महाराष्ट्र में BJP की प्रचंड जीत के 5 कारण, शिंदे, फडणवीस सहित इन वजहों से मिली जबर्दस्त कामयाबी

Maharashtra Assembly Election : मुख्यमंत्री के तौर पर एकनाथ शिंदे के कार्यकाल के पर लोगों ने भरोसा जताया। महाराष्ट्र के लोगों ने इस चुनावी संदेश से जता दिया कि असली शिवसेना के हकदार वहीं हैं। दूसरा, एक मजबूत मराठा क्षत्रप के रूप में लोगों ने उन पर मुहर लगाई है। महायुति सरकार की 'माझी लाडकी बहीण योजना' महिलाओं में काफी लोकप्रिय हुई

महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव 2024

Maharashtra Assembly Election : महाराष्ट्र में भारतीय जनता पार्टी की अगुवाई वाली महायुति प्रचंड जीत दर्ज करने की दहलीज पर खड़ी है। विधानसभा की 288 सीटों में से भाजपा गठबंधन 223 सीटों पर आगे चल रहा है। रुझान करीब-करीब स्थिर होने लगे हैं। थोड़े फेर-बदल के साथ यदि रुझान नतीजों में तब्दील हुए तो भी सरकार महायुति की ही बनेगी। वहीं, महा विकास अघाड़ी यानी एमवीए को इस चुनाव में बहुत बड़ा झटका लगा है। कांग्रेस के नेतृत्व वाला यह गठबंधन 53 और अन्य 12 सीटों पर आगे चल रहे हैं। बहरहाल, लोगों ने पूरी तरह से अगली सरकार के लिए महायुति पर भरोसा जताया है। खुद भाजपा 120 सीटों पर आगे चल रही है। महाराष्ट्र में भाजपा को इतनी बड़ी जीत की उम्मीद नहीं थी लेकिन महायुति में शामिल तीनों दलों ने ऐतिहासिक प्रदर्शन किया है। यहां हम महायुति की जीत के पांच कारणों की चर्चा करेंगे-

काम कर गया 'एक हैं तो सेफ हैं, कटेंगे तो बटेंगे' नारा

जानकारों का कहना है कि चुनाव में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का नारा 'एक हैं तो सेफ हैं' और उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ का नारा 'बटेंगे तो कटेंगे' ने काफी असर दिखाया। इन नारों ने हिंदू वोटरों को भाजपा और महायुति के साथ लामबंद होने में बड़ी भूमिका निभाई है। इन नारों का संदेश उन्हें समझ में आ गया और वे एकजुट होकर भाजपा के पक्ष में मतदान किया। एक्सपर्ट का कहना है कि महाराष्ट्र में हिंदू वोटरों का ध्रुवीकरण बड़े स्तर पर हुआ। यदि यह ध्रुवीकरण नहीं हुआ तो भाजपा और महायुति को इतनी बड़ी जीत नहीं मिली होती।

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