Bihar Board Result: बिहार बोर्ड में क्यों होता है टॉपर्स का वेरिफिकेशन? दोबारा परीक्षा लेकर पूछे जाते हैं सवाल
Bihar Board Result 2023 Toppers Verification: बिहार बोर्ड परीक्षा का रिजल्ट जारी हो चुका है और बिहार बोर्ड की आधिकारिक वेबसाइट्स biharboardonline.bihar.gov.in और secondary.biharboardonline.com की मदद से अब छात्र अपना रिजल्ट देख सकते हैं। बिहार बोर्ड कई मायनों में अलग है, इसका एक कारण यह भी है कि इसमें टॉपर्स का वेरिफिकेशन यानी एक तरह से दोबारा परीक्षा ली जाती है।

बिहार बोर्ड 2023 रिजल्ट टॉपर्स वेरिफिकेशन
What is Bihar Board Result Toppers Verification: बिहार बोर्ड परीक्षा कक्षा 10वीं का परिणाम जारी हो चुका है। इंटरमीडिएट के बाद आखिरकार बीएसईबी 10वीं मैट्रिक परीक्षा के रिजल्ट को भी घोषित कर दिया गया है। बीएसईबी, बिहार एजुकेशन बोर्ड की ओर से अन्य सभी बोर्ड की तुलना में सबसे पहले बिहार बोर्ड 10वीं और 12वीं के एग्जाम रिजल्ट को घोषित करके एक तरह का रिकॉर्ड कायम किया जाता है। एक और मायने में बिहार बोर्ड अनूठा है और वह है यहां होने वाली टॉपर्स की वेरिफिकेशन प्रक्रिया जोकि एक तरह से दोबारा ली जाने वाली परीक्षा है। इस परीक्षा में सबसे ज्यादा स्कोर पाने वाले छात्रों से दोबारा कुछ सवाल करके उन्हें वेरिफाई किया जाता है।
साल 2016 में रूबी राय का मामला: बीते समय में बिहार बोर्ड की परीक्षाओं में बड़े पैमाने पर नकल के कई मामले सुर्खियां बटोरते रहे हैं। खासकर राज्य की दयनीय शिक्षा प्रणाली साल 2016 में उस समय खबरों में छा गई थी जब कक्षा 12वीं की मानविकी यानी ह्यूमेनिटी की टॉपर रूबी राय अपने विषय के सरल सवालों का भी जवाब नहीं दे पाई थीं। उन्होंने राजनीति विज्ञान में सबसे ज्यादा अंक हासिल किए लेकिन एक स्टिंग ऑपरेशन के दौरान उन्होंने कहा था कि इस विषय खाना पकाने से जुड़ा हुआ है।
इसी तरह, कक्षा 12 विज्ञान के टॉपर सौरभ श्रेष्ठ अपने विषयों के बहुत ही बुनियादी सवालों के हास्यास्पद जवाब देते हुए पकड़े गए थे। इन घटनाओं से बिहार की शिक्षा व्यवस्था की खामियों को लेकर कई सवाल उठे थे। तब से इन समस्याओं से बचने के लिए कई कड़े उपाय अपनाने पर काम शुरू हुआ।
अब ऐसे होता है बिहार बोर्ड में टॉपर वेरिफिकेशन: रिपोर्ट्स में कहा गया है कि बिहार बोर्ड के टॉपर्स की लिखावट विशेषज्ञों की ओर से सत्यापित की जाती है। विशेषज्ञों की ओर से उनके लेखन को सावधानीपूर्वक प्रमाणित करने के बाद, 13-14 परीक्षकों की ओर उनका इंटरव्यू लिया जाता है। सभी स्ट्रीम के टॉपर्स से 30-40 अच्छे प्रश्न पूछे जाते हैं ताकि यह पुष्टि हो सके कि उन्होंने गलत तरीकों से परीक्षा पास नहीं की है। इतना ही नहीं, उन्हें अंग्रेजी में भी अपना परिचय देने को कहा जाता है। इस प्रक्रिया से गुजरने के बाद ही बिहार बोर्ड उन्हें टॉपर घोषित करता है।
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