हिमाचल के बाद गुजरात में चलेगा योगी का जादू, यूपी के इन चेहरों ने संभाला चुनावी मोर्चा
Gujarat Legislative Assembly election: योगी आदित्यनाथ ने मिशन गुजरात शुरू कर दिया है और आज उनकी तीन जनसभाएं तय हुईं। यूपी के पूर्व मंत्री सुरेश राणा बीते कुछ दिनों से गुजरात में डेरा डाले हुए हैं। सुरेश राणा पोरबंदर और द्वारिका में चुनान अभियान को धार दे रहे हैं।
2022 Gujarat Legislative Assembly election: उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री, गोरक्षपीठाधीश्वर योगी आदित्यनाथ का क्रेज देश की जनता के सर चढ़कर बोल रहा है। अभी-अभी हिमाचल के अपने व्यस्ततम चुनावी कार्यक्रम से वह खाली हुए हैं। इसके तुरंत बाद भाजपा के शीर्ष नेतृत्व ने उनको गुजरात के स्टार प्रचारकों की सूची में भी शामिल कर लिया। भाजपा ने गुजरात के लिए अपने जिन 40 स्टार प्रचारकों की सूची चुनाव आयोग को सौपीं उसमें प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी, केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह, रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह, पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा, योगी आदित्यनाथ के अलावा केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी, स्मृति ईरानी, मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान, भोजपुरी फिल्मों के स्टार एवं सांसद मनोज तिवारी, निरहुआ, रवि किशन, हेमा मालिनी, परेश रावल, गुजरात के पूर्व मुख्यमंत्री विजय रुपाणी, नितिन पटेल आदि के नाम शामिल हैं।
आज यानी 18 नवंबर से योगी आदित्यनाथ ने मिशन गुजरात शुरू कर दिया है और आज उनकी तीन जनसभाएं तय हुईं। सीएम योगी आज मोरबी की वाकानेर, भरूच की झगडीया और सूरत की चौरासी विधानसभा में प्रचार कर रहे हैं। गुजरात में इसी महीने चुनाव हैं। यहां की 182 विधानसभा सीटों के लिए दो चरणों (एक और पांच दिसंबर) में मतदान होने हैं। नतीजे 8 दिसंबर को हाल ही में सम्पन्न हुए हिमाचल विधानसभा चुनाव के साथ ही आएंगे।
गुजरात में बसता है एक अलग उत्तर प्रदेश
उल्लेखनीय है कि गुजरात में उत्तर भारतीयों की बड़ी संख्या है। अलग-अलग स्रोतों से उपलब्ध आंकड़ों के मुताबिक़ गुजरात में गैर प्रांतों के करीब 42 लाख लोग रह रहे हैं। यहां दो शहरों (अहमदाबाद और सूरत) की करीब 50 फीसद आबादी बाहर के लोगों की है। इन दोनों शहरों में विधानसभा की सीटें भी सर्वधिक हैं। गुजरात में रहने वाले अन्य राज्यों के लोगों में सर्वाधिक यूपी, बिहार, राजस्थान और मध्य प्रदेश के हैं। इसके अलावा महाराष्ट्र एवं ओडिसा के लोगों की संख्या भी ठीकठाक है। उत्तर प्रदेश में लगातार दूसरी बार मुख्यमंत्री बनकर योगी आदित्यनाथ अपनी लोकप्रियता का प्रमाण दे चुके हैं। वह सिर्फ मुख्यमंत्री नहीं नाथपंथ का हेडक्वॉर्टर माने जाने वाले गोरखपुर स्थित गोरक्षपीठ के पीठाधीश्वर भी हैं। यू तो नाथ पंथ के अनुयायी पूरे देश में हैं, पर गोरखपुर से सटा होने के नाते बिहार में इस पीठ की बड़ी मान्यता है। वहां मकरसंक्रांति (खिचड़ी) से लगने वाले माह भर के मेले में आने वाले लाखों लोगों में बिहार से आने वालों की संख्या सर्वाधिक होती है।
गुजरात के पिछले चुनाव में भी हिट रहे योगी
उल्लेखनीय है कि गुजरात के पिछले चुनाव में भी योगी हिट रहे। उन्होंने जिन 29 जिलों की 35 सीटों पर प्रचार किया था उनमें से 20 पर भाजपा को जीत मिली थी। वह भी तब जब उस चुनाव में कांग्रेस से कांटे का मुकाबला था। यही वजह है कि सीटों के लिहाज से उस चुनाव में भाजपा भले नंबर एक रही हो उसका वोट फीसद घटा था। इस बार आप आदमी पार्टी की जोरदार इंट्री से फिलहाल मुकाबला त्रिकोणीय बनाता दिख रहा है। भले ही आधार सीटों की बजाय मतदान फीसद का हो। गुजरात विधानसभा के पिछले चुनाव में 182 सीटों में से बीजेपी को 99 और कांग्रेस को 77 सीटें मिली थीं। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी, केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह के साथ उन चुनावों में योगी आदित्यनाथ की ही सर्वाधिक मांग थी।
यूपी बीजेपी के इन चेहरों ने संभाला मोर्चा
गुजरात चुनाव में भाजपा के अभियान में एक तरफ सीएम योगी की ताकत दिखेगी, वहीं उपमुख्यमंत्री केपी मौर्य और ब्रजेश पाठक भी प्रचार करेंगे। चुनाव प्रबंधन में यूपी के मंत्रियों को जिम्मेदारी दी गई है। यूपी के मंत्री स्वतंत्र देव सिंह को कच्छ में, JPS राठौड़ को महिसागर, दयाशंकर सिंह को राजकोट में जिम्मेदारी दी गई है। वहीं पूर्व मंत्री सुरेश राणा बीते कुछ दिनों से गुजरात में डेरा डाले हुए हैं। सुरेश राणा पोरबंदर और द्वारिका में चुनान अभियान को धार दे रहे हैं।
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कुलदीप सिंह राघव 2017 से Timesnowhindi.com ऑनलाइन से जुड़े हैं।पॉटरी नगरी के नाम से मशहूर यूपी के बु...और देखें
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