Garhi Sampla Kiloi Assembly Seat Vidhan Sabha Chunav 2024, गढ़ी सांपला किलोई विधान सभा सीट: भूपेंद्र हुड्डा के गढ़ में सेंध लगा पाएगी बीजेपी की मंजू हुड्डा? समझिए गढ़ी सांपला किलोई सीट का चुनावी गणित

Garhi Sampla Kiloi Vidhan Sabha Seat Result 2024 हरियाणा, गढ़ी सांपला किलोई विधानसभा सीट परिणाम, Contituency, History, Party, Key Candidates, History in Hindi: गढ़ी सांपला किलोई विधानसभा सीट पर इस बार कांग्रेस नेता भूपेंद्र सिंह हुड्डा के सामने भाजपा ने मंजू हुड्डा को उतारा है। मंजू हुड्डा पहली बार विधानसभा चुनाव लड़ रही हैं। मंजू हुड्डा की चुनौती यह है कि उन्हें पुराने नेताओं का सहयोग नहीं मिल रहा है।

समझिए गढ़ी सांपला किलोई विधान सभा सीट का चुनावी गणित

Garhi Sampla Kiloi Haryana Vidhan Sabha Chunav 2024: हरियाणा की 90 विधानसभा सीटों के लिए वोट 5 अक्टूबर को डाले जाएंगे। राज्य में इस बार का मुकाबला बीजेपी (BJP) और कांग्रेस के बीच है। अगर इस बीच गढ़ी सांपला किलोई विधानसभा सीट की बात करें तो गढ़ी सांपला किलोई विधानसभा सीट हरियाणा की सबसे हॉट सीटों में गिनी जाती है। भारतीय निर्वाचन आयोग द्वारा मतदान की तारीखों की घोषणा के बाद भारतीय जनता पार्टी (BJP), कांग्रेस और अन्य राजनीतिक दलों ने गढ़ी सांपला किलोई निर्वाचन क्षेत्र से अपने उम्मीदवारों की घोषणा कर दी है। भाजपा ने मंजू हुड्डा को यहां से अपना उम्मीदवार बनाया है। वहीं कांग्रेस ने भूपेंद्र सिंह हुड्डा को गढ़ी सांपला किलोई से अपना प्रत्याशी बनाया है। अन्य राजनीतिक पार्टियों में जेजेपी ने यहां से सुशीला देवी को अपना टिकट दिया है।
इस बीच अगर हरियाणा विधानसभा चुनाव-2019 की बात की जाए तो गढ़ी सांपला किलोई से कांग्रेस के भूपेंद्र सिंह हुड्डा विजयी उम्मीदवार थे, उन्होंने 97755 वोट हासिल किए थे जबकि भाजपा के सतीश नांदल के पक्ष में 39443 वोट पड़े थे। बता दें, प्रदेश में सरकार बनाने की जिम्मेदारी 2 बार सीएम रह चुके भूपेंद्र हुड्डा को इस बार भी कांग्रेस पार्टी में सीएम का दावेदार माना जा रहा है। प्रदेश में 70 से अधिक टिकटें उन्होंने पसंद के प्रत्याशियों को दिलाई हैं। हरियाणा में कांग्रेस की सरकार बनाने की जिम्मेदारी उन्हीं पर है।

दोनों प्रत्याशियों पर बेहतर प्रदर्शन करने का दबाव

गढ़ी सांपला किलोई विधानसभा क्षेत्र में जीत के साथ पुराने रोहतक की सभी सीटों को जिताने का बोझ भी उन पर ही है। वहीं मंजू हुड्डा पहली बार विधानसभा चुनाव लड़ रही हैं। कांग्रेस के दिग्गज नेता भूपेंद्र हुड्डा के सामने भाजपा की टिकट पर चुनाव लड़ना ही मंजू हुड्डा के लिए उपलब्धि है। उनके पास न तो चुनाव प्रबंधन है और न ही पुराने नेताओं का सहयोग ऐसे में उनके सामने बेहतर प्रदर्शन का दबाव होना स्वाभाविक है।
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