क्या जानबूझकर जेल में अपनी तबीयत बिगाड़ रहे हैं केजरीवाल? 10 पॉइंट में समझिए क्या है सारा माजरा

Delhi: क्या दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल जेल की सलाखों के पीछे जानबूझकर अपनी तबीयत बिगाड़ रहे हैं, जिसके जरिए वो राजनीति में नया हथियार तैयार कर सकें? ऐसा हम नहीं कह नहीं है, हाल के दिनों में केजरीवाल के स्वास्थ्य पर सियासत ने जोर पकड़ रखा है। आपको 10 पॉइंट में सबकुछ समझाते हैं।

जेल में सीएम अरविंद केजरीवाल।

Politics on Kejriwal's Health: जेल में कैद अरविंद केजरीवाल की तबीयत इन दिनों दिल्ली की सियासत का सबसे बड़ा मुद्दा बन चुका है। पहले आम आदमी पार्टी के नेता और केजरीवाल सरकार में मंत्रियों ने ऐसा दावा किया था कि जेल में अकारण उनका 8.5 किलोग्राम वजन घट गया है। इसके पहले आप ने ये आरोप लगाए थे कि जेल में दिल्ली के सीएम को दवाइयां और इंसुलिन लेने की अनुमति नहीं मिल रही है। इसके बाद तिहाड़ प्रशासन ने केजरीवाल के स्वास्थ्य पर AAP के दावों को खारिज किया। इतना ही नहीं, ये बात भी सामने आई कि केजरीवाल का वजन साढ़े आठ किलो नहीं बल्कि सिर्फ दो किलो कम हुआ है। अब इस लड़ाई में दिल्ली के उपराज्यपाल ने भी बड़ा दावा कर दिया है। उन्होंने कहा है कि जेल में केजरीवाल जानबूझकर कम कैलोरी ले रहे हैं। आपको इस लेख में सारा माजरा तफसील से समझाते हैं।

1). जेल में जानबूझकर कम कैलोरी ले रहे हैं केजरीवाल?

दिल्ली के उपराज्यपाल वी के सक्सेना ने आरोप लगाया है कि न्यायिक हिरासत के तहत तिहाड़ जेल में बंद मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल उन्हें दी जा रही भोजन की चिकित्सकीय खुराक और दवाएं संभवत: जानबूझकर नहीं ले रहे। उपराज्यपाल ने मुख्य सचिव नरेश कुमार को लिखे पत्र में केजरीवाल के स्वास्थ्य की स्थिति के बारे में जेल अधीक्षक की रिपोर्ट का हवाला देते हुए आरोप लगाया कि मुख्यमंत्री द्वारा ‘‘जानबूझकर कम कैलोरी लिए जाने’’ के कई उदाहरण हैं, जबकि उन्हें घर का बना खाना पर्याप्त मात्रा में उपलब्ध कराया जा रहा है। इस मामले पर आम आदमी पार्टी (आप) की सरकार ने तत्काल कोई प्रतिक्रिया नहीं दी है। उपराज्यपाल कार्यालय ने कहा कि सक्सेना ने जेल प्राधिकारियों को सुझाव दिया है कि वे मुख्यमंत्री को निर्धारित आहार के अलावा दवा और इंसुलिन की तय खुराक लेने की सलाह दे सकते हैं, क्योंकि केजरीवाल ‘टाइप-2’ मधुमेह से पीड़ित हैं।

दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल और उपराज्यपाल वीके सक्सेना।

2). उपराज्यपाल ने मुख्य सचिव को लिखे पत्र में क्या कहा?

आम आदमी पार्टी ने भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) और उसकी अगुवाई वाली केंद्र सरकार पर जेल में बंद केजरीवाल के स्वास्थ्य को स्थायी नुकसान पहुंचाने की ‘साजिश’ रचने का आरोप लगाया है और दावा किया है कि आप प्रमुख का वजन कम हो गया है तथा उनके रक्त शर्करा स्तर में गिरावट आई है। पार्टी ने यह भी दावा किया कि केजरीवाल कोमा में भी जा सकते हैं और उनके मस्तिष्क को भी क्षति हो सकती है, क्योंकि उनका रक्त शर्करा स्तर एक रात में पांच बार 50 मिलीग्राम/डीएल तक गिर गया था। उपराज्यपाल द्वारा मुख्य सचिव को लिखे गए पत्र के अनुसार, आहार निगरानी चार्ट से पता चलता है कि छह जून से 13 जुलाई के बीच मुख्यमंत्री ने दिन में तीन बार आहार के लिए निर्धारित पूरी खुराक का सेवन नहीं किया। पत्र में कहा गया है, 'रिपोर्ट में वजन में कमी (आत्मसमर्पण की तिथि दो जून, 2024 को वजन 63.5 किलोग्राम था लेकिन अब 61.5 किलोग्राम रह गया है) का भी संकेत मिलता है। प्रथम दृष्टया, इसका कारण कम कैलोरी सेवन प्रतीत होता है।' इसमें कहा गया है कि ऐसा प्रतीत होता है कि 18 जून को उन्हें इंसुलिन नहीं दिया गया था या जेल प्राधिकारियों ने रिपोर्ट में इसका उल्लेख नहीं किया था।
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