आप क्रोनोलॉजी समझिए- सूरत सीट पर जब निर्विरोध जीती BJP तो भड़की कांग्रेस, जयराम रमेश ने लगाई आरोपों की झड़ी

Congress on Surat Seat Result 2024: सूरत सीट से कांग्रेस ने दो उम्मीदवार उतारे थे, लेकिन दोनों के नामांकन चुनाव अधिकारी ने खारिज कर दिए। इसके बाद बचे हुए जितने कैंडिडेट थे, उनमें से बीजेपी के कैंडिडट को छोड़कर बाकी नेअपना नामांकन वापस ले लिया।

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सूरत सीट पर निर्विरोध जीती बीजेपी

Congress on Surat Seat Result 2024: सूरत सीट पर बीजेपी के निर्विरोध जीतने के बाद कांग्रेस बीजेपी पर भड़की दिख रही है। कांग्रेस ने चुनावी प्रक्रिया पर सवाल उठाते हुए बीजेपी पर हमला बोला है। कांग्रेस के कम्युनिकेशन विभाग के प्रमुख जयराम रमेश ने कहा कि लोकतंत्र खतरे में है।

सूरत सीट पर निर्विरोध जीती बीजेपी

दरअसल सूरत सीट से कांग्रेस ने दो उम्मीदवार उतारे थे, लेकिन दोनों के नामांकन चुनाव अधिकारी ने खारिज कर दिए। इसके बाद बचे हुए जितने कैंडिडेट थे, उनमें से बीजेपी के कैंडिडट को छोड़कर बाकी नेअपना नामांकन वापस ले लिया। जिससे बीजेपी सूरत सीट से निर्विरोध जीत गई। इसे लेकर कांग्रेस नेता जयराम रमेश ने बीजेपी पर आरोपों की झड़ी लगा दी। जयराम रमेश ने प्वाइंट बाई प्वाइंट सूरत मामले पर हमला बोला है।

जयराम रमेश ने लिखा- लोकतंत्र खतरे में है. आप क्रोनोलॉजी समझिए:

  • सूरत जिला निर्वाचन अधिकारी ने सूरत लोकसभा सीट से कांग्रेस उम्मीदवार नीलेश कुंभानी का नामांकन "तीन प्रस्तावकों के हस्ताक्षर के सत्यापन में विसंगतियों" के कारण खारिज कर दिया।
  • इसी आधार पर, निर्वाचन अधिकारियों ने सूरत से कांग्रेस के सब्स्टीट्यूट उम्मीदवार सुरेश पडसाला का नामांकन भी खारिज कर दिया। जिसके बाद कांग्रेस पार्टी बिना उम्मीदवार के रह गई है।
  • बीजेपी प्रत्याशी मुकेश दलाल को छोड़कर बाकी सभी उम्मीदवारों ने अपना नामांकन वापस ले लिया।
  • 7 मई 2024 को मतदान से लगभग दो सप्ताह पहले 22 अप्रैल, 2024 को सूरत लोकसभा सीट से भाजपा उम्मीदवार को "निर्विरोध निर्वाचित" घोषित किया गया।

बीजेपी पर आरोपों की झड़ी

आगे जयराम रमेश ने लिखा- "मोदी के अन्यायकाल में एमएसएमई मालिकों और व्यवसायियों के संकट और गुस्से ने भाजपा को इतनी बुरी तरह से डरा दिया है कि वे सूरत लोकसभा को "मैच-फ़िक्स" करने का प्रयास कर रहे हैं, जिसे उन्होंने 1984 के लोकसभा चुनावों के बाद से लगातार जीता है। हमारे चुनाव, हमारा लोकतंत्र, बाबासाहेब अम्बेडकर का संविधान - सभी खतरे में हैं। यह हमारे जीवनकाल का सबसे महत्वपूर्ण चुनाव है!"
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शिशुपाल कुमार author

पिछले 10 सालों से पत्रकारिता के क्षेत्र में काम करते हुए खोजी पत्रकारिता और डिजिटल मीडिया के क्षेत्र में एक अपनी समझ विकसित की है। जिसमें कई सीनियर सं...और देखें

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