बाड़मेर-जैसलमेर सीट पर मुकाबला धाकड़, BJP से रुठा 26 साल का निर्दलीय उम्मीदवार पड़ रहा भगवा पार्टी और कांग्रेस पर भारी

Barmer-Jaisalmer Lok Sabha Seat: दिलचस्प बात है कि 26 वर्षीय रवींद्र सिंह भाटी भाजपा के बागी नेता हैं। भाजपा से नाराजगी के बाद ही उन्होंने निर्दलीय उम्मीदवार के रूप में विधानसभा चुनाव लड़ा था।

Ravindra Bhati: राजस्थान की बाड़मेर-जैसलमेर लोकसभा सीट पर इस बार मुकाबला दिलचस्प है। यहां भाजपा और कांग्रेस पर एक निर्दलीय उम्मीदवार भारी पड़ता दिख रहा है। निर्दलीय के रूप में चुनाव लड़ रहे रवींद्र सिंह भाटी भाजपा और कांग्रेस प्रतिद्वंद्वियों को आईना दिखा रहे हैं और उनकी चुनावी रैलियों में बड़ी भीड़ उमड़ रही है। राजस्थान में 19 और 26 अप्रैल को 25 लोकसभा सीटों पर होने वाले मतदान में से सबसे दिलचस्प मुकाबला बाड़मेर-जैसलमेर लोकसभा सीट पर ही देखने को मिलेगा।

भाजपा के बागी नेता हैं रवींद्र भाटी

दिलचस्प बात है कि 26 वर्षीय रवींद्र सिंह भाटी भाजपा के बागी नेता हैं। भाजपा से नाराजगी के बाद ही उन्होंने निर्दलीय उम्मीदवार के रूप में विधानसभा चुनाव लड़ा था। उनका मुकाबला भाजपा के कैलाश चौधरी और कांग्रेस के उम्मेदाराम बेनीवाल से है। भाटी के मैदान में उतरने से पहले यह मुकाबला कांग्रेस-भाजपा के बीच होने की संभावना थी। लेकिन भाटी ने इसे दिलचस्प बना दिया है। भाटी फिलहाल शेओ विधानसभा क्षेत्र से विधायक हैं। भाजपा के साथ बात नहीं होने पर वह एक स्वतंत्र उम्मीदवार के रूप में चुनाव मैदान में उतरे थे।

छात्र राजनीति में चमकने लगे थे

राजपूत समुदाय से आनेवाले भाटी ने छात्र राजनीति में ही अपना राजनीतिक कौशल दिखा दिया था। भाटी की चुनावी रैलियों में भारी भीड़ उमड़ रही है। खासकर महिलाओं और बुजुर्गों के बीच उनकी बढ़ती लोकप्रियता का जिक्र करते हुए लोग उनके और कांग्रेस नेता सचिन पायलट के बीच तुलना कर रहे हैं। केंद्रीय मंत्री और क्षेत्र से मौजूदा सांसद भाजपा उम्मीदवार कैलाश चौधरी बुनियादी ढांचे की कमी, खराब सड़कों, स्कूलों की कमी, सीमा के पास के गांवों के पिछड़ेपन और पानी की कमी को लेकर आलोचनाओं का सामना कर रहे हैं।

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