IVF: महिलाओं के लिए खतरनाक है आईवीएफ का इलाज? स्टडी में सामने आई इस खतरे की बात

IVF: अध्ययनों से संकेत मिलता है कि 5 में से 1 महिला को अपने जीवनकाल में स्ट्रोक होने का खतरा होता है। सबूत बताते हैं कि कई लोग उन स्वास्थ्य कारकों को नहीं जानते हैं जो उन्हें स्ट्रोक या अन्य सीवीडी के खतरे में डालते हैं।

IVF: महिलाओं के लिए खतरनाक है आईवीएफ का इलाज?

IVF: एक चौंकाने वाले अध्ययन (Study) में यह बात सामने आई है कि जिन महिलाओं को विट्रो-फर्टिलाइजेशन (आईवीएफ) (IVF) का उपचार मिला है, उनमें प्रसव के 12 महीनों के भीतर स्ट्रोक (Stroke) का खतरा बढ़ जाता है। रटगर्स यूनिवर्सिटी के शोधकर्ताओं ने 31,339,991 गर्भवती महिलाओं (Pregnant Women) पर एक विश्लेषण किया, जिन्‍होंने 2010 से 2018 के बीच प्रसव कराया था। साथ ही उनका भी विश्लेषण किया गया, जिन्‍हें बांझपन का इलाज नहीं मिला।
जेएएमए नेटवर्क ओपन में प्रकाशित पेपर में बताया गया है कि हालांकि अस्पताल में भर्ती होने की पूर्ण दर कम थी, लेकिन पाया गया कि बांझपन उपचार के मामलों में 66 प्रतिशत मामले स्ट्रोक के जोखिम से जुड़े थे। उनमें स्ट्रोक के घातक रूप, रक्तस्रावी स्ट्रोक से पीड़ित होने की संभावना दोगुनी थी, वहीं इस्केमिक स्ट्रोक से पीड़ित होने की संभावना 55 प्रतिशत अधिक थी। इस्केमिक स्ट्रोक, अधिक सामान्य, मस्तिष्क के एक क्षेत्र में रक्त की आपूर्ति के नुकसान के कारण होता है, जबकि रक्तस्रावी स्ट्रोक रक्त वाहिका के टूटने से मस्तिष्क में रक्तस्राव के कारण होता है।
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