एवं शोध की गहरी और लंबी परंपरा रही है, जिसका हमारे पूर्वी अफ्रीका कैंपस को लाभ मिलेगा। हमें इसका गर्व है। परिसर की योजना मद्रास कैंपस की तरह है। हरा-भरा प्राकृतिक परिवेश, अत्याधुनिक कक्षाएं, प्रयोगशालाएं, अनुसंधान सुविधाएं और नवाचार केंद्र भी होंगे।’’

आईआईटीएम जांजीबार कैंपस की योजना इसके स्कूलों में डिग्री प्रोग्राम का संचालन करना है। पहला स्कूल, स्कूल ऑफ साइंस एंड इंजीनियरिंग है, जो शैक्षणिक वर्ष 2023-24 के लिए नियोजित दोनों डिग्री प्रोग्रामों का संचालन करेगा। शिक्षा मंत्रालय के अधिकारियों और तंजानिया के शैक्षणिक संस्थानों के प्रमुखों से हुई चर्चा से यह सामने आया कि इस देश के लिए डेटा साइंस शिक्षा का एक अहम क्षेत्र होगा।

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