Makar Sankranti Essay in Hindi: विज्ञान और आध्यात्म का संगम... देखें मकर संक्रांति पर शॉर्ट और सरल निबंध

Makar Sankranti Essay in Hindi: मकर संक्रांति 14 और 15 जनवरी को पूरे भारत में धूमधाम से मनाया जाता है। हालांकि, कई अन्य राज्यों में इस दिन को अलग-अलग त्योहार मनाया जाता है। जैसे दक्षिण भारत में इस दिन को पोंगल मनाते हैं। वहीं, पंजाब में लोहड़ी 13 जनवरी और 14 जनवरी को मनाया जाता है। ज्यादातर जगहों पर मकर संक्रांति मनाया जाता है। ऐसे में मकर संक्रांति पर एक सरल और शॉर्ट निबंध यहां देख सकते हैं।

Makar Sankranti 2024

मकर संक्रांति पर निबंध

Makar Sankranti Essay in Hindi: मकर संक्रांति को उत्तरायण भी कहते हैं। यह दिन सर्दियों के अंतिम दिन से भी जाना जाता है जो सभी के लिए एक नई शुरूआत और विश्वास लेकर आता है। इस मौके पर छुट्टियां भी रहती हैं। स्कूलों में निबंध लेखन की प्रतियोगिता भी होती है। ऐसे में छात्रों की सहायता के लिए मकर संक्रांति पर निबंध लेकर आए हैं। मकर संक्रांति त्योहार पर एक सरल और शॉर्ट निबंध यहां देख सकते हैं।

Why We Celebrate Makar Sankranti: क्यों मनाते हैं मकर संक्रांति?

मकर संक्रांति का दिन मकर राशि में सूर्य के प्रवेश का दिन होता है। इसे उत्तरायण भी कहते हैं। भारत एक कृषि प्रधान देश है इसलिए इस दिन हर किसान सूर्य भगवान से वर्ष भर अच्छी और भरपूर फसल उगाने की प्रार्थना करता है। इस दिन को सर्दियों के अंतिम दिन से भी जाना जाता है। मकर संक्रांति के दिन लोग तिल से बनी मिठाइयां खाते हैं, पतंग उड़ाते हैं और दोस्तों व करीबियों से भी मिलते हैं।

मकर संक्रांति हिंदू धर्म में अलग-अलग प्रान्तों में अलग-अलग नाम से मनाया जाता है। इस त्योहार को विज्ञान और आध्यात्म से जोड़कर देखा जाता है। जब सूर्य देव धनु राशि से निकलकर मकर राशि में प्रवेश करते हैं, तो इसे सूर्य का संक्रमण काल कहा जाता है।

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Makar Sankranti Essay in Hindi: मकर संक्रांति पर निबंध

हमारे देश में मकर संक्रांति का त्योहार हर साल 14 या 15 जनवरी को मनाया जाता है। मकर संक्रांति का यह त्योहार हमें हमेशा एक नई शुरुआत करने के लिए प्रेरित करता है, जिसमें मिठास हो, खूब सारे रंग हो और खूब खुशियां होती है। मकर संक्रांति फसलों का त्योहार है, नई आशाओं का त्योहार है। सूर्य की दिशा बदलने के साथ एक नई शुरूआत होती है।

हिंदू परंपरा के अनुसार यह बहुत ही शुभ अवसर होता है। इस दिन, देश भर में कई लोग भक्ति भाव से पवित्र नदियों में डुबकी लगाकर सूर्य देव को अर्घ्य देते हैं। इस त्योहार पर पतंग उड़ाने की पुरानी परंपरा है। इस दिन आकाश रंग-बिरंगी पतंगों से भरा हुआ दिखाई देता है।

भारत के अलग-अलग राज्यों में लोग मकर संक्रांति को अलग-अलग नामों से मनाते हैं। कर्नाटक में, मकर संक्रांति पर, व्यंजनों के आदान-प्रदान की परंपरा को एलु बिरोधु कहा जाता है। तमिलनाडु में इसे ‘पोंगल’, असम में ‘माघ बिहू’ के रूप में मनाया जाता है। वहीं, पंजाब में ‘लोहड़ी’, गुजरात में उत्तरायण और उत्तर प्रदेश और बिहार में इसे ‘खिचड़ी’ के नाम से जाना जाता है।

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Ravi Mallick author

सर्वविद्या की राजधानी कहे जाने वाले वाराणसी का रहने वाला हूं। यहीं से पढ़ाई की शुरुआत हुई। महात्मा गांधी काशी विद्यापीठ यूनिवर्सिटी से ग्रेजुएशन पू...और देखें

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